चंडीगढ़/ फिरोजपुर। किसान आंदोलन के बीच आढ़ती एसोसिएशन के पंजाब प्रदेश प्रधान विजय कालड़ा के मक्खू स्थित आवास पर आयकर विभाग ने शुक्रवार रात को छापामारी की। बठिंडा, जालंधर और फिरोजपुर से आयकर विभाग की टीमें छापामारी में शामिल थीं। इतना ही नहीं, सुरक्षा के लिए उत्तर प्रदेश नंबर की एक बस में सीआरपीएफ के 15 जवान भी इस कार्रवाई के दौरान कालड़ा के आवास के बाहर मौजूद रहे। आयकर विभाग की इस कार्रवाई पर पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने नाराजगी जताई है।
शुक्रवार रात करीब नौ बजे मक्खू पहुंची इन टीमों में बठिंडा और जालंधर से डिप्टी डायरेक्टर रैंक के अधिकारी भी शामिल थे। आयकर अधिकारियों ने करीब 20 घंटे तक कालड़ा के आढ़त के कारोबार और पेट्रोल पंप के दस्तावेज की जांच की और बाद में रिकार्ड साथ ले गए। एक टीम ने कालड़ा के घर और दूसरी टीम ने उनके पेट्रोल पंप पर रात भर रिकार्ड की जांच की। इसके बाद शनिवार शाम करीब चार बजे वापस चली गईं।
आयकर विभाग की छापामारी पर मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने कहा कि ऐसी कार्रवाई करके केंद्र सरकार लोगों के गुस्से को बढ़ा रही है। आढ़तियों पर साजिश के तहत छापामारी की जा रही है, ताकि आढ़तियों को दबाया जा सके और वह किसान आंदोलन का समर्थन न कर सकें। कैप्टन ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा विरोधियों को दबाने के लिए केंद्रीय एजेंसी का दुरुपयोग किया जा रहा है और यह पहली मिसाल नहीं है। केंद्र की यह धक्केशाही विश्व के सबसे बड़े लोकतांत्रिक देश के लिए अच्छे संकेत नहीं है। जब सुप्रीम कोर्ट भी लोगों के शांतमयी प्रदर्शन करने के अधिकार को कायम रख चुकी है तो केंद्र सरकार यह कार्रवाई करके क्या साबित करना चाहती है।
कैप्टन ने कहा कि ऐसी कार्रवाई केंद्र सरकार को उल्टी पड़ेगी। कृषि कानूनों के खिलाफ लंबे समय से संघर्ष कर रहे किसानों को मनाने, गुमराह करने और विभाजित करने में असफल रहने के बाद केंद्र सरकार अब संघर्ष को कमजोर करने के लिए आढ़तियों को निशाना बना रही है। कई बड़े आढ़तियों के ठिकानों पर नोटिस जारी करने के चार दिन के भीतर ही आयकर के छापे मारे गए और नोटिस के जवाब का इंतजार नहीं किया गया। इस कार्रवाई में न तो कानूनी प्रक्रिया का पालन किया गया और न ही स्थानीय पुलिस को सूचित किया गया।
कैप्टन ने कहा कि आयकर की टीमों के छापों के दौरान सुरक्षा के लिए सीआरपीएफ की सहायता ली गई।मुख्यमंत्री ने कहा कि अगर यह किसानों के संघर्ष को दबाने की साजिश नहीं है तो फिर क्या है। सीआरपीएफ की सुरक्षा में रातभर आढ़तियों के यहां छापे मारे गए। इन आढ़तियों में आढ़ती एसोसिएशन के प्रदेश प्रधान विजय कालड़ा के अलावा पवन कुमार गोयल, जसविंदर सिंह राणा, मनजिंदर सिंह वालिया, हरदीप सिंह लड्ढा, करतार सिंह और अमरीक सिंह शामिल हैं।
उधर, इस छापामारी के बाद शिक्षा मंत्री विजयइंद्र सिंगला मक्खू पहुंचे और आरोप लगाया कि केंद्र सरकार बदले की भावना से कार्रवाई कर रही है। आढ़ती एसोसिएशन दिल्ली में किसानों के आंदोलन में सहयोग दे रही है और कालड़ा भी आंदोलन का समर्थन करने दिल्ली गए थे।