टोक्यो पैरालिंपिक LIVE:प्रवीण ने हाईजंप में सिल्वर जीता; शूटिंग में राजस्थान की अवनि लेखरा फाइनल में
टोक्यो पैरालिंपिक में भारत के प्रवीण कुमार ने पुरुषों के टी-64 के हाईजंप में नए एशियन रिकॉर्ड के साथ सिल्वर मेडल जीता। भारत का यह 11वां मेडल है। साथ ही 50 मीटर एयर राइफल में अवनि लेखरा फाइनल में पहुंच गई हैं। बैडमिंटन के मिक्स्ड डबल्स में पलक कोहली ओर प्रमोद भगत सेमीफाइनल में पहुंच गए हैं। तीरंदाजी में पुरुषों के रिकर्व ओपन एलिमिनेशन में भारत के तीरंदाज हरविंदर सिंह अगले दौर में पहुंच गए हैं। बैडमिंटन में पुरुष सिंगल्स के एसएल-4 मुकाबले में सुहास एल यथिराज भी अगले दौर में पहुंच गए हैं। वहीं प्राची कैनो स्प्रिंट की महिला सिंगल्स के 200 मीटर वीएल-2 स्पर्धा में मेडल से चूक गई हैं।
Absolutely stellar performance by Praveen Kumar to win 🥈 for #IND at #Tokyo2020 #Paralympics
With confidence and determination Praveen takes India's 🏅 tally to
1️⃣1️⃣Praveen also set a new Asian Record with the jump of 2.07m👏
🇮🇳 is extremley proud of you!#Cheer4India pic.twitter.com/uQBJgaGUK1
— SAI Media (@Media_SAI) September 3, 2021
बचपन से प्रवीण का एक पैर छोटा
सामान्य व्यक्ति की तुलना में प्रवीण का एक पैर छोटा है, लेकिन उन्होंने अपनी इसी कमजोरी को ताकत बनाया और अलग-अलग प्रतियोगिताओं में हिस्सा लेते हुए पैरालिंपिक के मंच तक पहुंचे। प्रवीण एक इंटरव्यू में बता चुके हैं कि वह स्कूल में वॉलीबॉल खेलते थे और उनकी जंप अच्छी थी। एक बार उन्होंने हाईजंप में भाग लिया और उसके बाद एथलेटिक्स कोच सत्यपाल के सुझाव पर वे जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम में अभ्यास करने लगे।
प्रधानमंत्री ने भी दी बधाई
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पदक जीतने वाले प्रवीण कुमार की प्रशंसा करते हुए कहा कि यह उनकी कड़ी मेहनत समर्पण का नतीजा है। मोदी ने सोशल मीडिया पर पोस्ट कर कहा- प्रवीण के पैरालिपिंक में मेडल जीतने पर गर्व हैं। यह उनके कड़ी मेहनत और खेल के प्रति समर्पण का नतीजा है। उन्हें बधाई।
Proud of Praveen Kumar for winning the Silver medal at the #Paralympics. This medal is the result of his hard work and unparalleled dedication. Congratulations to him. Best wishes for his future endeavours. #Praise4Para
— Narendra Modi (@narendramodi) September 3, 2021
पैरालिंपिक कमेटी की अध्यक्ष ने दी बधाई
पैरालिपिंक कमेटी की अध्यक्ष दीपा मलिक ने भी प्रवीण के जीतने पर बधाई दी है।
Good morning India!!
We have secured our 11th medal, this time in the Men’s High Jump T64 event courtesy Praveen Kumar. What a fabulous performance to bring home🥈. The country will be proud of his exceptional effort!#Praise4Para @narendramodi @ianuragthakur @NisithPramanik pic.twitter.com/0ZqUfy4uKA— Deepa Malik (@DeepaAthlete) September 3, 2021
प्रवीण 2019 जूनियर वर्ल्ड चैंपियनशिप में मेडल जीत चुके हैं
प्रवीण ने जुलाई 2019 में जूनियर वर्ल्ड चैंपियनशिप में सिल्वर मेडल जीता था। इसी साल नवंबर में सीनियर वर्ल्ड चैंपियनशिप में वो चौथे स्थान पर रहे थे। उन्होंने वर्ल्ड ग्रां प्री में गोल्ड जीता और हाई जंप में 2.05 मीटर का एशिया का रिकॉर्ड बनाया था।
प्राची मेडल से चूकीं
प्राची कैनो स्प्रिंट की महिला सिंगल्स के 200 मीटर वीएल-2 स्पर्धा में मेडल से चूक गई हैं। वह फाइनल में आठवें स्थान पर रही। इससे पहले उन्होंने सेमीफाइनल में तीसरे स्थान पर रहकर फाइनल में जगह बनाई। उन्होंने यह दूरी 1:07.397 के साथ पूरी की। प्राची यादव ग्वालियर में बहोड़ापुर इलाके के आनंद नगर की रहने वाली हैं। वे कैनोइंग के फाइनल में पहुंचने वाली पहली महिला खिलाड़ी हैं।
जन्म से हैं दिव्यांग, 7 साल की उम्र में मां गुजर गई थी
प्राची यादव के दोनों पैर जन्म से खराब हैं। 7 साल ही उम्र में मां का भी देहांत हो गया। 2007 में 9 साल की उम्र में प्राची बतौर एक्सरसाइज तैराकी से जुड़ीं। इसी साल उन्हें चैंपियनशिप में खेलने का भी मौका मिला। प्राची ने जूनियर कैटेगरी में गोल्ड जीता। इस जीत ने उनका खेल के प्रति आत्मविश्वास बढ़ा दिया। इसके बाद दिन-रात की कड़ी मेहनत के बाद उन्होंने लगातार 3 साल तक पदकों की झड़ी लगा दी।
कोच ने दी कैनोइंग की सलाह, रच दिया इतिहास
तैराकी में शानदार प्रदर्शन और प्राची के बड़े-बड़े हाथों को देखकर उनके कोच ने उन्हें कैनोइंग और कयाकिंग में भाग्य आजमाने के लिए कहा। प्राची ने भी 2018 में कोच मयंक सिंह ठाकुर के गाइडेंस में भोपाल के छोटे तालाब में प्रैक्टिस शुरू कर दी। तैराकी से जुड़े होने के कारण प्राची को कैनोइंग में भी मजा आया।
प्रैक्टिस में दिन और रात एक कर दिए। नतीजा 2019 में पहले ही नेशनल में एक गोल्ड और एक सिल्वर के रूप में देखने को मिला। इसके बाद अगस्त 2019 में हंगरी में खेले गए पैरालिंपिक्स के क्वालिफाइंग टूर्नामेंट कैनोइंग इवेंट में वे 8वीं पोजिशन पर रहीं।
एक पैरालिंपिक में 2 जीतने वाली पहली खिलाड़ी बन सकती हैं अवनि
टोक्यो पैरालिंपिक में देश के लिए पहला गोल्ड जीतने वाली जयपुर की अवनि 50 मीटर एयर राइफल के फाइनल में पहुंच गई हैं। उनसे मेडल की उम्मीद है। अगर वह ऐसा कर पाती हैं, तो एक ओलिंपिक या पैरालिंपिक में दो मेडल जीतने वाली पहली खिलाड़ी बन जाएंगी। देवेंद्र झाझरिया पैरालिंपिक में तीन मेडल जीत चुके हैं, वहीं ओलिंपिक में कुश्ती में सुशील कुमार और बैडमिंटन में पीवी सिंधु दो मेडल जीते हैं।
2012 में हुआ था हादसा
2012 में महाशिवरात्रि के दिन अवनि का एक्सीडेंट हो गया था, जिससे उन्हें पैरालिसिस हो गया। तब वह पूरी तरह हिम्मत हार चुकी थीं। अपने कमरे से भी बाहर नहीं निकलती थीं, लेकिन अवनि के परिवार ने उसे हिम्मत दी। माता-पिता की महत्वपूर्ण भूमिका रही। अवनि अब दुनियाभर में भारत नाम रोशन कर रही हैं। आज फिर से मेडल के लिए मैदान में उतर चुकी हैं। अब से कुछ ही देर में टोक्यो में अवनि 50 मीटर एयर राइफल महिला प्रतिस्पर्धा में खेलेंगी।
अंतिम आठ में पहुंचे तीरंदाज हरविंदर
तीरंदाजी में पुरुषों की व्यक्गित रिकर्व ओपन एलिमिनेशन 1/16 में भारत के तीरंदाज हरविंदर सिंह अपना मुकाबला जीत अगले राउंड में पहुंच गए हैं। इस मैच में उन्होंने इटली के एस ट्रैविसानी को 6-5 से हराया।
बैडमिंटन मिक्स्ड डबल्स में सेमीफाइनल
बैडमिंटन की मिक्स्ड डबल्स में पलक कोहली और प्रमोद भगत की जोड़ी सेमीफाइनल में पहुंच गई है। उन्होंने प्री क्वार्टर फाइनल में वर्ल्ड नंबर-3 थाईलैंड के सिरीपोंग और निपाडा की जोड़ी को 21-15, 21-19 से हराया।
भारत को मिल चुके हैं 2 गोल्ड सहित 11 मेडल
टोक्यो में भारतीय पैरा खिलाड़ी अब तक 2 गोल्ड सहित 11 मेडल जीत चुके हैं। अवनि लेखरा ने महिलाओं के एसएच1 -10 मीटर राइफल में गोल्ड मेडल जीता। इनके अलावा हाईजंप में सुमित अंतिल ने गोल्ड मेडल जीता। जेविलन में F 46 में देवेंद्र झाझरिया, डिस्कस के F56 में योगेश कथुनिया, टेबल टेनिस के क्लास-4 में भाविनाबेन पटेल, T47 के हाईजंप में निषाद टी-42 के हाईजंप में मरियप्पन थंगावेलू सिल्वर मेडल जीत चुके हैं। जबकि T42 के हाईजंप में शरदकुमार और एफ 46 के जेवलिन में सुंदर गुर्जर और सिंहराज अधाना sh1 के 10 मीटर एयर राइफल में ब्रॉन्ज मेडल जीत चुके हैं।