तालिबानी हुकूमत LIVE:अफगानिस्तान से निकाले गए 87 भारतीय दिल्ली पहुंचे; काबुल से 168 लोगों को लेकर एक और विमान ने उड़ान भरी

0 1,000,126

अफगानिस्तान की राजधानी काबुल से निकाले गए 87 भारतीय आज सुबह दिल्ली पहुंच चुके हैं। इनमें 2 नेपाली भी शामिल हैं। वतन वापसी की खुशी में भारतीयों ने फ्लाइट के अंदर ही भारत माता के जयकारे लगाए। ये लोग 2 विमानों से भारत पहुंचे हैं। इन्हे पहले तजाकिस्तान की राजधानी दुशाम्बे और कतर की राजधानी दोहा पहुंचाया गया था। वहां से बीती रात इन्हें भारत रवाना किया गया था। वहीं काबुल से आज भारतीय वायुसेना के एक और विमान ने उड़ान भरी है। इसमें 107 भारतीयों समेत कुल 168 लोग आ रहे हैं। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने ये जानकारी दी है।

काबुल से भारतीयों को निकालने का सिलसिला जारी है। इनमें अफगानी सांसद अनारकली होनरयार, नरेंदर सिंह खालसा और इन दोनों के परिवार भी शामिल हैं। ये काबुल एयरपोर्ट पर हैं और इन्हें आज भारत लाया जा सकता है। काबुल से आने वाली अगली फ्लाइट में 23 अफगानी हिंदू और सिख शामिल होंगे। इंडियन वर्ल्ड फोरम के प्रेसिडेंट पुनीत सिंह चंढोक ने ये जानकारी दी है। बता दें होनरयार और खालसा उन लोगों में शामिल हैं जिन्हें तालिबान शनिवार को अपने साथ ले गया था। तालिबान ने कहा था कि ये अफगानी हैं इसलिए देश नहीं छोड़ सकते। हालांकि, बाद में इन्हें छोड़ दिया गया।

काबुल एयरपोर्ट से हर रोज उड़ सकेंगे भारत के दो विमान
अफगानिस्तान में फंसे भारतीयों के वतन वापसी की राह आसान हो गई है। काबुल एयरपोर्ट से भारत को रोजाना दो विमानों के संचालन की अनुमति मिल चुकी है। अमेरिकी और उत्तरी अटलांटिक ट्रीटी ऑर्गनाइजेशन (NATO) फोर्स ने इसकी अनुमति शनिवार को दी है। भारतीय विदेश मंत्रालय ने कहा है कि अब वे जल्द ही सभी भारतीयों को वापस लाएंगे। यहां अभी 300 भारतीयों के फंसे होने की जानकारी है।

तालिबान ने कहा- अहमद मसूद साथ आने को तैयार
तालिबान ने कहा है कि पंजशीर में लड़ाकों का नेतृत्व कर रहा अहमद मसूद उनके साथ आने को तैयार है। आतंकी संगठन हक्कानी ने यह ऐलान किया है। अगर ऐसा होता है तो अफगानिस्तान में तालिबान को रोकने वाला अब कोई नहीं होगा।

अहमद मसूद के नॉर्दर्न अलायंस ने शुक्रवार को ही तालिबान लड़ाकों से 3 जिले छीनने का ऐलान किया था। इन जिलों में तालिबानी झंडा हटाकर अफगानिस्तान का राष्ट्रीय झंडा फहरा दिया गया था। अफगानिस्तान के रक्षा मंत्री जनरल बिस्मिल्ला मोहम्मद ने भी सोशल मीडिया पर कहा है कि पुल-ए-हिसार, बानू और देह-ए-सलाह से तालिबान को खदेड़ दिया गया है। बिस्मिल्लाह मोहम्मद अशरफ गनी की सरकार में रक्षा मंत्री थे।

तालिबान के लिए मुश्किलें खड़ी कर सकते हैं पंजशीर के लड़ाके
तालिबानी भी पंजशीर मामले को जल्दी हल करने के पक्ष में हैं। उनका मानना है कि पंजशीर के लड़ाकों को शांत नहीं किया गया तो उन्हें सरकार चलाने में मुश्किलों का सामना करना पड़ेगा। पंजशीर अफगानिस्तान का एकमात्र ऐसा प्रांत है, जिसपर तालिबान आजतक अपना कब्जा नहीं कर पाया है।

सूत्रों के मुताबिक, तालिबान के वार्ताकार अहमद मसूद से लगातार सरकार में शामिल होने के लिए बातचीत कर रहे हैं। सूत्रों के मुताबिक अभी तक कोई समझौता नहीं हुआ है। हक्कानी के दावों की भी अभी पुष्टि नहीं हुई है।

हथियारों के साथ तैनात नॉर्थन अलायंस का लड़ाका। उनके पास जंग के सभी साधन उपलब्ध हैं।
हथियारों के साथ तैनात नॉर्थन अलायंस का लड़ाका। उनके पास जंग के सभी साधन उपलब्ध हैं।

अमेरिका ने अपने नागरिकों से काबुल एयरपोर्ट न जाने का निर्देश दिया
अमेरिका ने अपने नागरिकों को काबुल एयरपोर्ट से दूर रहने का निर्देश दिया है। अमेरिकी दूतावास ने अमेरिकियों से कहा है कि एयरपोर्ट के हालात ठीक नहीं हैं। यहां गोलियां चल रही हैं और अफरातफरी का माहौल है। अमेरिकी नागरिकों से अपील है कि वे अभी काबुल एयरपोर्ट के आसपास भी न जाएं। एयरपोर्ट के हालात सुधरने के बाद सरकार फिर से नए निर्देश जारी करेगी।

अफगानिस्तान में फिलहाल 6 हजार अमेरिकी सैनिक मौजूद हैं।इनमें कई काबुल एयरपोर्ट की सुरक्षा संभाले हुए हैं।
अफगानिस्तान में फिलहाल 6 हजार अमेरिकी सैनिक मौजूद हैं।इनमें कई काबुल एयरपोर्ट की सुरक्षा संभाले हुए हैं।

Leave A Reply

Your email address will not be published.