UAE के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘ऑर्डर ऑफ जायेद’ से नवाजे गए पीएम मोदी
यूएई ने अप्रैल में मोदी को देश के सर्वोच्च सम्मान से नवाजे जाने की घोषणा की थी. इससे पहले कई विश्व नेता इस सम्मान से नवाजे जा चुके हैं, जिनमें रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन, महारानी एलिजाबेथ द्वितीय और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग शामिल हैं.
अबुधाबी: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भारत और संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) के बीच द्विपक्षीय संबंधों को बढ़ावा देने के उनके प्रयासों के लिये शनिवार को उन्हें देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘ऑर्डर ऑफ जायेद’ से सम्मानित किया गया. इससे पहले कई विश्व नेता इस सम्मान से नवाजे जा चुके हैं, जिनमें रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन, महारानी एलिजाबेथ द्वितीय और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग शामिल हैं.
PM @narendramodi being conferred with the UAE's highest civilian award ‘Order of Zayed’ at Abu Dhabi, UAE pic.twitter.com/zn2PHnbCEp
— PIB India (@PIB_India) August 24, 2019
विदेश मंत्रालय ने उनकी यात्रा से पहले एक बयान में कहा था, ”इस पुरस्कार का नामकरण यूएई के संस्थापक शेख जायेद बिन सुल्तान अल नहयान के नाम पर किया गया है. इसका विशेष महत्व है क्योंकि शेख जायेद की जन्म शती वर्ष में प्रधानमंत्री को यह सम्मान दिया जाने वाला है.”
,भारत और यूएई के बीच गर्मजोशी से भरा, करीबी और बहुआयामी संबंध रहा है जो सांस्कृतिक, धार्मिक और आर्थिक रूप से भी जुड़ा है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की इससे पहले अगस्त 2015 में यूएई की यात्रा के दौरान दोनों देशों के बीच व्यापक सामरिक भागीदारी भी बढ़ी.
यूएई ने अप्रैल में मोदी को देश के सर्वोच्च सम्मान से नवाजे जाने की घोषणा की थी. अबुधाबी के वलीअहद शहजादा मोहम्मद बिन जायेद अल नहयान ने अप्रैल में एक ट्वीट कर बताया, ”भारत के साथ हमारे ऐतिहासिक और व्यापक सामरिक संबंध रहे हैं, जिसमें मेरे अभिन्न मित्र प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अहम भूमिका निभायी है. उन्होंने इन संबंधों में और प्रगाढ़ता लाने का काम किया.”
करीब 60 अरब अमेरिकी डॉलर के वार्षिक द्विपक्षीय कारोबार के साथ यूएई भारत का तीसरा बड़ा कारोबारी सहयोगी है. यह भारत के लिये तेल निर्यात करने वाला चौथा बड़ा निर्यातक देश है. विदेश मंत्रालय ने कहा कि मोदी की यात्रा से मैत्री द्विपक्षीय संबंधों को मजबूती मिलेगी. उन्होंने कहा, ”यूएई में भारतीय समुदाय के 33 लाख लोग रहते हैं, जिससे दोनों मित्र देशों के लोगों के बीच संपर्क पोषित हुआ.”