बिना माफी सिद्धू से मिले कैप्टन:सिद्धू ने क्रिकेट शॉट मारने का एक्शन किया, अमरिंदर-रावत को नजरअंदाज करके पूर्व CM रजिंदर कौर के पैर छुए और भाषण देने पहुंचे

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष की ताजपोशी होने से पहले ही हाईकमान के आदेशों को नवजोत सिद्धू ने दरकिनार कर दिया। गुरुवार को सभी राज्यों में कांग्रेस की ओर से पैगासस जासूसी मामले में राज्यपालों को ज्ञापन देने के लिए प्रदर्शन करना था, लेकिन पंजाब में कोई प्रदर्शन नहीं किया गया। बताया जाता है कि सिद्धू ने व्यस्तता का हवाला देकर प्रदर्शन करने में असर्मथता जताई।

चडीगढ़/नई दिल्ली। पंजाब कांग्रेस भवन में सिद्धू ने एक बार फिर अपने तेवर दिखाए। जब वह भाषण देने के लिए खड़े हुए तो भगवान को याद किया, क्रिकेट शॉट मारने का एक्शन किया। अपने दाईं ओर बैठे कैप्टन और हरीश रावत को इग्नोर करते हुए आगे बढ़ और पूर्व मुख्यमंत्री रजिंदर कौर भट्‌ठल के पैर छूकर आशीर्वाद लिया। इसके बाद वह भाषण देने खड़े हुए।

इससे पहले पंजाब भवन में कांग्रेस के नए प्रधान सिद्धू ने कैप्टन को देखकर पहले तो नजरें फेर लीं थी और आगे बढ़ गए। पंजाब प्रभारी हरीश रावत ने सिद्धू को आवाज देकर वापस बुलाया और अमरिंदर सिंह से मुलाकात कराई। कैप्टन ने सिद्धू को पास आकर बैठने को कहा तो वह कांग्रेस भवन के कार्यक्रम में लेट होने की बात कहने लगे। कई बार कहने पर सिद्धू उनके पास आकर बैठे। इससे पहले सिद्धू 18 मार्च को कैप्टन के सिसवां फार्म हाउस पर उनसे मिले थे। इस दौरान दोनों की करीब 40 मिनट तक बातचीत हुई थी।

आखिरकार 126 दिन बाद कैप्टन और सिद्धू की मुलाकात हो ही गई। पंजाब भवन में कांग्रेस के नए प्रधान सिद्धू ने कैप्टन को देखकर पहले तो नजरें फेर लीं और आगे बढ़ गए। पंजाब प्रभारी हरीश रावत ने सिद्धू को आवाज देकर वापस बुलाया और अमरिंदर सिंह से मुलाकात कराई। कैप्टन ने सिद्धू को पास आकर बैठने को कहा तो वह कांग्रेस भवन के कार्यक्रम में लेट होने की बात कहने लगे। कई बार कहने पर सिद्धू उनके पास आकर बैठे। इससे पहले सिद्धू 18 मार्च को कैप्टन के सिसवां फार्म हाउस पर उनसे मिले थे। इस दौरान दोनों की करीब 40 मिनट तक बातचीत हुई थी।

नवजोत सिंह सिद्धू आज विधिवत कांग्रेस की पंजाब की कमान संभाल रहे हैं। इसके लिए समारोह शुरू हो गया। मंच पर नवजोत सिंह सिद्धू कैप्टन अमरिंदर सिंह के साथ बैठेे हैं। साथ ही पंजाब कांग्रेस प्रभारी भी मौजूद हैं। मंच से कैप्टन अमरिंदर सिंह ने नवजोत सिंह सिद्धू को बधाई दी। कहा कि अब पंजाब कांग्रेस को आपको चलानी है। कैप्टन ने सुनील जाखड़ की ताऱीफ की। कहा कि जाखड़ जी ने पंजाब कांग्रेस के लिए बहुत कुछ किया।

कैप्टन ने इस दौरान उनके व सिद्धू के परिवार के संबंधों को याद किया। कहा कि सिद्धू के पिता पटियाला कांग्रेस के प्रधान रहे और वही उनको राजनीति में लाए। इससे पहले पार्टी के सभी विधायक, सांसद, मंत्री व वरिष्ठ नेता पंजाब भवन में कैप्टन अमरिंदर सिंह द्वारा रखी गई टी पार्टी पहुंचे। सिद्धू पार्टी में कैप्टन के साथ बैठे नजर आए। साथ में पंजाब कांग्रेस प्रभारी भी बैठे।

पंजाब भवन में मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह के सामने नवजोत सिंह सिद्धू के लिए कुर्सी लगाई गई थी। कैप्टन जैसे ही टी पार्टी में पहुंचे नवजोत सिंह सिद्धू ने उनका अभिवादन किया। जब सिद्धू अपनी सीट पर बैठने लगे तो कुछ विधायकों ने कहा कि आप सीएम साहब के साथ ही बैठो। सिद्धू खुद अपनी कुर्सी मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह के पास ले गए और दोनों ने इकट्ठे बैठकर चाय पी। इस दौरान दोनों के बीच हल्की फुल्की बात भी हुई। उम्मीद की जा रही है कि इससे कैप्टन व सिद्धू के बीच जमी रिश्तों की बर्फ पिछलेगी। टी पार्टी के बाद सभी नेता पंजाब कांग्रेस मुख्यालय में पहुंचे।

पंजाब भवन में मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह के सामने नवजोत सिंह सिद्धू के लिए कुर्सी लगाई गई थी। कैप्टन जैसे ही टी पार्टी में पहुंचे नवजोत सिंह सिद्धू ने उनका अभिवादन किया। जब सिद्धू अपनी सीट पर बैठने लगे तो कुछ विधायकों ने कहा कि आप सीएम साहब के साथ ही बैठो। सिद्धू खुद अपनी कुर्सी मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह के पास ले गए और दोनों ने इकट्ठे बैठकर चाय पी। इस दौरान दोनों के बीच हल्की फुल्की बात भी हुई। उम्मीद की जा रही है कि इससे कैप्टन व सिद्धू के बीच जमी रिश्तों की बर्फ पिछलेगी। टी पार्टी के बाद सभी नेता पंजाब कांग्रेस मुख्यालय में पहुंचे।

सिद्धू की ताजपोशी के लिए पंजाब कांग्रेस भवन को दुल्हन की तरह सजाया गया है। सुरक्षा के भी कड़े इंतजाम किए गए हैं। इससे पहले टी पार्टी के दौरान पंजाब भवन में केवल उन्हीं लोगों को एंट्री दी गई जिनकी सूची सीएमओ की तरफ से आई थी। सिद्धू के साथ समर्थक भी जाने का प्रयास कर रहे थे, लेकिन सुरक्षा अधिकारियों ने उन्हें बाहर ही रोक दिया।

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पंजाब भवन में टी पार्टी में कैप्टन के साथ बैठे नवजोत सिंह सिद्धू। साथ हैं पंजाब कांग्रेस प्रभारी हरीश रावत।

बता दें, कल दिन तक कैप्टन अमरिंदर सिंह के कार्यक्रम में शिरकत करने को लेकर अटकलें लगाई जा रही थी। लेकिन, शाम को कैप्टन ने स्पष्ट कर दिया कि वह कार्यक्रम में शिरकत करेंगे। कार्यक्रम में शिरकत करने के लिए पार्टी के पंजाब प्रभारी हरीश रावत कल ही चंडीगढ़ पहुंच गए थे। सभी नेता ने कैप्टन की टी पार्टी में जुटकर कांग्रेस भवन जा रहे हैं। इससे वह पार्टी में एकजुटता का संदेश दे रहे हैं।

लगातार ट्वीट करके पंजाब सरकार का विरोध कर रहे सिद्धू से कैप्टन अमरिंदर सिंह नाराज थे। उन्हें पार्टी का पंजाब प्रधान बनाए जाने के बाद कैप्टन ने साफ कर दिया था कि जब तक सिद्धू उनसे माफी नहीं मांगते, वह उनसे मुलाकात नहीं करेंगे। लेकिन, पंजाब भवन में दोनों की मुलाकात भी हुई, जबकि सिद्धू ने सार्वजनिक तौर पर कैप्टन से माफी नहीं मांगी है। कार्यक्रम में सभी ने अमरिंदर के पैर छुए, लेकिन सिद्धू ने नहीं छुए।

कांग्रेस भवन में बाएं से हरीश रावत, कैप्टन अमरिंदर सिंह और नवजोत सिंह सिद्धू
कांग्रेस भवन में बाएं से हरीश रावत, कैप्टन अमरिंदर सिंह और नवजोत सिंह सिद्धू

अगल-बलग बैठे, तिरछी नजरों से एक-दूसरे को देखा, पर बोले नहीं
पंजाब भवन से कांग्रेस भवन पहुंचे कैप्टन मंच पर नवजोत सिद्धू के बगल वाली सीट पर बैठे। यहां मंच पर पूर्व प्रदेश प्रधान सुनील जाखड़, पंजाब कांग्रेस प्रभारी हरीश रावत, पूर्व मुख्यमंत्री राजिंदर कौर भट्‌ठल, कैप्टन की पत्नी परनीत कौर भी थीं। सिद्धू और कैप्टन एक साथ अगल-बगल में बैठे, लेकिन बातचीत नहीं की। सिद्धू की ताजपोशी कार्यक्रम के बाद कैप्टन फिरोजपुर जिले के कस्बा जीरा जाएंगे। यहां वह मोगा में हुए हादसे में मारे गए लोगों के परिजन से मिलेंगे।

गुरुवार को चंडीगढ़ आना था, ऐन मौके पर बदला कार्यक्रम
ताजपोशी के लिए सिद्धू चंडीगढ़ पहुंच चुके हैं। उनका परिवार भी उनके साथ आया है। सिद्धू और उनका परिवार पटियाला स्थित आवास से चंडीगढ़ आया। गुरुवार को होली सिटी स्थित अपनी कोठी से निकलकर सिद्धू ने पहले शहर के दो बड़े नेताओं से मुलाकात की और उसके बाद पटियाला के लिए रवाना हो गए थे। वैसे सिद्धू को सीधा चंडीगढ़ जाना था, लेकिन ऐन मौके पर कार्यक्रम बदल गया।

सिद्धू की ताजपोशी का हिस्सा बनने आए कांग्रेस कार्यकर्ता।
सिद्धू की ताजपोशी का हिस्सा बनने आए कांग्रेस कार्यकर्ता।

इन नेताओं को बुलाया गया है
मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने समारोह में शामिल होने के लिए सिद्धू का आमंत्रण पत्र स्वीकार कर लिया है। समारोह में शामिल होने के लिए कांग्रेस के पंजाब प्रभारी हरीश रावत चंडीगढ़ पहुंच चुके हैं। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी भी शिरकत कर सकती हैं। पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा, कुमारी सैलजा, हिमाचल से कुलदीप सिंह और राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत को भी निमंत्रण भेजा गया है।

कड़े सुरक्षा इंतजाम
पंजाब प्रदेश कांग्रेस प्रधान के पद पर नवजोत सिद्धू की ताजपोशी कार्यक्रम में शामिल होने के लिए कांग्रेस के मंत्री, सांसद, विधायक, नेता और कार्यकर्ता चंडीगढ़ पहुंच रहे हैं। ऐसे में मेहमानों को कोई परेशानी न हो, इसके लिए चंडीगढ़ पुलिस द्वारा सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं। कांग्रेस भवन के आसपास चप्पे-चप्पे पर पुलिस बल तैनात किया गया है। खुद SSP कुलदीप सिंह चहल मौके पर मौजूद रहेंगे। माहौल को देखते हुए चंडीगढ़ में धारा 144 लगा दी गई है।

कांग्रेस भवन के बाहर तैनात पुलिस और स्पेशल फोर्स के जवान।
कांग्रेस भवन के बाहर तैनात पुलिस और स्पेशल फोर्स के जवान।

सिद्धू जब तक माफी नहीं मांगते, व्यक्तिगत तौर पर नहीं मिलूंगा
CMO के सूत्रों के अनुसार, कैप्टन अमरिंदर सिंह ने पार्टी के सीनियर नेताओं की बैठक में साफ कहा कि जब तक सिद्धू माफी नहीं मांगते, तब तक निजी तौर पर वे उनसे मुलाकात नहीं करेंगे। ताजपोशी पार्टी का कार्यक्रम है। मैं कांग्रेसी हूं, इसलिए जाऊंगा। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि कैप्टन और सिद्धू के बीच में छिड़ी जंग के दूर होने के आसार तो दिखाई दे रहे हैं, लेकिन कैप्टन माफी मंगवाने पर अड़े हैं। बता दें कि गुरुवार को नए कार्यकारी अध्यक्ष कुलजीत नागरा और संगत सिंह गिलजियां ने कैप्टन से मिलकर उन्हें कार्यक्रम का औपचारिक निमंत्रण पत्र दिया था। इस पत्र पर चारों कार्यकारी अध्यक्षों के अलावा नवजोत सिंह सिद्धू के भी हस्ताक्षर थे।

कैप्टन अमरिंदर सिंह को न्योता देते कुलजीत नागरा।
कैप्टन अमरिंदर सिंह को न्योता देते कुलजीत नागरा।

सिद्धू ने दरकिनार किए हाईकमान के पहले आदेश
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष की ताजपोशी होने से पहले ही हाईकमान के आदेशों को नवजोत सिद्धू ने दरकिनार कर दिया। गुरुवार को सभी राज्यों में कांग्रेस की ओर से पैगासस जासूसी मामले में राज्यपालों को ज्ञापन देने के लिए प्रदर्शन करना था, लेकिन पंजाब में कोई प्रदर्शन नहीं किया गया। बताया जाता है कि सिद्धू ने व्यस्तता का हवाला देकर प्रदर्शन करने में असर्मथता जताई।

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