बठिडा। 14 फरवरी को होने वाले बठिडा के स्थानीय निकाय चुनावों में इस बार शहर के 10 हजार वोटर अपनी वोट के अधिकार का इस्तेमाल से वंचित रह जाएंगे। कारण, चुनावों में वोटिग 20 फरवरी 2020 की वोटर सूची के आधार पर होगी। यानी इसके बाद वोटर सूची में जुड़े वोटर इस बार मतदान नहीं कर पाएंगे।
बठिडा विधानसभा हलके में 20 फरवरी 2020 के 24 हजार नई वोट बनी हैं। इनमें से अकेले बठिडा शहर की 10 हजार वोट हैं। ये वोटर अपने-अपने एरिया में पार्षदों को चुनने में सहयोग नहीं दे पाएंगे। इस बार चुनावों में महिलाओं के लिए 50 फीसद आरक्षण भी है। दूसरी तरफ स्थानीय निकाय चुनावों को संपन्न करवाने के लिए जिले में 2200 मुलाजिमों की ड्यूटी लगाई गई है। हालांकि 50 फीसद स्टाफ को रिजर्व में रखा जाएगा।
चुनावों को लेकर नोडल अधिकारियों की अगुआई में पोलिग स्टाफ को ईवीएम मशीनें भी अलाट कर दी गई हैं। जिले में इस समय एक नगर निगम के अलावा पांच नगर कौंसिलों व नौ नगर पंचायतों के चुनाव होने हैं। बठिडा के लिए आइएचएम व पैस्को में स्टाफ को ट्रेनिग दी जाएगी तो भुच्चो के लिए सरकारी पालिटेक्निल कालेज में रिहर्सल होगी। इसके अलावा रामपुरा व मौड़ हल्के की ट्रेनिग वहीं पर होगी।
इस बार बैलेट पेपर से नहीं डाली जाएगी वोट स्थानिय निकाय चुनावों में 2200 के करीब मुलाजिमों की ड्यूटी लगाई गई है, लेकिन इस बार वह विधानसभा या लोकसभा के चुनावों की तरह बैलेट पेपर से वोट नहीं डाल सकेंगे। इसी कारण प्रशासन की ओर से बैलेट पेपरों को छपवाया भी नहीं गया है। हालांकि चुनाव में वोट डालने के लिए इन कर्मचारियों को या तो कुछ समय के लिए छुट्टी लेनी पड़ेगी या फिर अपने मत के अधिकार का इस्तेमाल करने से वंचित रहना होगा। जबकि प्रशासन हर बार लोगों को अधिक से अधिक वोट डालने के लिए जागरूक करता है। इसको लेकर रिटर्निग अफसर हरजोत कौर ने बताया कि बैलेट पेपरों की छपाई को लेकर उनको कोई आदेश नहीं आए, मगर मुलाजिम कुछ समय के लिए छुट्टी लेकर वोट डालने के लिए जा सकता है।