PM मोदी के सहारे नीतीश की नैया पार, 125 सीटों के साथ बिहार में फिर NDA सरकार

Bihar Election Result 2020: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जिस तरह से बिहार में चुनावी रैलियां की उसके बाद से एनडीए पर बिहार की जनता का भरोसा बढ़ गया. प्रधानमंत्री ने लोगों को आगाह किया कि उनका वोट एक बार फिर बिहार में जंगलराज ला सकता है.

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नई दिल्ली. बिहार विधानसभा चुनाव (Bihar Assembly Election Results) के नतीजों ने एक बार फिर साबित कर दिया है बिहार (Bihar) की जनता की नब्ज पकड़ना किसी भी एग्जिट पोल (Exit poll) के बस की बात नहीं है. ​बिहार चुनाव के बाद आए एग्जिट पोल ने भले ही महागठबंधन (mahagathbandhan) के सिर पर जीत का सेहरा बांध दिया हो लेकिन हकीकत इससे बिल्कुल उलट निकली है. बिहार में एक बार फिर एनडीए की सरकार बन चुकी है और नीतीश कुमार (Nitish Kumar) अगले पांच सालों के लिए मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बैठने को तैयार हैं. बता दें बिहार विधानसभा चुनाव में एनडीए को 125 सीटें, महागठबंधन को 110 सीटें, एलजेपी को 1 जबकि अन्य के खाते में 7 सीटें गई हैं.

बिहार में एक बार फिर नीतीश कुमार ने साबित कर दिया कि उनका सुशासन बिहार की जनता की पहली पसंद है और वहां के लोग अभी भी उनपर भरोसा करते हैं. हालांकि इस चुनाव को पूरी तरह से नीतीश कुमार के पक्ष में करने का श्रेय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जाता है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जिस तरह से बिहार में चुनावी रैलियां की उसके बाद से एनडीए पर बिहार की जनता का भरोसा बढ़ गया. प्रधानमंत्री ने लोगों को आगाह किया कि उनका वोट एक बार फिर बिहार में जंगलराज ला सकता है. प्रधानमंत्री की यही बात शायद बिहार की जनता के दिल में घर कर गई. इसके बाद चुनाव के दिन जो हुआ वह आज सबके सामने है.

बिहार के चुनाव नतीजों पर गौर करें तो एनडीए में बीजेपी के खाते में सबसे ज्यादा सीटें गई हैं. बिहार के चुनाव में बीजेपी को 74 सीटें हासिल हुई हैं. वहीं जनता दल यूनाइटेड के खाते में 43 सीटें गई हैं. इस बार के चुनाव में वीआईपी को 4 हम को 4 सीट मिली है. इस बार के बिहार विधान सभा चुनाव में महागठबंधन से बीजेपी को कड़ी टक्कर मिली है.

महागठबंधन के खाते में 110 सीटें गई हैं. महागठबंधन में आरजेडी के खाते में 75 सीटें जबकि कांग्रेस को 19 सीटें मिली हैं. इस गठबंधन की अन्य पार्टियों में सीपीआईएमएल को 12 सीटें जबकि सीपीएम को 2 सीटें मिली हैं. बिहार चुनाव में सीपीआई के खाते में मात्र 2 सीटें गई हैं. इस चुनाव में सबसे खराब स्थिति एलजेपी की रही. चिराग पासवान के नेतृत्व में इस बार ​का चुनाव लड़ रही एलजेपी को केवल 1 सीटें मिली है.

करीब 18 घंटे की काउंटिंग के बाद बिहार में नतीजों की तस्वीर साफ हो गई। NDA 125 सीटों के साथ सत्ता बचाने में कामयाब रहा, लेकिन सबसे ज्यादा नुकसान उठाने वाली पार्टी नीतीश कुमार की जदयू ही रही। पिछली बार के मुकाबले जदयू की 28 सीटें घट गईं और वह 43 सीटों पर आ गई। वहीं, भाजपा 21 सीटों के फायदे के साथ 74 सीटों पर पहुंच गई। राजद सबसे बड़ा दल बनकर उभरा, जिसे 75 सीटें मिलीं। उसके नेतृत्व वाले महागठबंधन को 110 सीटें मिलीं।

इससे पहले, रुझानों में NDA ने सुबह साढ़े दस बजे ही बहुमत का आंकड़ा छू लिया था, लेकिन करीब आठ घंटे बाद यानी शाम साढ़े छह बजे के करीब तस्वीर बदल गई। NDA 134 से घटकर 120 पर आ गया। हालांकि, दो घंटे बाद ही उसने फिर 123 सीटों पर बढ़त के साथ रुझानों में बहुमत का आंकड़ा पार कर लिया। 23 सीटों पर वोटों का मार्जिन दो हजार से कम था, इसलिए NDA की सीटें बहुमत से कम-ज्यादा होती रहीं।

सबसे बड़ा फायदा भाजपा को, सबसे ज्यादा नुकसान जदयू को

पार्टी सीटें (फायदा/नुकसान)
भाजपा 74 (+21)
जदयू 43 (-28)
हम 4 (+3)
VIP 4 (+4)
कुल NDA 125
राजद 75 (-5)
कांग्रेस 19 (-8)
भाकपा (माले) 12 (+9)
भाकपा 2 (+2)
माकपा 2 (+2)
कुल महागठबंधन 110
अन्य 8

 

नीतीश की शिकायत लिए EC तक पहुंचा राजद
शाम तक आए रुझानों में राजद NDA को बराबरी पर रोकता दिखा। उसे भाजपा के 19.4% के मुकाबले 23.1% वोट मिले। काउंटिंग के दौरान राजद और कांग्रेस के नेता नीतीश कुमार की शिकायत लेकर चुनाव आयोग भी पहुंचे। उनका आरोप था कि नीतीश काउंटिंग को प्रभावित करने की कोशिश कर रहे हैं। उधर, सभी नतीजे घोषित होने से पहले ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बिहार के वोटरों को जीत की बधाई दे दी। बोले, ‘बिहार के हर वोटर ने साफ-साफ बता दिया कि उसकी प्राथमिकता सिर्फ और सिर्फ विकास है।’

 

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