चंडीगढ़। पूर्व आईएएस ऑफिसर दर्शन सिंह मुल्तानी के बेटे बलवंत सिंह मुल्तानी किडनैपिंग केस में शुक्रवार को एक नया मोड़ आ गया। डिस्ट्रिक्ट कोर्ट मोहाली में पूर्व डीजीपी सुमेध सैनी के खिलाफ धारा 302 जोड़ने के लिए लगाई गई याचिका को कोर्ट ने मंजूर करते हुए एसआईटी को निर्देश दिए कि सैनी के खिलाफ किडनैपिंग के दर्ज केस में आईपीसी की धारा 302 भी जोड़ी जाए।
कोर्ट ने साथ ही यह भी निर्देश दिए कि मामले में सैनी की गिरफ्तारी से पहले एसआईटी 3 दिन का नोटिस दे, क्योंकि सैनी पहले ही अग्रिम जमानत पर बाहर हैं। पुलिस सूत्रों की माने तो किडनैपिंग के साथ-साथ अब आईपीसी की धारा 302 भी दर्ज कर दी गई है। 29 साल पुराने इस मामले में तत्कालीन एसएसपी चंडीगढ़ सुमेध सिंह सैनी के साथी रहे एएसआई कुलदीप सिंह और इंस्पेक्टर जगीर सिंह ने कोर्ट में 164 के तहत बयान दर्ज करवाए थे। आरोप हैं, सैनी ने साथियों से मिलकर मुल्तानी को टॉर्चर किया।
डेड बॉडी कहां दफनाई, एसआईटी पता लगाएगी
इस केस में अब सबसे अहम पहलू यह है कि 29 साल पहले बलवंत मुल्तानी की बॉडी कहां दफनाई गई। पुलिस सूत्रों की माने तो एसआईटी का पूरा फोकस इस बात पर रहेगा कि किस अफसर का क्या रोल था? डेड बॉडी का क्या-क्या किया? क्या बॉडी को जमीन में दफना दिया गया या कहीं फेंक दिया गया?