बिल गेट्स ने की भारत की आर्थिक नीतियों की तारीफ, कहा- ये देश अच्छा कर रहा है

बिल गेट्स (Bill Gates) ने मंगलवार को सिंगापुर फिनटेक फेस्टिवल में कहा, 'अगर लोग चीन के अलावा किसी एक देश में पढ़ने जा रहे हैं, तो मैं कहूंगा कि वो भारत को देखें. यहां अपार संभावनाएं हैं. ये देश अच्छा कर रहा है.' गेस्ट कहते हैं, 'असल में भारत में संभावनाएं विस्फोट कर रही हैं. वहां इनोवेशन के शानदार मौके हैं.'ने मंगलवार को सिंगापुर फिनटेक फेस्टिवल में कहा, 'अगर लोग चीन के अलावा किसी एक देश में पढ़ने जा रहे हैं, तो मैं कहूंगा कि वो भारत को देखें. यहां अपार संभावनाएं हैं. ये देश अच्छा कर रहा है.' गेट्स कहते हैं, 'असल में भारत में संभावनाएं विस्फोट कर रही हैं. वहां इनोवेशन के शानदार मौके हैं.'

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सिंगापुर. अरबपति और माइक्रोसॉफ्ट (Microsoft) के सह-संस्थापक बिल गेट्स (Bill Gates) ने वित्तीय नवाचार (Financial Innovation)और समावेशन के लिए भारत की नीतियों की तारीफ की है. बिल गेट्स ने कहा कि उनकी परोपकारी नींव (Bill Gates Foundation) अन्य देशों के साथ मिलकर ओपन-सोर्स टेक्नोलॉजी को रोल आउट करने के लिए काम कर रही है. इन देशों में भारत प्रमुख तौर पर शामिल है.

बिल गेट्स ने मंगलवार को सिंगापुर फिनटेक फेस्टिवल में कहा, ‘अगर लोग चीन के अलावा किसी एक देश में पढ़ने जा रहे हैं, तो मैं कहूंगा कि वो भारत को देखें. यहां अपार संभावनाएं हैं. ये देश अच्छा कर रहा है.’ गेट्स कहते हैं, ‘असल में भारत में संभावनाएं विस्फोट कर रही हैं. वहां इनोवेशन के शानदार मौके हैं.’

बिल गेट्स ने कहा कि भारत में अगले 10 वर्षों में बेहद तेज आर्थिक वृद्धि दर दर्ज करने की क्षमता है. इससे लोगों को गरीबी से बाहर निकाला जा सकेगा और सरकार स्वास्थ्य व शिक्षा जैसे प्राथमिकताओं वाले क्षेत्रों में अच्छा निवेश कर सकेगी.

गेट्स ने कहा कि निजी क्षेत्र के व्यापक इनोवेशन और डिजिटल उपकरणों जैसी तकनीक के इस्तेमाल से भारत को कम खर्च में गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया कराने में मदद मिलेगी. उन्होंने भारत के लिए अपने फाउंडेशन की प्राथमिकता वाले क्षेत्रों को सूचीबद्ध करते हुए डिजिटल भुगतान के जरिए गरीबों को फायदा पहुंचाने, स्वच्छता और पोलियो मुक्त कार्यक्रम समेत भारत के कई कार्यक्रमों की तारीफ की. गेट्स ने कहा कि उनकी फाउंडेशन यहां सफल हुए कुछ कार्यक्रमों को अफ्रीकी महाद्वीप के देशों में अमल के लिए ले जाना चाहती है.

गेट्स ने कहा कि 2016 में डिमोनिटाइजेशन (नोटबंदी) के बाद भारत सरकार ने डिजिटल पेमेंट को आगे बढ़ाया. इससे यूनीफाइड पेमेंट्स इंटरफेस या यूपीआई, स्मार्टफोन के उपयोग और वायरलेस डेटा दरों को बढ़ा-चढ़ाकर पेश किया गया है, जो फिर भी दुनिया में सबसे कम हैं.

वर्चुअल कॉन्फ्रेंस के दौरान बिल एंड मेलिंडा गेट्स फाउंडेशन के सह-अध्यक्ष ने कहा, ‘भारत डिजिटल रिवोल्यूशन का एक बेहतरीन उदाहरण है. उनका संगठन अब कुछ देशों की मदद कर रहा है, जिनके पास ओपन-सोर्स प्रौद्योगिकियों के आधार पर समान सिस्टम को रोल आउट करने के लिए मानक स्थापित नहीं हैं.’

गेट्स ने कहा, ‘कम खर्चे में स्वास्थ्य सेवा मुहैया कराने के लिए भारत को निजी क्षेत्र के इनोवेशन की काफी जरूरत है. मैं आश्वस्त हूं कि ये इनोवेशन न केवल भारत में अमल योग्य होंगे बल्कि दूसरे देशों में हमारे द्वारा किए जा रहे कार्यों के लिए भी फायदेमंद होंगे.’

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