झारखंड रोप-वे रेस्क्यू ऑपरेशन पूरा:रेस्क्यू के दौरान गिरी महिला की मौत, हादसे के 45 घंटे बाद 46 को बचाया गया, 4 की गई जान
झारखंड के देवघर में त्रिकुट पर्वत पर रोप-वे हादसे के 45 घंटे बाद रेस्क्यू ऑपरेशन पूरा हो गया। रोप-वे की ट्रॉलियों में फंसे 48 लोगों में से 46 को बचा लिया गया है। हादसे में कुल 4 लोगों की मौत हुई है और 12 से ज्यादा घायल हैं। रेस्क्यू के दौरान दूसरे दिन भी एक महिला ट्रॉली से गिर गई। उसकी मौत हो गई। सोमवार को भी एक युवक की हेलिकॉप्टर में चढ़ाने के दौरान गिरने से जान चली गई थी।
Big shoutout to the @IAF_MCC Mi-17 crews rescuing stranded persons from the Deogarh ropeway in Jharkhand: pic.twitter.com/3S17MZNpzJ
— Shiv Aroor (@ShivAroor) April 12, 2022
मंगलवार को तीसरे दिन 7 घंटे से ऑपरेशन चल रहा है। एयरफोर्स और आईटीबीपी के जवानों ने हेलिकॉप्टर से 2500 फीट ऊंचाई पर पहुंचकर रोप-वे की तीन ट्रॉलियों में फंसे 15 को निकाल लिया। ऊंचाई और तेज हवा होने की वजह से यह सबसे मुश्किल रेस्क्यू हुआ। रेस्क्यू के दौरान एक जवान के पैर में चोट लग गई।
#WATCH | 8 people have been rescued so far in the rescue operation. 40 more persons are yet to be rescued from ropeway site near Trikut in Deoghar, Jharkhand pic.twitter.com/rLt7ys0iLB
— ANI (@ANI) April 11, 2022
एक दिन पहले सोमवार को सेना, वायुसेना, ITBP और NDRF की टीमों ने 12 घंटे तक रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया था। इसमें 33 लोगों को तीन हेलिकॉप्टर और रस्सी के सहारे बचाया गया था। रेस्क्यू के दौरान सेफ्टी बेल्ट टूट जाने के कारण एक व्यक्ति की हेलिकॉप्टर से नीचे गिर कर मौत हो गई थी। अंधेरा और कोहरा हो जाने की वजह से ऑपरेशन बंद कर दिया गया था।
रेस्क्यू का सबसे कठिन दौर था
वायु सेना, सेना और NDRF की टीमें अतिरिक्त सतर्कता बरती। टीम में शामिल एक अधिकारी ने बताया कि तीन ट्रॉली सबसे ऊंचाई पर थे, जिसकी वजह से रोप-वे के तार के कारण लोगों तक पहुंचने में कठिनाई आई।
More than 50 People stuck in Ropeway car hundreds of feet above the ground in Deoghar, Jharkhand and Sonia-Soren Govt kept them hanging overnight, only today the IAF started ops to rescue those stuck. Media Mum.pic.twitter.com/ttJ8LiW6oG
— Mihir Jha (@MihirkJha) April 11, 2022
इस ऑपरेशन में वायु सेना के तीन हेलिकॉप्टर लगाया गया था। आला अधिकारी लगातार मौके पर कैंप कर रहे हैं। इस हादसे में बचाए गए 12 से अधिक लोगों का अस्पताल में इलाज चल रहा है। इनमें महिलाएं और बच्चियां शामिल हैं। कुछ घायलों को ICU में भी रखा गया है।
रात को भूखे-प्यासे रहे
दो ट्रॉली में एक ही परिवार के लगभग लगभग 8 से 10 लोग शामिल थे, जो देवघर के राम मंदिर रोड मोहल्ले के निवासी हैं। इनमें छठी लाल साह, उनकी पत्नी शोभा देवी, पुत्र अमित कुमार, पुत्र वधू खुशबू कुमारी, जया कुमारी, दो बच्चे 3 साल का वीर एवं 10 साल का कर्तव्य शामिल थे। परिवार ने रात भर बिना पानी के ही गुजारा किया। सुबह किसी तरह उन तक पानी पहुंचाया गया। दोपहर 12 बजे सभी को निकाल लिया गया है। फंसे लोगों को खाना और पानी पहुंचाने के लिए पटना से ड्रोन मंगाया गया था, लेकिन शाम होने की वजह से फंसे लोगों तक खाना -पानी पहुंचाया नहीं जा सका। इसमें 3 और 4 साल के बच्चे भी हैं।
#Deoghar Ropeway Accident: Heartwarming visual of an IAF chopper rescuing a little girl #Jharkhand #ITVideo | @Chaiti pic.twitter.com/EdVh6MiatV
— IndiaToday (@IndiaToday) April 11, 2022
झारखंड हाईकोर्ट ने 25 अप्रैल तक जांच रिपोर्ट मांगी
झारखंड हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस डॉ रवि रंजन व जस्टिस एसएन प्रसाद की अदालत ने देवघर में रोपवे हादसे पर स्वतः संज्ञान लिया है। अदालत ने राज्य सरकार से पूरे मामले की जांच रिपोर्ट 25 अप्रैल को मांगी है। कोर्ट ने कहा कि वर्ष 2009 में इस तरह की गड़बड़ी हुई थी, लेकिन उससे सबक नहीं लिया गया और दोबारा घटना हुई है। इस दौरान राज्य सरकार की ओर महाधिवक्ता ने कहा कि मामले की उच्चस्तरीय जांच के आदेश दिए गए है। बचाव एवं राहत कार्य जोरों पर है। अब कुछ लोग ही फंसे हैं जिन्हें निकाला जा रहा है।