नई दिल्ली। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने जेट एयरवेज केस में दिल्ली और मुंबई में छापेमारी की. जेट एयरवेज के संस्थापक नरेश गोयल के आवासीय परिसरों के साथ ही एक दर्जन से अधिक स्थानों की तलाशी ली जा रही है.
जेट प्रिविलेज प्राइवेट लिमिटेड (जेपीपीएल) में एतिहाद एयरवेज के निवेश की ईडी जांच कर रही है. जांच एजेंसी का मानना है कि 2014 में हुए इस निवेश के दौरान प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) का उल्लघंन किया गया होगा. जेट एयरवेज पर 8,500 करोड़ से अधिक का कर्ज है. अगर कर्मचारियों की सैलरी को भी जोड़ लिया जाए तो यह आंकड़ा 11 हजार करोड़ के अधिक तक पहुंच जाता है.
कथित वित्तीय अनियमितताओं की जांच
इससे पहले जेट एयरवेज के संस्थापक नरेश गोयल से गुरुवार को गंभीर धोखाधड़ी जांच कार्यालय (एसएफआईओ) ने पूछताछ की थी. आधिकारिक सूत्रों ने बताया था कि गोयल से यह पूछताछ जेट एयरवेज में 18 हजार करोड़ के कथित वित्तीय अनियमितताओं को लेकर की गई. जेट एयरवेज अब ठप खड़ी है.
एसएफआईओ कर रही है मामले की जांच
कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय ने जुलाई में जेट एयरवेज के मामले की एसएफआईओ जांच का निर्देश दिया था. बड़े पैमाने पर अनियमितता तथा कोष को इधर उधर करने का मामला सामने आने के बाद यह निर्देश दिया गया था. जेट एयरवेज का परिचालन अप्रैल से बंद है.
17 अप्रैल से जेट एयरवेज का परिचालन बंद
जेट एयरवेज ने गंभीर नकदी संकट के बाद 17 अप्रैल से अपना परिचालन रोक दिया है. इससे पहले मार्च में गोयल ने एयरलाइन के चेयरमैन पद से इस्तीफा दे दिया था, फिलहाल जेट एयरवेज दिवाला एवं शोधन अक्षमता संहिता के तहत दिवाला प्रक्रिया में है.