64 साल बाद रमजान के जुमा पर होली:योगी बोले- नमाज पढ़ने मस्जिद जाना जरूरी नहीं, घर से निकलें तो रंग से परहेज न करें
‘होली साल में एक बार पड़ती है, जुमे की नमाज तो हर सप्ताह पड़नी है। स्थगित भी हो सकती है। अगर कोई व्यक्ति नमाज पढ़ना ही चाहता है तो अपने घर में पढ़ सकता है। जरूरी नहीं कि वह मस्जिद में ही जाए। जाना है तो रंग से परहेज न करें।’
सीएम योगी आदित्यनाथ का यह बयान संभल के सीओ अनुज चौधरी के बयान के बाद रविवार को आया। अनुज चौधरी ने कहा था- अगर रंग से परहेज है तो नमाज घर में ही पढ़ लेना।
दरअसल, इस बार 64 साल के बाद होली रमजान के जुमे के दिन मनाई जाएगी। इसलिए होली और नमाज से जुड़े बयान चर्चा में हैं।

1961 के बाद पहली बार रमजान के जुमे पर होली 14 मार्च को होली है, इस दिन रंग खेला जाएगा। इस दिन शुक्रवार भी है। रमजान का महीना चल रहा है। इससे पहले 1961 में 4 मार्च शुक्रवार को होली और रमजान का शुक्रवार (जुमा) साथ-साथ था।
1961 में किसी तरह के तनाव या दंगे-फसाद का रिकॉर्ड नहीं मिलता है। मुस्लिमों में शुक्रवार की अहमियत आम दिनों के मुकाबले ज्यादा होती है। शुक्रवार जब रमजान महीने का हो, तो उनके लिए इसका महत्व और बढ़ जाता है।
इस दिन होली भी है और रंग खेला जाएगा इसलिए पुलिस प्रशासन हाई अलर्ट पर है।
2022 में कानपुर और लखनऊ में बवाल हुआ था 2022 में होली शुक्रवार को ही थी। हालांकि तब रमजान का महीना नहीं था। उस समय कानपुर और लखनऊ में बवाल हुआ था। कानपुर में जुलूस के दौरान धार्मिक गीत बजाने को लेकर दो समुदायों में झड़प हुई थी।
पथराव, तोड़फोड़ और पुलिस पर हमले की घटनाएं सामने आई थीं। कई इलाकों में इंटरनेट बंद करना पड़ा था। इसी तरह लखनऊ में भी कुछ क्षेत्रों में छोटी-मोटी झड़पें हुई थीं।
2022 में विधानसभा चुनाव भी हुआ था। चुनाव के लिए यूपी को केंद्र से मिली फोर्स काे होली तक रोक लिया गया था इसलिए हालात पर जल्दी काबू पा लिया गया।
इस बार प्रशासन ज्यादा अलर्ट क्यों? 2024 में बहराइच और संभल में हिंसा के मामले सामने आ चुके हैं। बहराइच में दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के दौरान एक व्यक्ति की जान चली गई थी। वहीं, नवंबर, 2024 में संभल में शाही मस्जिद के सर्वे को लेकर विवाद हो गया था। मुस्लिम समुदाय के लोग सड़कों पर उतर आए थे। इस हिंसा में 4 लोगों की मौत हो गई थी। इस बार प्रशासन नहीं चाहता कि हालात बिगड़ें।
संभल के सीओ ने कहा था- घर में पढ़ें नमाज 6 मार्च को को संभल में पीस कमेटी की बैठक में सीओ अनुज चौधरी ने कहा था- शुक्रवार तो साल में 52 बार आता है, होली एक बार आती है। अगर रंग से परहेज है तो नमाज घर में ही पढ़ लेना।
हालांकि बाद में अनुज चौधरी ने कहा- मेरा स्पष्ट संदेश है, जिसमें कैपेसिटी हो रंग खेलने की, जिसका बड़ा मन हो वह बाहर निकले। नहीं तो अनावश्यक कोई भी आदमी बाहर न निकले।
अपने बच्चों के साथ घर में रहें। अपने घर में नमाज पढ़ें। घर में भी तो पढ़ते हैं। कोरोना टाइम में भी तो घर में पढ़ी। इत्तफाक से इस बार जुमा होली के दिन आया है। यह बहुत छोटी-सी बात है। मैं यह चाहता हूं कि सब मिलकर होली खेलें। रंग से कोई छोटा-बड़ा नहीं होता।

इसके बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने एक कार्यक्रम में सीओ का समर्थन करते हुए कहा कि वह पहलवान व्यक्ति है। सच कह दिया इसलिए कुछ लोगों को बुरा लगा। अनुज चौधरी ने कुछ गलत नहीं कहा। सीएम ने उन उलेमाओं की तारीफ भी कि जिन्होंने जुमे की नमाज का समय दो बजे करने की बात कही है।
सपा बोली- व्यवस्था बदलेगी तो ऐसे लोग जेल में होंगे समाजवादी पार्टी के प्रमुख महासचिव राम गोपाल यादव ने कहा- अनुज चौधरी ने दंगे कराए थे। कह रहे थे गोली चलाओ, गोली चलाओ। उनसे क्या उम्मीद करोगे। जब कभी व्यवस्था बदलेगी, ऐसे लोग जेल में होंगे।
मुस्लिम धर्म गुरुओं ने नमाज का टाइम बढ़ाने का सुझाव दिया इस्लामिक सेंटर ऑफ इंडिया के प्रमुख और सुन्नी धर्मगुरु मौलाना खालिद रशीद फरंगी महली ने कहा कि रमजान का मुबारक महीना चल रहा है। हर मुसलमान चाहता है कि इबादत में यह महीना गुजारे।
इस साल जुमे के दिन हमारे हिंदू भाइयों का त्योहार होली है। ऐसे में तमाम मस्जिदों की कमेटी से यह अपील है कि जिन मस्जिदों में जुमे की नमाज साढ़े 12 बजे से 1 बजे के बीच है। वहां एक घंटे का टाइम बढ़ा लिया जाए।
उन्होंने यह भी अपील की है कि नमाज-ए-जुमा अपने मोहल्ले की मस्जिदों में ही पढ़ें। जामा मस्जिद ईदगाह (लखनऊ) में जुमे की नमाज 12 बजकर 45 मिनट पर होती है। इस शुक्रवार को 2 बजे होगी।
डीजीपी ने बताया कि जिलों के साथ रेंज और जोन के प्रमुखों को सुरक्षा व्यवस्था को लेकर विशेष निर्देश जारी किए गए हैं। इस दिन की संवेदनशीलता को ध्यान में रखते हुए सुरक्षा इंतजामों को मजबूत करने को कहा गया है। सार्वजनिक स्थानों पर अतिरिक्त पुलिस बल की तैनाती, संवेदनशील इलाकों में गश्त बढ़ाने और दोनों समुदायों के बीच आपसी सौहार्द बनाए रखने के लिए स्थानीय नेताओं के साथ बातचीत करने के लिए कहा है।