दिल्ली के आप विधायक नरेश यादव पंजाब के एक अहम मामले में बरी, जानें क्या है पूरा मामला

आम आदमी पार्टी (AAP) के विधायक नरेश यादव को यहां की जिला अदालत से बड़ी राहत मिली है। नरेश यादव जून 2016 के कुरान शरीफ बेअदबी मामले में बरी हो गए हैं। यह मामला वर्ष 2016 का था।

जेएनएन, संगरूर। Quran Sharif Sacrilege Case: मालेरकोटला शहर में जून 2016 को पवित्र कुरान शरीफ के पन्ने फाड़कर फेंकने की घटना में आरोपित बनाए गए दिल्ली के महरौली इलाके से आम आदमी पार्टी के विधायक नरेश यादव को मंगलवार को संगरूर अदालत ने बरी करने के आदेश दिए। मामले में शामिल अन्य दो आरोपितों को अदालत ने दोषी मानते हुए सजा सुनाई है, जबकि एक अन्य आरोपित का फैसला अभी लंबित है। विधायक नरेश यादव ने इसे सच की जीत करार देते हुए माननीय अदालत का धन्यवाद किया। विधानसभा में विपक्ष के नेता हरपाल चीमा ने अदालत परिसर में नरेश यादव को उक्त बेअदबी मामले में बरी होने पर गले मिलकर बधाई दी।

उल्लेखनीय है कि 24 जून 2016 की रात को जिला संगरूर के मुस्लिम आबादी वाले इलाके मालेरकोटला में रात के समय पवित्र कुरान शरीफ के पन्ने फटे हुए सड़क पर बिखरे मिले थे, जिसके बाद पुलिस ने जांच पड़ताल करने उपरांत तीन व्यक्ति विजय कुमार, गौरव कथूरिया, नंद किशोर को गिरफ्तार कर लिया था। इनके द्वारा इस मामले में दिल्ली के महरौली इलाके के विधायक नरेश यादव का नाम लेने पर पुलिस ने नरेश यादव को भी मामले में नामजद कर लिया था। साथ ही नरेश यादव पर बेअदबी सहित देशद्रोह की अपराध की धारा लगाई गई थी। संगरूर अदालत ने देशद्रोह की धारा को पहले ही रद कर दिया था।

मंगलवार को माननीय एडिशनल चीफ ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट प्रशांत वर्मा ने इस केस में नामजद विधायक नरेश यादव को बाइज्जत बरी करने के हुकुम सुनाए। साथ ही विजय कुमार व गौरव कथुरिया को सजा सुनाई। चौथे आरोपित नंद किशोर का फैसला अभी लंबित है।

विधायक नरेश यादव ने बरी होने के बाद अदालत से बाहर आते हुए कहा कि वह पहले दिन से कह रहे थे कि उक्त बेअदबी मामले में तत्कालीन अकाली-भाजपा सरकार ने षड़यंत्र के तहत उन्हें मामले में फंसाने की खातिर आरोपितों से उऩका नाम पेश करवाकर पर्चें मे नामजद किया। उन्हें माननीय अदालत पर पूरा भरोसा था, जिसकी बदौलत आज अदालत में सच की जीत हुई और अदालत ने उसे बरी करने का आदेश दिया।

नरेश यादव के वकील निरपाल सिंह धालीवाल ने कहा कि माननीय अदालत ने नरेश यादव को बरी करने का आदेश दिया। इस केस में अदालत पहले ही स्टेट पक्ष को सुबूत पेश करने का कह चुकी थी। नरेश यादव के खिलाफ सुबूत नहीं मिल पाए, जिसके चलते अदालत ने उन्हें बरी कर दिया है।

विपक्ष के नेता हरपाल चीमा ने नरेश यादव के बरी होने पर खुशी जाहिर करते हुए कहा कि आज अदालत में सत्य की जीत हुई है। तत्कालीन अकाली-भाजपा सरकार ने आम आदमी पार्टी की छवि को खराब करने के लिए नरेश यादव का नाम इस केस में जोड़ा था। किंतु नरेश यादव के खिलाफ कोई पुख्ता सुबूत पेश नहीं हो पाया, क्योंंकि नरेश यादव का इस मामले से कोई संबंध नहीं था। लिहाजा, आज माननीय अदालत ने नरेश यादव को बरी कर दिया है।

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