कोराना वायरस : लॉक डाउन के डर से आलू-प्याज के दाम बढ़े, लेकिन चिंता की कोई बात नहीं

कोरोना वायरस की वजह से दूसरे देशों की तरह कहीं भारत में भी सब कुछ बंद न हो जाए. इसी डर से लोगों ने एक से दो महीने के लिए आटा, चावल और दूसरे राशन समेत लंबे समय तक खराब न होने वाली सब्जियां खरीदीं.

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आपको बता दें कि कोरोना वायरस की वजह से देश में लॉकडाउन की अटकलों को प्रधानमंत्री कार्यालय ने सिरे से खारिज दिया है. पीएमओ ने कहा है कि पीएम नरेंद्र मोदी रात आठ बजे अपने संबोधन में लॉकडाउन जैसी कोई घोषणा नहीं करने वाले हैं. पीएमओ ने कहा कि इस नाजुक वक्त में अफवाह और अटकलों पर बिल्कुल भी ध्यान नहीं दिया जाना चाहिए.

आलू-प्याज की खरीदारी अचानक क्यों बढ़ी- दिल्ली की आजादपुर मंडी एसोसिएशन से जुड़े राजेंद्र शर्मा ने न्यूज18 हिंदी को बताया कि कि जो सब्जियां ज्यादा दिन तक रखी जा सकती हैं लोग उनकी खरीदारी कर रहे हैं. जैसे आलू और प्याज. पिछले सप्ताह तक आलू का दाम थोक में 10 से 16 रुपये किलो रुपये तक था जो अब बढ़कर 12 से 18 रुपये तक हो गया है.इसी तरह पिछले सप्ताह प्याज थोक में 10 से 20 रुपये किलो तक था जो अब बढ़कर 15 से 25 रुपये तक हो गया है. लेकिन चिंता करने की कोई बात नहीं है. आलू, प्याज सहित सभी सब्जियों की आवक पूरी है, उसमें कमी नहीं आई है.

शर्मा कहते हैं कि होटल और रेस्टोरेंट बंद होने की वजह से गोभी, पालक और जल्दी खराब होने वाली सब्जियों की खरीददारी कम हो रही है. इससे इनके दाम में थोड़ी गिरावट देखी जा रही है.

हरियाणा सरकार ने भी जो आदेश दिए हैं उसमें रोजाना खुलने वाली मंडियों को बंद नहीं किया गया है. सिर्फ वो बाजार बंद करने के लिए कहा गया है जो साप्ताहिक होते हैं. जिसमें किसान खुद आकर सीधे उपभोक्ता को सब्जियां बेचते हैं.
राशन का हाल क्या है?
एग्री वॉच के मुताबिक दिल्ली में परमल सेला चावल 3000 रुपये तो बासमती 8000 रुपये प्रति क्विंटल है. जबकि करनाल में परमल सेला 2600 और बासमती 8000 रुपये क्विंटल है. इंदौर में थोक में मिल क्वालिटी का आटा 1900 रुपये क्विंटल तो दिल्ली में इसका रेट 2220 रुपये तक चल रहा है. कानपुर में मिल क्वालिटी का आटा 2050 रुपये तक है.

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