AIIMS में आग पर काबू पाया गया, कोई हताहत नहीं लेकिन मेडिकल रिपोर्ट्स और नमूने बर्बाद
एम्स के दमकल विभाग ने बताया कि टीचिंग ब्लॉक में लगी आग को बुझा लिया गया है. आग लैब मेडिसिन विभाग के इमरजेंसी लैब तक फैल गई थी जो माइक्रोलॉजी विभाग की विषाणु विज्ञान इकाई के ठीक बगल में है जहां पिछले कुछ समय से बिजली का काम चल रहा था
नई दिल्ली: राष्ट्रीय राजधानी के अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के टीचिंग ब्लॉक में कल शाम लगी भीषण आग पर अब काबू पा लिया गया है. अधिकारियों ने बताया कि आग की वजह से नमूने और मेडिकल जांच रिपोर्ट बर्बाद हो गए और कुछ मरीजों को बाहर निकालना पड़ा. हालांकि आग लगने की घटना में कोई घायल नहीं हुआ है. कहा जा रहा है कि दूसरी मंजिल पर लगी आग पांचवीं मंजिल तक फैल गई थी.
गौरतलब है कि आग शाम पांच बजे माइक्रोबायोलॉजी विभाग से शुरू हुई और इमारत से निकलते धुएं का गुबार देख मरीजों, उनके तीमारदारों और स्टाफ में अफरातफरी मच गई. पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली भी फिलहाल एम्स के कार्डियो न्यूरो केंद्र के आईसीयू में भर्ती हैं जो परिसर की एक अलग इमारत में स्थित है. कई प्रमुख नेता उनकी सेहत के बारे में जानने के लिए पिछले कुछ दिनों से अस्पताल आ रहे हैं.
गैस्ट्रोएंट्रोलॉजी इकाई में धुंआ भरने के बाद 32 मरीजों को सुरक्षित निकाला गया
दिल्ली अग्निशमन सेवा के एक अधिकारी ने बताया कि फोन पर सूचना मिलने के बाद दमकल की 34 गाड़ियों को मौके पर भेजा गया. जानकारी मिलने के पांच घंटे बाद तक आग पर पूरी तरह काबू पाने के प्रयास किये जा रहे थे. एम्स के दमकल विभाग ने बताया कि टीचिंग ब्लॉक में लगी आग को बुझा लिया गया है. दिल्ली अग्निशमन सेवा के निदेशक विपिन केंतल बताया कि गैस्ट्रोएंट्रोलॉजी इकाई में धुंआ भरने के बाद 32 मरीजों को सुरक्षित निकाला गया. बचाए गए मरीजों में कुछ जीवन रक्षक प्रणाली पर थे. एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) की दो टीमें अस्पताल पहुंच गई हैं. अगर कोई ढांचा गिरता है तो उस स्थिति में एनडीआरएफ अपनी सेवाएं देगा.
माइक्रोबायोलॉजी विभाग की विषाणु विज्ञान इकाई पूरी तरह खाक
एम्स ने एक बयान में कहा कि केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री हर्ष वर्धन आग बुझाने और मरीजों के देखभाल की व्यवस्था की निगरानी व्यक्तिगत रूप से कर रहे हैं. उन्होंने अधिकारियों से अस्पताल में विशेष फायर ऑडिट करने पर भी चर्चा की. एम्स में नियमित तौर पर यह कवायद होती है, लेकिन और अधिक विस्तृत ऑडिट होगी. बयान के मुताबिक, जिन लोगों को एबी विंग से अस्थायी रूप से स्थानांतरित किया है उन्हें रविवार वापस स्थानातंरित कर दिया जाएगा. अधिकारियों ने बताया कि दूसरे तल पर स्थित टीचिंग ब्लॉक के माइक्रोबायोलॉजी विभाग की विषाणु विज्ञान इकाई पूरी तरह खाक हो गई.
केंतल ने कहा, ‘‘ आग इमारत की दूसरी मंजिल में लगी और तीसरी और चौथी मंजिल को अपनी चपेट में ले लिया. आग की लपटें पांचवी मंजिल के पिछले हिस्से तक पहुंच गई जिसको काबू में करने की कोशिशें की जा रही हैं.’’ उन्होंने कहा, ‘‘ इमारत के पिछले में हिस्से में कुछ अस्थायी ढांचे हैं और उनमें कुछ जेनरेटर रखे गए हैं, जिससे हमारे वाहन आग बुझाने के लिए इमारत के पिछले हिस्से में नहीं पहुंच पाए. ’’
कई मरीजों को नजदीकी सफदरजंग अस्पताल रेफर किया गया
एम्स के सूत्रों ने बताया कि आपात सेवा में नए मरीजों की भर्ती नहीं की जा रही है और उन्हें नजदीकी सफदरजंग अस्पताल रेफर किया जा रहा है. एम्स के मीडिया और प्रोटोकॉल प्रभाग की अध्यक्ष आरती विज ने कहा, ‘‘दिल्ली अग्निशमन सेवा और एम्स का दमकल विभाग ने आग पर काबू पा लिया है और अब भी काम जारी है. इसमें किसी की जान की हानि नहीं हुई है. मरीजों को एहतियातन नजदीकी एबी विंग से अस्पताल के अन्य इमारतों में स्थानांतरित किया गया है.’’
सूत्रों ने कहा कि आग लैब मेडिसिन विभाग के इमरजेंसी लैब तक फैल गई थी जो माइक्रोलॉजी विभाग की विषाणु विज्ञान इकाई के ठीक बगल में है जहां पिछले कुछ समय से बिजली का काम चल रहा था और केबल और तार वहां रखी हुईं थी. उन्होंने आशंका जताई कि बड़े पैमाने पर मरीजों के रिकॉर्ड नष्ट हो गए हैं क्योंकि इकाई पूरी तरह से नष्ट हो गई है. पांचवीं मंजिल पर स्थित सर्जरी और यूरोलॉजी विभाग का कार्यालय, कुछ शिक्षकों के कक्ष और कार्यालय भी प्रभावित हुए हैं.