मलोट की शर्मनाक घटना पर सीएम कैप्टन ने DGP को कहा- MLA पर हमला करने वालों पर जल्द हो कार्रवाई, PM से भी की अपील

शनिवार को अबोहर के भारतीय जनता पार्टी के विधायक अरुण नारंग पर मलोट में हमला कर दिया गया था। वह कृषि कानूनों के पक्ष में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करने पहुंचे थे। किसानों को उनके आने की खबर लगी तो वो मलोट में भाजपा कार्यालय के बाहर जमा हो गए। किसानों को जमा होते देखकर पुलिस विधायक को निकालकर ले जाने लगी, लेकिन किसान उनके पीछे लग गए। पुलिस विधायक को एक दुकान के अंदर ले गई। किसानों ने यह देख लिया और वो उस दुकान के बाहर ही धरने पर बैठ गए। यह देखकर पुलिस ने दुकान अंदर से बंद कर ली।

चंडीगढ। पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिदर सिंह ने मलोट में अबोहर के भारतीय जनता पार्टी के विधायक अरुण नारंग पर हमले की निंदा की है। उन्होंने DGP दिनकर गुप्ता को हमलावरों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं। साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपील की कि भविष्य में ऐसी स्थिति को रोकने के लिए कृषि कानूनों के कारण पैदा हुए संकट को जल्द हल करें।

इस तरह हुई थी शर्मनाक घटना
शनिवार को अबोहर के भारतीय जनता पार्टी के विधायक अरुण नारंग पर मलोट में हमला कर दिया गया था। वह कृषि कानूनों के पक्ष में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करने पहुंचे थे। किसानों को उनके आने की खबर लगी तो वो मलोट में भाजपा कार्यालय के बाहर जमा हो गए। किसानों को जमा होते देखकर पुलिस विधायक को निकालकर ले जाने लगी, लेकिन किसान उनके पीछे लग गए। पुलिस विधायक को एक दुकान के अंदर ले गई। किसानों ने यह देख लिया और वो उस दुकान के बाहर ही धरने पर बैठ गए। यह देखकर पुलिस ने दुकान अंदर से बंद कर ली।

इस बीच किसानों ने विधायक की गाड़ी पर कालिख पोती और तोड़फोड़ भी की। कुछ देर बाद पुलिस नारंग को दुकान से निकालकर ले जाने लगी। किसान भी उनके पीछे दौड़े। यह देखकर विधायक और नेता जान बचाने के लिए तेजी से भागने लगे। पुलिसकर्मियों ने जब उग्र किसानों को रोकने की कोशिश की तो दोनों तरफ से झड़प शुरू हो गई। इस बीच किसानों ने विधायक को पकड़ लिया और उनके साथ धक्का-मुक्की करते हुए पीटने लगे और कपड़े फाड़ दिए। उसके बाद किसी तरह से पुलिसकर्मियों ने विधायक को बचाया और अपने साथ ले गई।

 

अब कौन क्या कह रहा मसले पर?

  • मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने हमले की निंदा की है। उन्होंने DGP दिनकर गुप्ता को हमलावरों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपील की है कि भविष्य में ऐसी स्थिति को रोकने के लिए कृषि कानूनों के कारण पैदा हुए संकट को जल्द हल करें। वहीं किसानों को कहा कि विरोध प्रदर्शन करना किसानों का लोकतांत्रिक हक है, लेकिन हिंसा को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। राज्य में अमन कानून की स्थिति को भंग करने की इजाजत किसी को भी नहीं दी जाएगी।
  • DGP दिनकर गुप्ता ने कहा कि विधायक के बयान दर्ज किए जा रहे हैं। विधायक और पुलिस अधिकारियों पर हमला करने वालों पर आपराधिक मामले दर्ज किए जाएंगे।
  • शिरोमणि अकाली दल के प्रधान और पूर्व उप मुख्यमंत्री सुखबीर बादल ने कहा कि निर्वाचित प्रतिनिधि की गरिमा की रक्षा करने में पुलिस विफल रही है और इस मामले की राज्य पुलिस पर जिम्मेदारी तय करने के लिए घटना की निष्पक्ष जांच की जानी चाहिए।
  • आम आदमी पार्टी के नेता अमन अरोड़ा ने कहा है कि इस तरह की हिंसक कार्रवाई किसान आंदोलन को कमजोर कर रही हैं। पहले भी किसान आंदोलन को बदनाम करने की कोशिशें हुई हैं। केंद्र सरकार को तीनों कृषि कानून रद्द करने चाहिए।

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