सरुप सिंगला ने वित्त मंत्री के खिलाफ दिया दफ्तर के सामने धरना, पैलेस सील करने की कारर्वाई को बताया राजनीतिक रंजिश
सरुप सिंगला के मैरिज पैलेस को सील करने की कारर्वाई के बाद राजनीतिक तकरारबाजी तेज -मनप्रीत बादल के करीबी जयजीत सिंह जौहल ने कहा कानून के तहत हुई कारर्वाई नहीं थी एनओसी
बठिंडा. पिछले दिनों बठिंडा में शिरोमणि अकाली दल के नेता व पूर्व विधायक सरुपचंद सिंगला के मैरिज पैलेस के खिलाफ नगर निगम की तरफ से कानूनी कारर्वाई करने के विरोध में राजनीतिक तौर पर विरोध शुरू हो गया है। इसे लेकर सरुपचंद सिंगला की अगुवाई में शिरोमणि अकाली दल के वर्करों ने वित्त मंत्री मनप्रीत सिंह बादल के दफ्तर के बाहर धरना दिया। धरने से पहले जिला पुलिस ने दफ्तर को चारों तरफ से घेरकर रास्तों को बंद कर दिया था। सरुपचंद सिंगला ने आरोप लगाया कि वह पिछले लंबे समय से कांग्रेस सरकार व वित्त मंत्री की नकारा कारगुजारी को लेकर लोगों को जागरुक करते रहे हैं व उन्होंने सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन भी किए।
इसी रंजिश में वित्त मंत्री व उनके सहयोगियों ने मिलकर राजनीतिक रंजिश में उनके मैरिज पैलेस के खिलाफ लाकडाउन व कर्फ्यू के दौरान कानूनी कारर्वाई करी वही इस बारे में उन्हें किसी तरह की जानकारी तक नहीं दी गई। कांग्रेस सरकार ऐसा कर उन्हें डराने की कोशिश कर रही है जिसे किसी भी हालत में सफल नहीं होने दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि वह कानून की पालना करने वाले लोगों में है व पैलेस को लेकर किसी भी तरह की कानूनी प्रक्रिया अधूरी नहीं है व उन्होंने सभी तरह के टैक्स व मंजूरी हासिल कर रखी है इसके बावजूद उनके पैलेस को सील करना गलत व गैरकानूनी है। वह इसे लेकर अकाली दल वर्करों के साथ मिलकर अपना विरोध जारी रखेंगे।
बरनाला बायपास रोड स्थित जीत पैलेस को सील करने की कार्रवाई की गई
गौरतलब है कि गत शनिवार को नगर निगम की ओर से बठिंडा के बरनाला बायपास रोड स्थित जीत पैलेस को सील करने की कार्रवाई की गई। वित्तमंत्री मनप्रीत बादल के करीबी रिश्तेदार व आफिस इंचार्ज जयजीत जौहल की कुछ दिन पहले जारी वीडियो में पैलेस को अवैध बताते हुए सीलिंग की शुरूआत करने की बात कहने के चंद दिनों में ही निगम के इस एक्शन ने सियासी रंगत ले ली थी, जिसमें शहर में शिअद व कांग्रेस में तनातनी व वाक-युद्ध तेज हो गया है। सिंगला ने शहर में अवैध निर्माण होने व लोगों की जमीनों पर कांग्रेस राज में कब्जे होने की आवाज उठाने को सीलिंग का मुख्य कारण बताया है। इसे बदले की राजनीति करार देते हुए सिंगला ने कहा कि जौहल इस मैरिज पैलेस को जितना देर चाहे बंद रखें, लेकिन लोकहितों की लड़ाई वह जारी रखेंगे। वहीं कांग्रेस के जयजीत जौहल ने कहा कि शहर में कुल तीन पैलेसों पर कार्रवाई हुई है। उनका पैलेस अनधिकृत होने पर ही निगम ने यह एक्शन किया है।कुछ दिनों पहले सिंगला के बेटे ने मैरिज पैलेस मामले में सब ठीक होने का दावा किया था, अब उन्हें लोगों को इसका जवाब देना चाहिए। वहीं कमिश्नर निगम बिक्रमजीत शेरगिल ने कहा कि पैलेस के लिए जरूरी एनओसी को छह माह पहले नोटिस देने के बावजूद जमा नहीं करवाया गया, इसमें तीन मैरिज पैलेस पर कार्रवाई की गई है।
जौहल की ओर से राजनीतिक भेदभाव में कार्रवाई, अधिकारी पंगु बने हैं : सरूप
शिअद हलका इंचार्ज सरूप चंद सिंगला ने कहा कि 1990 में जब इस मैरिज पैलेस का निर्माण हुआ था तो उस समय इसे लेकर कोई नियम नहीं थे, स्ट्रक्चर का नक्शा पास था। 2016 में राज्य सरकार की मैरिज पैलेस के संबंध में नोटिफिकेशन आई तो हमने पॉलिसी के हिसाब से पैलेस को रेगुलराइज करने व सीएलयू के लिए निगम को 18 लाख की अदायगी की। निगम द्वारा जनवरी 2020 में पांच विभागों के एनओसी मांगने पर हमने विभागों को इसके लिए अप्लाई कर निगम को सूचित कर दिया, लेकिन मार्च 2020 में निगम द्वारा पैलेस सीज करने की चेतावनी देने पर हमने बताया कि कोरोना में आफिस लॉक होने से एनओसी मिलने में समय लग सकता है, लेकिन शहर में कथित तौर पर कांग्रेस के अवैध निर्माण व कब्जों पर आवाज उठाने का उन्हें यह इनाम जयजीत जौहल व कांग्रेस ने दिया है। लेकिन लोकहितों की आवाज व मुद्दों पर वह लड़ाई से पीछे नही हटेंगे। यह जौहल के इशारों पर हो रहा है तथा प्रशासनिक अधिकारी पंगु बने हुए हैं।
2017 में करते यह कार्रवाई तो राजनीतिक भेदभाव के लगते आरोप : जयजीत जौहल
कुछ दिनों पहले वीडियो में पैलेस को गिराने व सील करने की बात करने वाले वित्तमंत्री आफिस इंचार्ज जयजीत जौहल ने मैरिज पैलेस सील होने को निगम की विभागीय कार्रवाई बताया है। उन्होंने कहा कि खुद सिंगला के बेटे ने कहा था कि अधिकारी अगर सीलिंग करने आते हैं तो वह खुले हाथों से उनका स्वागत करेंगे जबकि असलियत में यह इमारत अनधिकृत है तथा इसके लिए कोई एनओसी नहीं ली गई। उन्होंने कहा कि जब शहर में सही एक्शन की शुरूआत एक नेता से हो रही है तो अब सिंगला बेवजह के आरोप उन पर लगा रहे हैं। अगर 2017 में सरकार बनते ही यह एक्शन करते तो लोगों ने इसे भेदभाव की राजनीतिक कहना था, लेकिन असलियत यह है कि सिंगला रोज हमारे ऊपर गलत आरोप लगाते हैं। शहर में कुछ भी होने पर उनका नाम ले दिया जाता है जबकि मैं कई बार उन्हें आरोप साबित करने का चैलेंज दे चुका हूं। मेरी जानकारी के अनुसार नियम के हिसाब से उन्होंने कोई जरूरी एनओसी नहीं दी है तथा दो अन्य मैरिज पैलेस पर भी यह एक्शन हुआ है तो इसमें भेदभाव के आरोप पूरी तरह गलत हैं।