बठिंडा-फौज और रेलवे में नौकरी दिलवाने का झांसा देने वालों से रहे सावधान, बठिंडा में 8 नौजवानों से मारी 85 लाख की ठगी

पुलिस भी कारर्वाई करने से काट रही कन्नी, इंसाफ के लिए नौजवानों को लेना पड़ रहा हाईकोर्ट का सहारा, पुलिस ने तीन जालसाजों पर दर्ज किया केस, अब तक ढ़ाई करोड़ से अधिक की ठगी करने वाले एक दर्जन लोगों पर हो चुके हैं केस दर्ज

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बठिंडा. जिले में बेरोजगार नौजवानों को अपने चुंगल में फंसाकर सैकड़ों लोगों से जालसाज करोड़ों की ठगी मार चुके हैं वही आए दिन नए मामले जालसाजी व ठगी के सामने आ रहे हैं। इसमें रेलवे व फौज में नौकरी दिलवाने के नाम पर नौजवानों से 8 से 10 लाख रुपए की वसूली गिरोह के सदस्य करने के बाद रफूचक्कर हो जाते हैं। इसी तरह का एक सप्ताह में दूसरा मामला बठिंडा पुलिस ने दर्ज किया है। 13 अक्तूबर को पुलिस ने 80 से अधिक लोगों से दो करोड़ से अधिक की ठगी सरकारी नौकरी दिलवाने के नाम पर मारी वही अब करीब 8 नौजवानों से 85 लाख रुपए की ठगी मारने का मामला दर्ज किया गया है। तलवंडी साबों पुलिस ने इस संबंध में 8 नौजवानों को रेलवे व फौज में नौकरी दिलवाने के नाम पर उक्त राशि ठगी है। इसमें प्रभावित 8 लोगों में से लखबीर सिंह वासी रामा मंडी ने तलवंडी साबों पुलिस के पास लिखित शिकायत दी है कि इकबाल सिंह वासी देशू जोधा, नरिंदर सिंह धालीवाल वाली संगरूर, बलविंदर सिंह वासी माहीनंगल स्वयं को पूर्व सैनिक बताकर पहले नौजवानों को रेलवे व फौज में ट्रेनिंग दिलवाने का झांसा देते थे। इसके बाद उन्हें नौकरी के फार्म भरवाने के बाज ब्लैकमेल करने व नौकरी दिलवाने का झांसा देकर पैसे एठने का काम करते थे।

ग्रामीण इलाकों में अधिकतर नौजवान किसान परिवार से संबंधित होते थे व इन लोगों के झांसे में आकर 10 से 12 लाख रुपए नौकरी के नाम पर जालसाजों को दे देते थे। इस मामले में भी ऐसा हुआ जिसमें 8 नौजवानों ने 10 से 12 लाख रुपए उक्त तीनों जालसाजों को दिए। जिसमें करीब 85 लाख रुपए की राशि एक साल पहले रेलवे व फौज में भर्ती करवाने के नाम पर वसूल कर लिया लेकिन एक साल बीतने के बाद भी जब उक्त लोगों ने किसी तरह का रिस्पांस नहीं दिया व नौकरी नहीं दिलवाई तो उन्होंने पैसे वापिस करने की मांग रखी। इसमें कई नौजवानों को रेलवे व फौज का जाली ज्वाइनिंग लैटर व आफर लैटर थमा दिया जिसमें संबंधित विभाग से संपर्क करने पर पता चला कि उक्त दस्तावेज जाली है। इसके बाद मामले की शिकायत जिला पुलिस के पास की गई जिसमें पुलिस ने आरोपी लोगों के खिलाफ जांच करने के बाद मामला दर्ज कर लिया है लेकिन इसमें किसी भी आरोपी की आज तक गिरफ्तारी नहीं हो सकी है। यहां बताते चले कि बेरोजगार युवकों को सरकारी नौकरी दिलाने का झांसा देकर उनसे ठगी करने के मामले पहले कई सामने आ चुके है। एक सप्ताह पहले ही बठिडा पुलिस ने विभिन्न दो ऐसे गिरोह का खुलासा किया जोकि ग्रामीण क्षेत्रों में जाकर बेरोजगार युवकों को रेलवे, पंजाब पुलिस, फूड सप्लाई व भारतीय सेना में भर्ती करवाने का झांसा देकर उन्हें अपना शिकार बनाते थे।

यह दोनों गिरोह 70 से ज्यादा लोगों को अपना शिकार बना चुके थे और उन्हें सरकारी नौकरी दिलाने का झांसा देकर ढाई करोड़ रुपये से ज्यादा की ठगी कर चुके थे। यह गिरोह पिछले तीन सालों से बठिडा जिले में सक्रिय थे, जोकि बठिडा के अलावा पडोसी राज्य के युवकों को भी अपना शिकार बनाते थे। इतना ही नहीं गिरोह के सदस्य पीड़ितों का भरोसा जितने के लिए उन्हें विभिन्न विभाग के फर्जी नियुक्ति पत्र तैयार कर देते थे, ताकि वह अपने जान पहचान वाले अन्य लोगों को भी उनसे मिला सके। पुलिस की तरफ से कोई सुनवाई नहीं होने पर पीड़ितों ने पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट में एक याचिका दायर की। जिसपर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने बठिडा पुलिस को उक्त मामले में बनती कार्रवाई करने के आदेश जारी किए। हाईकोर्ट के आदेशों के बाद पुलिस ने पीड़ित लोगों की शिकायत लेकर 9 लोगों पर धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया था।

हाईकोर्ट की फटकार के बाद पुलिस ने दर्ज किया मामला

मौड़ मंडी के रहने वाले रविदर सिंह ने पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट में सीडब्लूपी नंबर 10632 आफ 2020 एक याचिका दायर की। इसमें बताया कि आरोपित राजपाल सिंह निवासी रंघडियाल तहसील बुढलाडा जिला मानसा ने 40 से ज्यादा युवकों को फौज में भर्ती करवाने के नाम पर करीब डेढ़ करोड़ रुपये की ठगी की। याचिका में बताया गया कि साल 2018 में फिरोजपुर में फौज की भर्ती होनी थी। इसमें पीड़ित युवक गुरविदर सिंह निवासी गांव मंडी कलां जिला बठिडा फौज में भर्ती होने के लिए फिरोजपुर गया था। जहां पर उसकी जान पहचान आरोपित जसपाल सिंह निवासी मंडी खुर्द के साथ हुई। इसके बाद वह आरोपित के घर आने-जाने लगा। पीड़ित के मुताबिक आरोपित जसपाल सिंह ने उसे झांसा दिया कि उसके बेटे कुलदीप सिंह को आरोपित राजपाल सिंह ने 2.50 लाख रुपये लेकर फौज में भर्ती करवा दिया है। अगर वह भी भर्ती होना चाहता है, तो 2.50 लाख रुपये का प्रबंध कर ले। पीड़ित ने बताया कि वह आरोपित के झांसा में आकर उसने भी भर्ती होने के लिए हामी भर दी। इसके बाद जसपाल सिंह ने आरोपित राजपाज सिंह व उसकी पत्नी नेकपाल कौर के साथ मुलाकात करवाई। इसके बाद आरोपित राजपाल सिंह ने कहा कि वह और भी युवकों को भर्ती करवा देगा। इसके बाद पीड़ित गुरविदर सिंह ने अपनी जान पहचान वाले सुखप्रीत सिंह,रमनदीप सिंह निवासी गांव चाउके, जगमीत सिंह, सर्बजीत सिंह, हरदीप सिंह वासी बल्लो, सुखविदर सिंह वासी चहल कलां, अवतार सिंह वासी गांव फगू जिला सिरसा हरियाणा, बलकार सिंह वासी गांव बरनाला, संदीप सिंह तलवंडी साबो, जगसीर सिंह वासी गांव बुर्ज ढिलवा, हरमनदीप सिंह वासी थमनगढ़, मलकीत सिंह वासी मंडी कलां की मुलाकात भी आरोपितों से करवरई। यह सभी लोग भी फौज में भर्ती होना चाहते थे। आरोपितों ने सभी फौज में भर्ती करवाने का झांसा देकर उनसे दो से तीन लाख रुपये प्रति युवक से हासिल किए और उन्हें नकली नियुक्ति पत्र सौंप दिए। जब वह सभी लोग उक्त नियुक्ति पत्र लेकर आर्मी के हैड क्वार्टर पहुंचे, तो उन्हें पता चला कि उक्त पत्र नकली है। इसके बाद वह वापस आकर पैसे वापस मांगे, तो उन्होंने वापस करने से इंकार कर दिया। जिसके बाद उन्होंने पता चला कि उक्त लोगों ने 40 के करीब युवकों को अपनी ठगी का शिकार बना है।

पीड़ितों ने पांच माह पहले दी थी पुलिस को शिकायत

इससे पहले आरोपित राजपाल ने 45 युवकों से 1.40 करोड़ की ठगी नौकरी दिलवाने के नाम पर ठगी करने की शिकायत करीब पांच माह पहले पीड़ित युवकों ने लोक इंसाफ पार्टी के हलका इंचार्ज रविदर सिंह के साथ मिलकर बठिडा के एसएसपी को दी थी। उन्होंने बताया था कि मानसा जिले के रहने वाले आरोपित राजपाल सिंह ने अपने परिजनों के साथ मिलकर मौड़ मंडी के विभिन्न गांवों के युवाओं को सेना में भर्ती कराने के लिए प्रति युवक से 2 से 2.5 लाख रुपये वसूले और उन्हें फर्जी ज्वाइनिग लेटर थमाकर फरार हो गया। उन्होंने कहा कि पिछले तीन सालों से राजपाल अब तक 45 युवकों से 1.40 करोड़ रुपये से अधिक का रकम हासिल कर चुका है। रविदर सिंह ने आरोप लगाया कि उक्त आरोपित राजपाल सिंह दिल्ली के रहने वाले विरेंद्र सिंह नामक व्यक्ति, जिसको वह आर्मी का क्लर्क बताता था, उसके माध्यम से सभी युवाओं को फर्जी नियुक्ति पत्र दे रहा है। जालसाजी का शिकार पीड़ित बलराज सिंह, जगतार सिंह लवप्रीत सिंह अवतार सिंह अमृतपाल सिंह जसपाल सिंह विश्वजीत सिंह गुरविदर सिंह जगमीत सिंह सुखबीर सिंह रमनदीप सिंह गुरसेवक सिंह हरमन प्रदीप मनप्रीत, सुखप्रीत सिंह और महेंद्र सिंह ने कहा कि आरोपित राजपाल सिंह कई युवकों बिहार के दानापुर के एक ट्रेनिंग सेंटर में ले गया। उन्होंने कहा कि आरोपित ने उन्हें फर्जी दस्तावेजों की मदद से अलग से खर्च करवाया था।

 

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