राजस्थान में गहलोत vs पायलट / कल फिर होगी कांग्रेस विधायक दल की बैठक, प्रियंका शामिल हो सकती हैं; पायलट के करीबी बोले- गहलोत के पास बहुमत है तो साबित करें
गहलोत के आवास पर विधायकों की बैठक हुई, 107 में से पायलट समर्थक 18 विधायक नहीं पहुंचे गहलोत खेमे ने दावा किया कि 102 विधायक पहुंचे, बहुमत साबित करने के लिए अभी 101 की जरूरत
जयपुर. राजस्थान में सत्ता की जोर आजमाइश थम नहीं रही है। सोमवार को विधायक दल की बैठक के बाद कांग्रेस का थिंकटैंक मंगलवार को भी विधायकों की बैठक बुला रहा है। खफा चल रहे डिप्टी सीएम सचिन पायलट से सोनिया गांधी की तरफ से भेजे गए ऑब्जर्वर रणदीप सुरजेवाला ने एक बार फिर बैठक में आने की अपील की है।
उन्होंने दावा किया है कि कांग्रेस को 109 विधायकों का समर्थन है। करीबियों ने यह साफ कर दिया है कि पायलट खेमा समझौते के मूड में नहीं है। साथ ही उन्होंने तंज कसा कि अगर अशोक गहलोत सरकार के पास बहुमत है तो वो विधानसभा में इसे साबित करें, अपने विधायकों को होटल क्यों भेज रहे हैं।
घर के लोग घर में ही शोभा देते हैं- सुरजेवाला
सुरजेवाला ने कहा- घर के सदस्य घर के अंदर ही शोभा देते हैं। कांग्रेस विधायक दल के एक-एक सदस्य का कर्तव्य है कि राजस्थान की 8 करोड़ जनता के सेवा के यज्ञ में सहयोग दें।
सचिन पायलट समेत सभी साथी जो नाराज हैं, उनके लिए कांग्रेस के सारे दरवाजे खुले हैं। मतभेद है तो चर्चा करें। समस्या का हल निकालेंगे। कल सुबह दस बजे कांग्रेस विधायक दल की बैठक बुलाई गई है। सचिन पायलट और उनके समर्थक विधायकों को भी बैठक में आने का अनुरोध किया गया है।
बड़े अपडेट्स…
- रणदीप सुरजेवाला ने कांग्रेस विधायक दल की बैठक में सभी से शामिल होने की अपील की। कहा कि किसी तरह का कोई मनमुटाव है तो पार्टी अध्यक्ष और आलाकमान से बात कर सकते हैं।
- सूत्रों के मुताबिक, सचिन पायलट आज नई पार्टी की घोषणा कर सकते हैं। कांग्रेस के एक तिहाई विधायकों के शामिल होने का दावा किया जा रहा है। इस तरह प्रदेश में तीसरे मोर्चे का गठन हो सकता है। ‘प्रगतिशील कांग्रेस’ के नाम से तीसरा मोर्चा खड़ा करने की संभावना है।
- सोमवार को ही सीएम गहलोत के करीबी दो कांग्रेस नेताओं धर्मेंद्र राठौड़ और राजीव अरोड़ा के जयपुर, कोटा, दिल्ली और मुंबई स्थित ठिकानों पर आयकर विभाग ने छापा मारा।
- राजस्थान में कांग्रेस के प्रभारी अविनाश पांडे ने कहा- पायलट से बात करने की कोशिश की, मैसेज भी किया, लेकिन उन्होंने जवाब नहीं दिया। वे पार्टी से ऊपर नहीं हैं।
- छत्तीसगढ़ के कांग्रेस प्रभारी पीएल पुनिया ने न्यूज एजेंसी से कहा कि सचिन पायलट अब भाजपा में हैं। बाद में ट्वीट किया कि मुझसे सिंधिया को लेकर सवाल किया गया था। सिंधिया की जगह पायलट का नाम निकल गया। गलती से ऐसा हो गया।
102 बैठक में गए, कांग्रेस ने 107 का दावा किया; असलियत- पायलट समर्थक 18 नहीं गए
सोमवार सुबह राजस्थान के सीएम गहलोत के आवास पर सोमवार को विधायकों की बैठक हुई। फोटो भी सामने आई, जिसमें मुख्यमंत्री और विधायक विक्ट्री साइन दिखा रहे थे। लेकिन, 107 में से 18 विधायक गायब रहे, जो पायलट खेमे के थे। गहलोत सरकार ने दावा किया कि बैठक में 102 विधायक पहुंचे थे। बहुमत के लिए 101 विधायक जरूरी हैं।
#WATCH Rajasthan: Chief Minister Ashok Gehlot, Congress leaders and party MLAs show victory sign, as they gather at CM's residence in Jaipur.
The Congress Legislative Party meeting has begun. pic.twitter.com/FowLM7CAGA
— ANI (@ANI) July 13, 2020
ये विधायक बैठक में नहीं शामिल हुए
सूत्रों के मुताबिक जो विधायक बैठक में शामिल नहीं हुए, उनमें राकेश पारीक, मुरारी लाल मीणा, जीआर खटाना, इंद्राज गुर्जर, गजेंद्र सिंह शक्तावत, हरीश मीणा, दीपेंद्र सिंह शेखावत, भंवर लाल शर्मा, इंदिरा मीणा, विजेंद्र ओला, हेमाराम चौधरी, पीआर मीणा, रमेश मीणा, विश्वेंद्र सिंह, रामनिवास गावड़िया, मुकेश भाकर और सुरेश मोदी हैं। रविवार देर रात पार्टी ने व्हिप जारी किया था। इसके मुताबिक, यदि कोई विधायक बिना किसी विशेष कारण के गैरहाजिर रहेगा तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
रविवार शाम डिप्टी सीएम सचिन पायलट ने दावा किया था कि 30 कांग्रेस विधायक उनके समर्थन में हैं और राज्य की गहलोत सरकार अल्पमत में है। इसके साथ पायलट ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से मनमुटाव को भी स्पष्ट कर दिया। कहा कि वे विधायक दल की बैठक में शामिल नहीं होंगे। हालांकि, राजस्थान कांग्रेस के इंचार्ज अविनाश पांडे ने दावा किया कि हमारे पास 109 विधायकों के समर्थन पत्र हैं। गहलोत सरकार बहुमत में है।
एसओजी के नोटिस के बाद से पायलट नाराज
दरअसल, पायलट विधायकों की खरीद-फरोख्त मामले की जांच कर रही एसओजी का नोटिस मिलने के बाद से नाराज हैं। उन्हें कांग्रेस और कुछ निर्दलीय विधायकों का समर्थन है। इस बीच, सीएम गहलोत ने रविवार रात 9 बजे विधायकों के साथ बैठक की। इसके बाद गहलोत समर्थक विधायक ने दावा किया कि हमारे जितने विधायक जाएंगे, उससे ज्यादा विधायक हम भाजपा से ले आएंगे।
पूरे विवाद के बीच दिल्ली गए तीन विधायकों की सीएम हाउस में प्रेस वार्ता
दिल्ली गए कांग्रेसी विधायक दानिश अबरार, चेतन डूडी और रोहित बोहरा ने जयपुर लौटकर कहा कि वे निजी कारणों से दिल्ली गए थे। अगर मीडिया कहता है कि हम इस वजह से वहां गए, या उस वजह से वहां गए.. तो ये हमारी समस्या नहीं है। हम किसी भी विवाद का हिस्सा नहीं बनना चाहते हैं। हम कांग्रेस के सिपाही हैं और आखिरी सांस तक कांग्रेस के साथ रहेंगे।
Haryana: Rajasthan Congress MLAs Inder Raj Gurjar, PR Meena, GR Khatana, and Harish Meena among others, at a hotel in Manesar. (Video released from Sachin Pilot's office of MLAs supporting him) pic.twitter.com/IHToT5tkiR
— ANI (@ANI) July 13, 2020
देर रात मुख्यमंत्री आवास में खाने पर 115 विधायक पहुंचने का दावा
मुख्यमंत्री गहलोत ने रविवार रात सरकार के सभी मंत्रियों और विधायकों को सरकारी आवास पर खाने पर बुलाया। कैबिनेट मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने कहा कि सरकार के पास पूर्ण बहुमत है। करीब 115 विधायक इस रात्रि भोज में शामिल हुए।
All I know is that their MLAs are with us. Both the MLAs are supporting Congress party. They were present at the legislative party meeting earlier today and they are present here as well: Chetan Dudi, Secretary, #Rajasthan Pradesh Congress Committee. https://t.co/3swQ62d6Yn pic.twitter.com/kg7w40dhDC
— ANI (@ANI) July 13, 2020
क्या कहता है समीकरण
पायलट का दावा है कि उनके संपर्क में 30 से ज्यादा विधायक हैं। इसे सही मानें तो गहलोत सरकरा अल्पमत में आ जाएगी। कांग्रेस के 107 में से 30 विधायक इस्तीफा देते हैं तो सदन में विधायकों की संख्या 170 हो जाएगी। ऐसे में बहुमत के लिए 86 विधायकों की जरूरत होगी। 30 के इस्तीफे के बाद कांग्रेस के पास 77 विधायक बचेंगे।
They're requested to come & discuss how to strengthen #Rajasthan & serve the 8 cr people together. If there are some differences with someone then they should say that that with an open mind. Sonia Gandhi & Rahul Gandhi are ready to listen to everyone&find solution: RS Surjewala https://t.co/DNT3mZr2BQ
— ANI (@ANI) July 13, 2020
एक आरएलडी विधायक पहले से उनके साथ है। कांग्रेस की कुल संख्या 78 होगी। यानी बहुमत से 8 कम। उधर, आरएलपी के 3 विधायक मिलाकर भाजपा के पास 75 विधायक हैं। सरकार बनाने के लिए भाजपा को निर्दलीय तोड़ने होंगे। प्रदेश के 13 विधायकों में फिलहाल 10 कांग्रेस समर्थक हैं। अगर इसमें से भाजपा 8 विधायक अपनी तरफ कर ले तो सरकार बना सकती है।
एसओजी जांच में सामने आई विधायकों को 25 करोड़ देने की बात
- एसओजी के अनुसार उसने अवैध हथियार और विस्फोटक सामग्री की तस्करी से जुड़े मामले में मोबाइल नंबर 9929229909 और 8949065678 को सर्विलांस पर लिया हुआ था।
- सर्विलांस पर लिए गए मोबाइल की बातचीत में सामने आया है कि राज्यसभा चुनाव से पहले सरकार गिराने की साजिश रची गई थी। विधायकों को 25-25 करोड़ रुपए देने की जानकारी भी सामने आई है।
- विधायकों को पैसा देने के मामले में एसीबी ने शनिवार को तीन निर्दलीय विधायकों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की है। इनमें महुवा से ओमप्रकाश हुड़ला, अजमेर किशनगढ़ से सुरेश टांक और पाली मारवाड़ जंक्शन से निर्दलीय विधायक खुशवीर सिंह शामिल हैं।
There is no number game. The state govt had majority, it still has the majority. We have more than the required number. We have 109 MLAs with us: #Rajasthan Congress MLA Danish Abrar pic.twitter.com/n5z4ENqWwP
— ANI (@ANI) July 13, 2020
राजस्थान विधानसभा की मौजूदा स्थिति: कुल सीटें: 200
पार्टी | विधायकों की संख्या |
कांग्रेस | 107 |
भाजपा | 72 |
निर्दलीय | 13 |
आरएलपी | 3 |
बीटीपी | 2 |
लेफ्ट | 2 |
आरएलडी | 1 |
राजस्थान की विधानसभा में दलीय स्थिति को देखें तो कांग्रेस के पास 107 विधायक हैं। सरकार को 13 में से 10 निर्दलीय और एक राष्ट्रीय लोकदल के विधायक का भी समर्थन है। लिहाजा गहलोत के पास 118 विधायकों का समर्थन है। उधर, भाजपा के पास 72 विधायक हैं। बहुमत जुटाने के लिए कम से कम 29 विधायक चाहिए।