म्यांमार में प्रदर्शनकारियों पर दूसरी बार फायरिंग:पुलिस फायरिंग में 18 लोगों की मौत, UN में रोते हुए देश के हालात बयां करने वाले राजदूत को सेना ने बर्खास्त किया
आरोप है कि पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को खदेड़ने के लिए रबर बुलेट और आंसू गैस की आड़ में फायरिंग की।
म्यांमार में रविवार को लोकतंत्र की बहाली की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे लोगों पर पुलिस ने फायरिंग कर दी। इसमें 18 लोगों की मौत हो गई, जबकि 30 से ज्यादा के घायल होने की खबर है। इससे पहले 20 फरवरी को हुई फायरिंग में 3 लोगों की मौत हुई थी। इनमें एक महिला भी शामिल थी। यूनाइटेड नेशन (UN) में म्यांमार के राजदूत क्याॅ मो तुन इस घटना के बारे में बताते हुए रो पड़े थे।
Peaceful protesters trying to escape the brutality of #Myanmar police and military— in front of Yuzana Plaza, Yangon. #WhatsHappeninglnMyanmar #MilkTeaAlliance #Feb28Coup pic.twitter.com/chK1PR8WM7
— Ro Nay San Lwin (@nslwin) February 28, 2021
तुन ने UN से अपील की थी कि म्यांमार के सैन्य शासन के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए और लोकतांत्रिक व्यवस्था को फौरन बहाल करने की मांग की थी। म्यांमार के सैन्य शासन ने UN में सेना के खिलाफ आवाज उठाने वाले अपने राजदूत को पद से बर्खास्त कर दिया है।
कई राज्यों में पुलिस और प्रदर्शनकारियों में झड़प
पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच कई राज्यों में भी झड़प की खबर है। प्रदर्शनकारियों को खदेड़ने के लिए पुलिस पर रबर बुलेट, आंसू गैस की आड़ में फायरिंग का आरोप लग रहा है। स्थानीय मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, रविवार को तीन प्रदर्शनकारियों की मौत रंगून में पुलिस की गोली से हुई है। जबकि, दावोई शहर में दो लोगों की मौत की खबर है।
फायरिंग में दो लोगों की मौत मांडले में पुलिस की फायरिंग में हुई है। मीडिया में चल रही तस्वीरों में घायल हुए लोगों को उनके साथी उठाकर ले जाते दिखाई दे रहे हैं। फुटपाथ पर खून के धब्बे दिखाई दे रहे हैं। डॉक्टरों के संगठन व्हाइटकोट अलायंस ऑफ मेडिक्स ने कहा कि पचास से अधिक स्वास्थ्य कर्मियों को गिरफ्तार किया गया है।
अब तक 21 लोगों की मौत
पुलिस की फायरिंग में अब तक 21 लोगों की मौत हो गई है। इससे पहले 20 फरवरी को भी पुलिस ने प्रदर्शनकारियों पर फायरिंग की थी। इस घटना में तीन लोगों की मौत हुई थी। इसमें एक युवती की मौत ने पूरे देश में प्रदर्शन को और तेज कर दिया था।
तख्तापलट और देश की सर्वोच्च नेता आंग सान सू की को गिरफ्तार किए जाने के बाद से म्यांमार में प्रदर्शनों का दौर जारी है। नवंबर में हुए चुनाव में सू की पार्टी ने जोरदार जीत दर्ज की थी, लेकिन सेना ने धांधली की बात कहते हुए परिणामों को स्वीकार करने से इनकार कर दिया था।