अब आजाद ने की PM मोदी की तारीफ:वरिष्ठ कांग्रेस नेता ने कहा- प्रधानमंत्री जमीन से जुड़े नेता, कामयाबी के बावजूद अपनी जड़ें नहीं भूले, उनसे सीखना चाहिए
नई दिल्ली। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की जमकर तारीफ की है। श्रीनगर में गुज्जर समुदाय के एक कार्यक्रम में पूर्व राज्यसभा सांसद गुलाम नबी आजाद ने कहा है कि PM नरेंद्र मोदी जमीन से जुड़े नेता हैं और लोगों को उनसे सीखना चाहिए कि कामयाबी की बुलंदियों पर जाने के बाद भी कैसे अपनी जड़ों को याद रखा जाता है।
#WATCH I like lot of things about many leaders. I'm from village & feel proud… Even our PM hails from village & used to sell tea. We're political rivals but I appreciate that he doesn't hide his true self. Those who do, are living in bubble: Congress' Ghulam Nabi Azad in Jammu pic.twitter.com/8KKIYOwzZB
— ANI (@ANI) February 28, 2021
राज्यसभा में विपक्ष के नेता रहे गुलाम नबी आजाद ने कहा, ‘कई नेताओं में बहुत सी अच्छी बातें होती हैं। मेरे PM मोदी के साथ राजनीतिक मतभेद हैं, लेकिन वास्तव में वे एक जमीनी व्यक्ति हैं। मैं खुद गांव का हूं और मुझे भी इस बात पर बहुत फख्र है। PM मोदी भी कहते हैं कि बर्तन मांजता था, चाय बेचता था। निजी तौर पर हम उनके खिलाफ हैं, लेकिन जो इंसान अपनी असलियत नहीं छिपाते, वे हमेशा जड़ों से जुड़ें होते हैं। यदि आपने अपनी असलियत छिपाई तो आप मशीनी दुनिया में जी रहे होते हैं।’
राज्यसभा का कार्यकाल समाप्त होने के बाद आजाद इन दिनों जम्मू-कश्मीर के दौरे पर हैं।
आंसुओं के बाद अब तारीफों की बारी
राज्यसभा में विपक्ष के नेता रहे गुलाम नबी आजाद के विदाई समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी उनकी जमकर तारीफ की थी। तब गुजरात के लोगों पर कश्मीर में हुए एक आतंकी घटना का जिक्र कर PM ने आजाद की खूब तारीफ की थी। मोदी भावुक भी हो गए थे और उन्होंने उस समय जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री रहे गुलाम नबी आजाद को सैल्यूट भी किया था। बाद में आजाद भी भावुक हो गए थे।
कांग्रेस हाईकमान से नाराज चल रहे हैं सीनियर लीडर
कांग्रेस हाईकमान की कार्य प्रणाली को लेकर गुलाम नबी आजाद, कपिल सिब्बल सरीखे नेता कई बार खुले मंच से सवाल उठा चुके हैं। पार्टी से नाराज इन सीनियर नेताओं को G-23 के नाम से भी जाना जाता है। इन्होंने ही कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को चिट्ठी लिखी थी, जिसमें पार्टी को चलाने के तौर-तरीकों पर सवाल उठाए गए थे।
इन्हीं नेताओं ने शनिवार को जम्मू में इकट्ठा होकर अपनी ताकत भी दिखाई थी। इन नेताओं ने राज्यसभा से रिटायर हुए गुलाम नबी आजाद के साथ पार्टी के सलूक को लेकर भी नाराजगी जताई है। गुलाम नबी आजाद पार्टी के उन 23 नेताओं में प्रमुख चेहरा हैं जो पार्टी नेतृत्व को लेकर मोर्चा खोल चुके हैं। एक दिन पहले ही जी-23 के नेताओं ने कांग्रेस आलाकमान को यह स्वीकार करने की नसीहत दी थी कि पार्टी कमजोर हुई है और इसे मजबूत करने के लिए काम करने की जरूरत है।