पंजाब CM कैप्टन अमरिंदर सिंह ने नवजोत सिद्धू का इस्तीफा किया मंजूर, राज्यपाल को भेजा

सिद्धू ने पंजाब मंत्रिमंडल से अपना इस्तीफा सोमवार को मुख्यमंत्री का आवास भेजा था। इससे पहले सिद्धू ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को 10 जून को अपना इस्तीफा भेजने का दावा किया था।

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चंडीगढ़।  पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टेन अमरिंदर सिंह ने शनिवार को नवजोत सिंह सिद्धू का इस्तीफा मंजूर कर लिया है। सीएम ने अपने इस्तीफे को पंजाब के राज्यपाल विजेंद्र पाल सिंह बदनोर को सौंप दिया है।

पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिन्दर सिंह ने मंगलवार को कहा कि वह नवजोत सिंह सिद्धू के इस्तीफे की अंतर्वस्तु पर विचार करने के बाद बुधवार को फैसला करेंगे। मुख्यमंत्री ने कहा था कि दिल्ली में उनकी कुछ बैठकें हैं और वह बुधवार को चंडीगढ़ लौटेंगे।

सिद्धू ने पंजाब मंत्रिमंडल से अपना इस्तीफा सोमवार को मुख्यमंत्री का आवास भेजा था। इससे पहले सिद्धू ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को 10 जून को अपना इस्तीफा भेजने का दावा किया था। उन्होंने रविवार को अपना त्यागपत्र सार्वजनिक कर दिया था।

बताया जा रहा है कि सिद्धू और कैप्टेन अमरिंदर सिंह के बीच लोकसभा चुनाव के दौरान से ही तनातनी चल रही थी। इमरान खान के शपथ-ग्रहण समारोह में शामिल होने और पाकिस्तानी सेना के प्रमुख से सिद्धू के गले मिलने के कारण अमरिंदर सिंह ने उन्हें खूब खरी-खोटी सुनाई थी।

अमरिंदर सिंह और उनके कैबिनेट साथी नवजोत सिंह सिद्धू के बीच विवाद 14 जुलाई को उस समय और गहरा गया जब सिद्धू ने बिजली और नए और नवीकरणीय ऊर्जा स्रोत मंत्रालय से इस्तीफा दे दिया. क्रिकेटर से राजनेता बने सिद्धू ने अपने इस्तीफे में लिखा, “मैं पंजाब मंत्रिमंडल के मंत्री पद से इस्तीफा देता हूं.”

ट्विटर पर अपना इस्तीफा पोस्ट करते हुए सिद्धू ने ट्वीट किया, “मेरा इस्तीफा कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी जी के पास 10 जून 2019 को पहुंच गया था.” मुख्यमंत्री के मीडिया सलाहकार रवीन ठुकराल द्वारा यह बताने के बाद कि मुख्यमंत्री कार्यालय को सिद्धू का इस्तीफा नहीं मिला है, सिद्धू ने ट्वीट किया, “पंजाब के मुख्यमंत्री को अपना इस्तीफा भेजूंगा.”

बता दें कि छह जून को मंत्रिमंडल के पुनर्गठन में नवजोत सिंह सिद्धू से स्थानीय सरकार, पर्यटन और सांस्कृतिक मामलों का विभाग लेकर उन्हें बिजली और नए और नवीकरणीय ऊर्जा स्रोत मंत्रालय दे दिया था.

नवजोत सिंह सिद्धू ने हालांकि अपने नए मंत्रालय प्रभार को संभालने से इंकार कर दिया था. दस जून को नई दिल्ली में उन्हें कांग्रेस नेताओं-राहुल गांधी, प्रियंका गांधी, अहमद पटेल से मुलाकात कर उन्हें बताया था कि लोकसभा में पार्टी की हार के लिए उन पर सार्वजनिक रूप से आरोप लगाया गया. उसके बाद से वह एकांतवास में चले गए थे.

उनकी अनुपस्थिति में अमरिंदर सिंह ने 10 जून को बिजली की कमी से संबंधित कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए क्योंकि राज्य में इससे धान की फसल की बुवाई प्रभावित हो रही थी

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