पंजाब में 2 हफ्ते और जारी रहेगा कर्फ्यू, सुबह 7 से 11 बजे तक मिलेगी ढील, सीएम अमरिंदर सिंह ने किया ऐलान

पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने कहा कि केंद्र सरकार ने अलग-अलग जानकारी और अध्ययन के आधार पर यह संकेत दिए हैं कि कोरोना वायरस का रुझान जुलाई तक जारी रहेगा। लॉकडाउन इस महामारी के फैलाव को रोकने के लिए जरूरी है। पंजाब में कोरोना के संक्रमण को रोकने के लिए सभी संभव उपाय किए जा रहे हैं।

चंडीगढ़ः पंजाब में 2 हफ्तों तक कर्फ्यू को और बढ़ा दिया गया है। सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह ने आज ऐलान करते हुए कहा कि पंजाब में कोरोना के कारण हालातों को देखते हुए पंजाब में कर्फ्यू को 3 मई के बाद 2 हफ्तों तक के लिए बढ़ा दिया जाएगा।

कैप्टन अमरिंदर सिंह ने कहा कि राज्य में अभी 2 हफ्ते कर्फ्यू रहेगा वही इसमें लोगों को कुछ राहत देने के लिए कुछ स्थानों पर सुबह 7 से 11 बजे तक ढील जी जा सकती है। इस बाबत 30 अप्रैल की बैठक में घोषणा की जा सकती है। पंजाब में लगातार कोरोना के मरीजों की संख्‍या बढ़ने के बावजूद राज्‍य सरकार कर्फ्यू में राहत दे सकती है। मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने 3 मई के बाद प्रदेश में कर्फ्यू में कुछ छूट देने के संकेत दिए हैैं। उन्होंने विधायकों के साथ वीडियो कान्फ्रेंसिंग के जरिये हुई बैठक में यह संकेत दिए। इससे पहले कर्फ्यू में ढील देने और कोरोना वायरस के कारण पैदा हुए संकट से राज्य को बाहर निकालने के लिए बनाई गई एक्सपर्ट कमेटी ने अपनी रिपोर्ट प्रदेश सरकार को सौंप दी।

वही आज बुधवार को अमरिंदर ने कांग्रेस विधायकों से वीडिया कॉन्‍फ्रेंसिंग के जरिये बैइक की और कोरोना से निपटने को युझाव लिए। विधायकों मेंदसहमति थी कि सिर्फ कुछ क्षेत्रों में बहुत सीमित छूटों के साथ बंदिशों को कुछ और हफ़्तों के लिए जारी रखा जाए। राज्य की सरहदों के साथ-साथ जिलोंं और गांवों की सरहदों को भी सील रखा जाए।

विधायकों ने बंदिशों को हटाने में बेहद सावधानी बरतने की सलाह देते हुए किसी भी कोरोना मरीज का इलाज उसके संबंधित जिले में ही करने की बात की। बैठक में कांग्रेस के प्रदेश प्रधान सुनील जाखड़ भी थे। उन्होंने ग्रामीण क्षेत्रों में स्थित उद्योग को रात के समय चलाने की इजाजत देने का सुझाव पेश किया जिससे वर्करों को आपस में मिलना रोका जा सके।

विधायकों ने टेस्टिंग का मुद्दा उठाया

विभिन्न विधायकों ने टेस्टिंग सुविधाओं, वेंटिलेटरों, राशन किटों की कमी के मुद्दे भी उठाए। पठानकोट से विधायक अमित विज और भोआ के विधायक जोगिन्द्र पाल ने सैंपलों का मामला उठाया। उन्होंने सरकारी स्कूलों के विद्यार्थियों को किताबें मुहैया करवाने के लिए भी कहा क्योंकि सभी बच्चे आनलाइन क्लासों का हिस्सा नहीं बन सकते और कइयों के पास तो स्मार्ट फ़ोन भी नहीं हैं। गुरदासपुर के विधायक बरिंदरमीत सिंह पाहड़ा ने कहा कि टेस्टिंग सुविधा जिला स्तर पर होनी चाहिए।

पीएयू को मिल सकती है मंजूरी

मुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य सरकार लुधियाना की गुरु अंगद देव वेटरनरी एंड एनिमल साइंसेज़ यूनिवर्सिटी और पंजाब कृषि यूनिवर्सिटी (पीएयू) में टेस्टिंग के लिए मंजूरी देने की कोशिशें कर रही है।

मजदूरों का रख रहे पूरा ध्यान : सीएम

उत्तर प्रदेश की तरफ से अपने प्रवासी मजदूरों को पंजाब में क्वारंटाइन के बाद वापस भेजने की अपील पर मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने अपने समकक्ष को बता दिया है कि यह उनकी सरकार को करना है, न कि पंजाब को। मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि उनकी सरकार प्रवासी मज़दूरों की देखभाल का पूरा ख्याल रख रही है, साथ ही सभी को ख्याल रखने की जरूरत है। हमारी कोशिश है कि वे पंजाब को छोड़कर न जाएं क्योंकि यहां गेहूं की खरीद प्रबंधों के साथ उद्योगों के लिए भी उनकी जरूरत है जिनको हम धीरे-धीरे खोल रहे हैं।

कमेटी ने सिफारिश की है कि कंटेनमेंट जोन को छोड़कर बाकी क्षेत्रों में सभी उद्योग, दुकानें व व्यापारिक संस्थान खोल देने चाहिए। आर्थिक संकट से निकलने के लिए खर्चों में कटौती का सुझाव देते हुए सरकारी कर्मचारियों का डीए एक साल के लिए फ्रीज करने की सिफारिश भी की गई है।

मुख्यमंत्री ने पूर्व मुख्य सचिव केआर लखनपाल के नेतृत्व में बीस सदस्यीय एक्सपर्ट कमेटी बनाई है। कमेटी की रिपोर्ट वीरवार को कैबिनेट की बैठक में रखी जाएगी और चर्चा के बाद प्रदेश सरकार कफ्र्यू में ढील और दुकानें, व्यापारिक प्रतिष्ठान इत्यादि खोलने की तारीख व समय के बारे में फैसला करेगी।

सरकारी कर्मचारियों का डीए एक साल के लिए फ्रीज करने की सिफारिश

कमेटी ने सिफारिश की है कि फरवरी में पारित किए बजट को कई सेक्टरों में संशोधित करना होगा। जो दुकानें व संस्थान खुलें उनमें 50 फीसद कर्मचारियों की ही मौजूदगी हो। मास्क व शारीरिक दूरी यकीनी बनाई जाए। 46 पन्नों की इस रिपोर्ट में सात चैप्टर हैैं जिनमें उद्योग, आयात-निर्यात पर पड़े बुरे प्रभाव, विभिन्न सेक्टरों पर असर और संकट से निकलने की सिफारिशें शामिल हैैं।

इंडस्ट्री व व्यापारिक संस्थानों में 50 फीसद कर्मचारी ही बुलाए जाएं

सबसे बड़ी सिफारिश खर्च को कम करने की है। कहा गया है कि पंजाब के कर्मचारियों को पड़ोसी राज्यों के मुकाबले 25 फीसद वेतन ज्यादा मिल रहा है। यह किसी भी तरह सही नहीं है। इसलिए केंद्रीय वेतन आयोग की रिपोर्ट को ही पंजाब में भी लागू कर दिया जाए।

केंद्र के निर्देशों पर जताई सहमति

कमेटी ने लॉकडाउन संबंधी केंद्र सरकार द्वारा 15 अप्रैल को जारी निर्देशों पर सहमति जताई है। कमेटी ने कहा है कि अगर केंद्र सरकार तीन मई के बाद लॉकडाउन बढ़ाती है तो 15 मई से केंद्र की सिफारिशों में कई संशोधन करने की जरूरत है ताकि मार्केट और बंद पड़ी इंडस्ट्री को तेजी से पटरी पर लाया जा सके।

अन्य प्रमुख सिफारिशें

-इंडस्ट्री और व्यवसायिक संस्थानों में काम करने वालों के बल्क पास के लिए बने पोर्टल बनाया जाए जिससे उद्यमी अपना जीएसटी नंबर देकर पास बनवा सकें।

-औद्योगिक इकाइयों को खोलने के लिए सभी कर्मचारियों के लिए बीमा कवर की बजाए इसे सिर्फ उन्हीं कर्मचारियों तक सीमित रखा जाए जो आयुष्मान भारत और ईएसआइ में शामिल नहीं हैं।

-कंस्ट्रक्शन क्षेत्र को खोलने के लिए पूरी सप्लाई चेन खोली जाए। हार्डवेयर, लकड़ी, शीशा, पेंट, सीमेंट, इलेक्ट्रिकल गुड्स की दुकानें खोली जाएं जिससे दिहाड़ीदार मजदूरों को रोजगार मिल सके।

यह है कंटेनमेंट जोन

कंटेनमेंट या रोगग्रस्त जोन में वे क्षेत्र हैं जहां दो या इससे अधिक पॉजिटिव केस सामने आ चुके हैं। इनका आकार मोहल्ले, कॉलोनी या गांव तक हो सकता है। यहां पुलिस तैनात कर लोगों की आवाजाही पर पूर्ण पाबंदी है।

केंद्र के खिलाफ कांग्रेस छतों पर लहराएगी तिरंगा

पंजाब कांग्रेस ने प्रदेश के लोगों से केंद्र सरकार के पक्षपाती रवैये के खिलाफ 1 मई को अपने घरों की छतों पर तिरंगा फहराने का आह्वन किया है। प्रदेश अध्यक्ष सुनील जाखड़ के इस प्रस्‍ताव कामुख्यमंत्री ने भी समर्थन किया है। इससे पहले 20 अप्रैल को पार्टी ने पंजाब को विशेष वित्तीय पैकेज देने की मांग को लेकर घरों में पांच मिनट के लिए जयघोष करने की घोषणा की थी। पार्टी ने केंद्र सरकार से बीस हजार करोड़ रुपये के पैकेज की मांग की है।

पंजाब में कर्फ्यू 12 दिन बढ़ाया जा सकता है। कोविड-19 को लेकर माहिरों की बनाई गई कमेटी ने सीएम को अपनी रिपोर्ट सौंप दी है। इसमें कर्फ्यू 15 मई तक बढ़ाने की बात कही है। हालांकि, 3 मई के बाद केंद्र सरकार के लॉकडाउन बढ़ाए जाने के फैसले के आधार पर सूबा सरकार कर्फ्यू पर फैसला लेगी। 30 अप्रैल को होने वाली कैबिनेट मीटिंग में ढील कैसे दी जाए इस पर चर्चा होगी। वहीं, रिपोर्ट में कमेटी ने कहा कि जहां पर कोई केस नहीं है, वहां फेज वाइज कर्फ्यू खोला जा सकता है। कमेटी ने नीति आयोग की रिपोर्ट के हवाले से कहा है कि 31 मई के बाद देश में कोविड-19 के प्रतिदिन 3 हजार 680 केस सामने आ सकते हैं।

पंजाब में मेडिकल तैयारियों को काफी कमजोर बताया

इस रिपोर्ट को भी ध्यान में रखा जाए। कमेटी ने पंजाब में मेडिकल तैयारियों को भी काफी कमजोर बताया और साफ किया कि लॉकडाउन में ढील तभी दी जानी चाहिए जब समुचित मेडिकल तैयारियां हों। कमेटी ने कोविड-19 संक्रमण से निपटने के लिए  आईसीयू और नान-आईसीयू बेड की संख्या बढ़ाने की सिफारिश की है। आइसोलेशन सेंटरों में अभी 2900 बेड हैं, जिन्हें 17000 करने के लिए सेंटरों की पहचान की जा रही है। लेकिन इस उपलब्धता में 50 फीसदी इजाफे की जरूरत है। कमेटी ने टेस्टिंग क्षमता बढ़ाने की भी सिफारिश की।

कर्फ्यू को फेज वाइज खोलें नहीं तो अर्थव्यवस्था ठप होगी

कमेटी ने कहा है कि कर्फ्यू को फेज वाइज खोलना जरूरी है। अगर ऐसा नहीं हुआ तो अर्थव्यवस्था ठप हो जाएगी। ढील उसी सूरत में दी जाए जब मेडिकल तैयारियां पूरी हों। वहीं, पंजाब सेहत विभाग का मानना है कि मई व जून में वायरस के दबे रहने की संभावना है।

ये सिफारिशें भी कीं

  • इंड्रस्टी में काम करने वाले कर्मी जो ईएसआई व आयुष्मान योजना में नहीं आते उनका बीमा हो।
  • कंस्ट्रक्शन से संबंधित सीमेंट, बिजली, लकड़ी  और शीशे की दुकानें खोली जा सकती हैं।
  • सरकार को फसल को नो प्राॅफिट नो लाॅस पर बेच देना चाहिए। इससे राजस्व मिल सकता है।
  • एमएचए की गाइडलाइन का पालन करने वाले उद्योगों को चलने की इजाजत दी जाए।
  • कमेटी ने बताया लॉकडाउन में ज्यादा मार होटल व रेस्तरां को पड़ी। बिजली बिल भी कमर्शियल दे रहे हैं ।
  • हाईकोर्ट खुले तो दोनों पार्टियों के वकील और पार्टी ही अदालत में आए। वकील भी बार रूम न आएं।
  • सरकार इंड्रस्टी को चलाने के लिए वैट रिफंड करने के साथ बिजली की दरों में रियायत दे। वहीं, सरकार नियोक्ताओं के लिए अनुदान प्रदान करें।

सीएम कैप्टन बोले- नांदेड़ साहिब और राजस्थान से लौटने वालों का सरहद पर ही 21 दिन क्वारेंटाइन

पंजाब सरकार ने दूसरे राज्यों से पंजाब लौटने वाले लोगों को 21 दिन का क्वारेंटाइन जरूरी कर दिया है। मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने कहा कि नांदेड़ साहिब से आने वाले श्रद्धालुओं और राजस्थान से आने वाले विद्यार्थियों और मज़दूरों को सरहद पर ही रोक कर सरकारी एकांतवास केंद्रों पर भेजा जाएगा। उधर, श्री हजूर साहिब से लौटे श्रद्धालुओं द्वारा जानकारी न देने पर सरकार सख्त हाे गई है। सरकार ने अल्टीमेटम  दिया है कि जो श्री हजूर साहिब में फंसे रहने के बाद खुद राज्य वापस आ गए हैं। वे निकटतम पुलिस स्टेशन में अपने ठिकाने की रिपोर्ट दें। ऐसा नहीं करने पर केस दर्ज किया जाएगा।

सूबे के 5 जिलों में 14 नए केस, अब तक 345 संक्रमित

सूबे में काेराेना के मंगलवार को 14 नए केस आए। जालंधर में 7, तरनतारन, नवांशहर और मोहाली में 2-2 और होशियारपुर में एक केस आया। इनमें 3 श्री हजूर साहिब से लौटे श्रद्धालु हैं। हजूर साहिब से लौटे 2 दिन में अब तक 12 श्रद्धालु संक्रमित हो चुके हैं। इनमें तरनतारन से 8, फगवाड़ा से 3 व होशियारपुर से 1 है। सूबे में संक्रमिताें की संख्या 345 हो गई है। सबसे ज्यादा खराब हालात जालंधर में हैं। मंगलवार को बस्ती गूजां में 3, मकसूदा इलाके की ज्वाला नगर काॅलोनी में एक और एक संस्थान में काम करने वाले व्यक्ति के परिवार के 3 सदस्यों की रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद यहां संक्रमितों की संख्या 85 हो गई है।

ड्राइवर जतिंदर के क्लीनर संदीप और उसकी मां तृप्ता भी संक्रमित

नवांशहर के गांव बूथगढ़ में 25 अप्रैल को पॉजिटिव पाए ट्रक ड्राइवर जतिंदर के क्लीनर संदीप और उसकी मां तृप्ता भी संक्रमित पाई गईं हैं। मोहाली के गांव जवाहरपुर में दो लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। तरनतारन में हजूर साहिब से लौटे दादा व पौते और होशियारपुर में श्रद्धालुओं को लेकर आए टैक्सी ड्राइवर की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। सूबे में अब तक 17021 लोगों के सैंपल लिए गए हैं। इनमें 13966 की रिपोर्ट निगेटिव व 2713 की पेंडिंग है। 19 की मौत हो चुकी है।

चंडीगढ़ में एक ही परिवार के 5 लोगों समेत 14 पॉजिटिव

चंडीगढ़ में मंगलवार को 14 केस आए। बापूधाम कॉलोनी निवासी एक परिवार के 5 लोगों के साथ 8 की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। सेक्टर-30 में भी 5 महिलाएं और 1 व्यक्ति संक्रमित पाया गया। चंडीगढ़ में अब संक्रमितों की संख्या 59 हो गई है।

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