फाजिल्का। इन दिनों लॉकडाउन के चलते लोग सोशल साइट्स पर समय बिता रहे हैं और इसी का फायदा हैकर्स उठा रहे हैं। फाजिल्का के डीएसपी राज कुमार सामा के साथ भी ऐसा हुआ, जब झारखंड के हैकरों ने फेसबुक पर उनकी जाली आईडी बनाकर, उनके दोस्तों से पैसों की मांग की। दोस्तों के डीएसपी से फोन कर पूछने पर हैकरों का सारा राज खुल गया और लोगों को मोटी चपत लगने से बच गई।
डीएसपी को उनके एक मित्र का फोन आया कि आपने फेसबुक पर बताया है कि एक अन्य दोस्त की माता अस्पताल में भर्ती है। उनके इलाज में मदद के लिए 10 हजार रुपए दें। अगले दिन कई और मित्रों के फोन आए कि मैसेंजर से चैट कर 2 से 5 हजार रुपए की मांग की गई थी। मित्रों का शक हुआ कि डीएसपी 5 से 10 हजार की मांग क्यों करेगा? डीएसपी उनसे ये तमाम बातें सुनकर दंग रह गए।
डीएसपी राज कुमार सामा के अनुसार, उन्होंने जांच कराई तो पता चला कि यह नंबर झारखंड के हैकरों का है, जिसके बाद उन्होंने इसकी शिकायत झारखंड के डीआईजी और फेसबुक से की। डीआईजी ने झारखंड के हैकरों का नंबर निकलवा कर जांच करवाई तो हैकरों ने अपना मोबाइल नंबर ही स्विच ऑफ कर लिया। डीएसपी सामा ने फेसबुक पर एक पोस्ट साझा कि कि उनका फेसबुक आईडी हैक हो गया है, जिस पर किसी भी प्रकार की प्रतिक्रिया न दें और ब्लॉक कर दें।
इस तरह से जाल में फंसाते हैं जालसाज
फेसबुक हैकर फेसबुक अकाउंट से उनके फोटो और डिटेल सहित दोस्तों की लिस्ट निकाल लेते हैं और उन्हें पुन: फ्रेंड रिक्वेस्ट भेज जुड़ने के लिए आमंत्रित करते हैं। इसके बाद हैकर संबंधित व्यक्ति बनकर दोस्तों से मैसेंजर पर चैट करता है और जरूरी काम बताकर पैसे मांगता है। इसके लिए हैकर्स पेमेंट के लिए नंबर भी दे रहे हैं।
जालसाज की कोशिश होती है कि वह ऐसे व्यक्ति के अकाउंट को हैक कर पैसे मांगें जिसकी प्रोफाइल अच्छी हो और मजबूरी में फंसने या फिर बेटे व मां के बीमार होने का हवाला देकर पैसा मांगते हैं। रकम भी कम ही मांगते हैं ताकि कोई मना न करे।
ऐसे रखें अकाउंट सुरक्षित
वर्तमान में साइबर क्राइम और हैकर कई भोले-भाले लोगों को जाल में फंसा उनके अकाउंट में सेंधमारी कर रहे हैं। फेसबुक पर बहुत सी ऐसी सेटिंग हैं, जिनके जरिये अपने अकाउंट को सुरक्षित कर सकते है। अपना प्रोफाइल फोटो भी हमेशा लॉक रखें। फर्जी आईडी बनाकर वसूली करने वाले हैकर शाम होते ही काम में जुट जाते हैं, लेकिन जिसकी आईडी बनी है, उसके संबंध रिश्तेदारों और मित्रों से हमेशा के लिए खराब हो जाएंगे। इसलिए हमें सजग रहना होगा। -अनिल गुप्ता, फॉरेंसिक एक्सपर्ट