Reliance Jio/ ‘सुपर ऐप’ लाने वाली है मुकेश अंबानी की कंपनी, एक प्लेटफॉर्म पर मिलेंगी 100 से ज्यादा सर्विसेज
रिलायंस जियो 'सुपर ऐप' को लॉन्च करने की तैयारी कर चुकी रिलायंस के इस ऐप से अमेजन और फ्लिपकार्ट को लग सकता है झटका
नई दिल्ली। रियायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर मुकेश अंबानी आधिकारिक तौर पर एक सुपर ऐप को लॉन्च करने की तैयारी में हैं। ये दुनिया का सबसे बड़ा ऑनलाइन-टू-ऑफलाइन ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म ऐप होगा। ऐसा माना जा रहा है कि इस ऐप पर 100 से ज्यादा सर्विसेज मिलेंगे। वहीं, इसके आने से अमेजन और वॉलमार्ट-फ्लिपकार्ट को झटका लग सकता है।
एक प्लेटफॉर्म पर सभी सुविधाएं
इस बारे में इंडस्ट्री इंटेलीजेंस ग्रुप (IIG) के हेड प्रभु राम ने बताया कि मार्केट में जियो के डिवाइसेज लगभग सभी जगह मौजूद हैं। जिसके चलते रिलायंस पावरफुल पोजिशन पर है। ऐसे में कंपनी अपने यूजर्स के इकोसिस्टम को एक मल्टी-लेयर्ड फैब्रिक से कनेक्ट कर सकती है। साथ ही, वन स्टॉप सुपर ऐप के जरिए कई सर्विसेज ऑफर करने के साथ ऑनलाइन-टू-ऑफलाइन कनेक्ट हो सकता है। भारत एक मोबाइल-फर्स्ट नेशन है। तमाम सुविधाएं उपलब्ध कराने वाला एक सेल्फ-कन्टेन्ड ग्राहकों को काफी पसंद आएगा। रिलायंस जियो का सुपर ऐप एक ही जगह पर ई-कॉमर्स, ऑनलाइन बुकिंग और पेमेंट्स की सुविधाएं उपलब्ध कराएगा।
सुपर ऐप से बढ़ेगा रिलायंस का दबदबा
रिलायंस जियो भारत में फिलहाल 30 करोड़ से ज्यादा सब्सक्राइबर्स को सर्विसेज उपलब्ध करा रही है। इसके डेटा और वॉइस ट्रैफिक में लगातार ग्रोथ हो रही है। एक्सपर्ट्स का कहना है कि ऐसे वक्त में सुपर ऐप लॉन्च करने से रिलायंस भारत का वीचैट (WeChat) बनाने के मामले में दबदबे वाली पोजिशन में आ जाएगा। जहां स्नैपडील, पेटीएम, फ्रीचार्ज, फ्लिपकार्ट और हाइक नाकाम हो चुके हैं।
84 अरब डॉलर तक पहुंच जाएगा ई-कॉमर्स मार्केट
प्रभु राम ने कहा कि जियो डिवाइसेज नेटवर्क के साथ यह सारी चीजें रिलायंस को भारत का वीचैट बनाने के मामले में दबदबे वाली पोजिशन में लाता है। भारत के तेजी से बढ़ते ई-कॉमर्स मार्केट के 2021 तक 84 अरब डॉलर तक पहुंचने की उम्मीद है जो कि 2017 में 24 अरब डॉलर के स्तर पर था। यह बात डेलॉयट इंडिया और रीटेल एसोसिएशन ऑफ इंडिया की संयुक्त रिपोर्ट में कही गई है।
मुकेश अंबानी के मुताबिक, नया कॉमर्स प्लेटफॉर्म देशभर में करीब 3 करोड़ मर्चेंट्स की जिंदगी बदल देगा। रिलायंस जियो के पास अब कान्वर्सेशनल आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (AI) लेयर, एक वर्नाकुलर वॉइस टेक लेयर, एक लॉजिस्टिक्स लेयर के साथ AI आधारित एजुकेशन लेयर है।