बठिंडा. गुरु नानक देव थर्मल प्लाट को बंद करने के बाद उसकी कुछ जमीन को बेचने की सरकारी योजना के विरोध में एक किसान ने कथित तौर पर थर्मल प्लाट के गेट के सामने आत्महत्या कर ली। इस दौरान मृतक के शरीर के पास एक डंडे के साथ तख्ती मिली है जिसमें लिखा गया था कि वह थर्नल के विरोध में आत्महत्या कर रहा है। तख्ती में श्री गुरु नानक देव जी की तस्वीर के साथ लिखा गया था कि गुरु नानक देव थर्मल प्लाट बठिंडा की इतिहासिक शान को तोड़ने के विरोध में मैं अपनी जिंदगी कुर्बान करता हूं।
हालांकि घटना से पहले पुलिस उक्त साजों सामान को वहां से उठाकर ले गई लेकिन इसके बाद शिरोमणि अकाली दल बादल ने इस मामले में मोर्चा खोलते पत्रकार वार्ता कर किसान के आत्महत्या करने के मामले में आंदोलन करने की चेतावनी दी है। अकाली दल किसान मोर्चा के राष्ट्रीय प्रधान व पूर्व मंत्री सिकंदर सिंह मलूका ने दावा जताया कि किसान के शव के पास एक गत्ते में लिखी तख्ती मिली थी जिसमें लिखा गया गया था कि वह आत्मीक तौर पर इस थर्मल प्लाट के साथ जुड़ा था व अब सरकार इसे तोड़कर इसकी जमीन को बेचने जा रही है जिसका वह विरोध कर रहा है। हालांकि किसान की मौत किस कारण हुई है इसकी पुष्टी पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही पता चल सकेगा।
गौरतलब है कि स्थानीय थर्मल प्लांट के मेन गेट के बाहर एक व्यक्ति बेहोश पड़ा है की सूचना सहारा जन सेवा संस्था के मुख्यालय में मिली थी जिस पर सहारा जन सेवा की लाइफ सेविंग ब्रिगेड हेल्पलाइन टीम के सदस्य टेक चंद व राजिंदर कुमार घटनास्थल थर्मल प्लांट गेट पर पहुंचे। वहां एक किसान मृत पड़ा था थाना थर्मल की पुलिस घटनास्थल पर पहुंची व घटना की जांच की। सूत्रों अनुसार मृतक के पास एक झंडा और एक डंडे पर लगे हुए गत्ते का बैनर था जो पुलिस ने कब्जे में ले लिया। मृतक की शिनाख्त जोगिंदर सिंह पुत्र गमदूर सिंह किसान वासी चीमा जिला संगरूर के तौर पर हुई अभी तक यह नहीं पता चला कि मृतक किसान जोगिंदर सिंह मोटरसाइकिल पर थर्मल प्लांट के गेट पर क्यों आया था। पुलिस घटना की जांच कर रही है। मृतक के परिजनों को पुलिस द्वारा सूचना भेज दी गई है सहारा टीम ने लाश को पोस्टमार्टम के लिए अस्पताल पहुंचाया।
वही अकाली दल के पूर्व विधायक सरुपचंद सिंगला व किसान मोर्चा के प्रधान सिकंदर सिंह मलूका ने कहा कि श्री गुरु नानक देव जी महाराज के 500 साला पर्व के उपलक्ष्य में इस थर्मल प्लाट का निर्माण किया गया था व इसका उद्घाटन भी उनके प्रकाश पर्व पर किया गया। बठिंडा की देश भर में पहचान इसके थर्मल प्लाट ने दिलवाई लेकिन वर्तमान में कांग्रेस सरकार ने चुनाव से पहले वायदा किया था कि थर्मल को बंद नहीं होने देंगे लेकिन सरकार ने अपने कार्यकाल के पहले साल में ही इसे बंद कर दिया व अब इसकी जमीन को बेचने से तय हो गया कि सरकार थर्मल को फिर से नहीं चलाने वाली है। इसका पूरे पंजाब में विरोध हो रहा है। इस स्थिति में अकाली दल किसान की आत्महत्या को जाय नहीं जाने देंगी व इसके खिलाफ आंदोलन शुरू करेगी। थर्मल प्लाट को बचाना ही अकाली दल का मनतव रहेगा व इसके लिए जल्द योजनाबंदी कर संघर्ष शुरू किया जाएगा।