सरकार का बड़ा फैसला, जरूरत पड़ने पर केंद्रीय विद्यालयों में रखे जाएंगे कोरोना मरीज

देश में कोरोना वायरस (Coronavirus) से संक्रमित लोगों की संख्‍या 724 हो गई है. साथ ही 17 लोगों की मौत इसके कारण हो चुकी है.

नई दिल्‍ली. देश में बढ़ते कोरोना वायरस संक्रमण (Coronavirus) के मामलों को देखते हुए मोदी सरकार (Modi Government) ने शुक्रवार को बड़ा फैसला लिया है. इसके अनुसार पूरे देश में जरूरत पड़ने पर कोरोना वायरस (Covid 19) से संक्रमित मरीजों और संदिग्‍धोंं को केंद्रीय विद्यालयों में रखा जाएगा. यह जानकारी मानव संसाधन विकास मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक (Ramesh Pokhriyal Nishank) ने अपने ट्विटर अकाउंट पर दी. केंद्रीय विद्यालय संगठन ने भी इसके लिए आदेश पारित कर दिया है.

रमेश पोखरियाल निशंक ने ट्वीट किया, ‘कोरोना वायरस की गंभीरता को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है कि पूरे देश में आवश्यकता पड़ने पर केंद्रीय विद्यालयों को कोरोना संक्रमण से बचाव के लिये क्वारनटाइन हेतु तुरंत स्थानीय प्रशासन को उपलब्ध कराया जाए.’

कोरोना वायरस की गंभीरता को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है कि पूरे देश में आवश्यकता पड़ने पर केंद्रीय विद्यालयों को कोरोना संक्रमण से बचाव के लिये क्वारनटाइन हेतु तुरंत स्थानीय प्रशासन को उपलब्ध कराया जाए।

बता दें कि देश में कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों की संख्‍या 724 हो गई है. साथ ही 17 लोगों की मौत इसके कारण हो चुकी है. प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) ने केन्द्रीय मंत्रियों को कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए उठाए गए विभिन्न कदमों पर रोजाना रिपोर्ट दाखिल करने के निर्देश दिए हैं.

पीएमओ ने केन्द्रीय मंत्रियों को इस वायरस से निपटने के लिए उठाये गये कदमों जैसे रोगियों को पृथक करने की सुविधा और स्वास्थ्य देखरेख सुविधाओं के साथ-साथ आवश्यक वस्तुओं की उपलब्धता समेत लॉकडाउन के प्रभाव से निपटने के लिए किये गये उपायों पर एक दैनिक रिपोर्ट सौंपने को कहा है.

कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए उठाये गये कदमों पर जिला मजिस्ट्रेटों और पुलिस अधीक्षकों के साथ प्रतिदिन संपर्क बनाने रखने के निर्देश के साथ सभी केन्द्रीय मंत्रियों को एक राज्य सौंपा गया है.

 

 

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