राहुल गांधी का मोदी सरकार पर हमला, कहा- मुसीबत में GDP और बैंक, यह विकास है या विनाश?
राहुल ने कहा- जनता का मनोबल टूट रहा है और सामाजिक न्याय प्रतिदिन कुचला जा रहा है. राहुल गांधी का इशारा वित्तीय संकट से गुजर रहे निजी क्षेत्र के लक्ष्मी विलास बैंक को लेकर है.
नई दिल्ली: कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने देश की अर्थव्यवस्था को लेकर एक बार फिर केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर निशाना साधा है. राहुल गांधी ने दावा किया है कि देश के बैंक और सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) मुसीबत में है और इस स्थिति में जनता का मनोबल टूट रहा है.
बैंक मुसीबत में हैं और GDP भी। महँगाई इतनी ज़्यादा कभी नहीं थी, ना ही बेरोज़गारी। जनता का मनोबल टूट रहा और सामाजिक न्याय प्रतिदिन कुचला जा रहा है।
विकास या विनाश?
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) November 18, 2020
राहुल ने क्या कहा है?
राहुल गांधी ने आज सुबह ट्वीट किया, ‘‘ बैंक मुसीबत में हैं और जीडीपी भी. महंगाई इतनी ज़्यादा कभी नहीं थी, ना ही बेरोज़गारी. जनता का मनोबल टूट रहा है और सामाजिक न्याय प्रतिदिन कुचला जा रहा है.’’ ‘यह विकास है या विनाश?’
वित्तीय संकट से गुजर रहा है लक्ष्मी विलास बैंक
बता दें कि राहुल गांधी का इशारा वित्तीय संकट से गुजर रहे निजी क्षेत्र के लक्ष्मी विलास बैंक को लेकर है. सरकार ने लक्ष्मी विलास बैंक पर एक महीने तक के लिये पाबंदियां लगा दी हैं. इसके तहत बैंक के खाताधारक ज्यादा से ज्यादा 25,000 रुपये तक की निकासी कर सकेंगे.
इसके साथ ही सरकार ने डीबीएस इंडिया के साथ लक्ष्मी विलास बैंक के अधिग्रहण की योजना की भी घोषणा की है. बैंक की खस्ता वित्तीय हालत को देखते हुए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) की सलाह के बाद सरकार ने यह कदम उठाया है. रिजर्व बैंक ने लक्ष्मी विलास बैंक के निदेशक मंडल को हटा दिया है और केनरा बैंक के पूर्व गैर-कार्यकारी चेयरमैन टीएन मनोहरन को 30 दिनों के लिये उसका प्रशासक नियुक्त किया है.
यस बैंक के बाद मुश्किलों में फंसने वाला ये दूसरा बैंक
गौरतलब है कि यस बैंक के बाद इस साल मुश्किलों में फंसने वाला लक्ष्मी विलास बैंक निजी क्षेत्र का दूसरा बैंक बन गया है. यस बैंक के ऊपर मार्च में पाबंदियां लगायी गयी थीं. सरकार ने तब भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) की मदद से यस बैंक को उबारा था. एसबीआई ने यस बैंक की 45 प्रतिशत हिस्सेदारी के बदले 7,250 करोड़ रुपये लगाया था.