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राज्यसभा में आज दिल्ली हिंसा पर चर्चा. कपिल सिब्बल का सरकार पर निशाना
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लोकसभा में बुधवार को हुई हिंसा पर चर्चा. गृह मंत्री अमित शाह राज्यसभा में देंगे बयान
नई दिल्ली। राज्यसभा में दिल्ली हिंसा पर चर्चा शुरू हो गई है इसमें कांग्रेस सांसद कपिल सिब्बल ने कहा कि सदन में इस वक्त गृह मंत्री होते तो अच्छा होता. इस समय दो किस्म के वायरस ने तबाही मचा रखी है. एक कोरोना वायरस ने. उसकी रिसर्च हो रही है. एक वायरस दिल्ली में चल रहा है. उसको तेजी से बढ़ावा मिल रहा है. हमें ये तो पता है उसकी जड़ कहां है. जब ये वायरस फैल रहा था तो इसका साथ कौन दे रहा था.
गृह मंत्री ने हिंसा की फुटेज भी देखी होगी. कुछ पुलिसकर्मी सीसीटीवी फोड़ते देखे गए. वह दंगाईयों के फायदे के लिए तोड़ रहे थे. सोशल मीडिया में एक और वीडियो वायरल हुआ. पुलिसकर्मी एक शख्स से राष्ट्रगान गाने को बोल रहे हैं. वो अब मर चुका है. 24 फरवरी को धारा 144 लागू हो गया लेकिन इसके बाद भी पुलिस ने कुछ नहीं किया.कपिल सिब्बल ने कहा कैसे-कैसे बेकसूर लोग मारे गए. एक 85 साल के शख्स को मार दिया गया. उसका इससे क्या लेना-देना था. लोगों को उनका धर्म पूछकर मारा गया.राज्यसभा और लोकसभा की कार्यवाही शुरू हो गई है. दिवाला और शोधन अक्षमता संहिता संशोधन अध्यादेश को चर्चा के लिए रखा गया है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने चर्चा के लिए रखा.
‘पीएम 70 घंटे तक चुप थे’
- कपिल सिब्बल ने दिल्ली हिंसा को वायरस बताते हुए कहा कि ये वायरस किसने फैलाया. भड़काऊ भाषण देने वालों ने फैलाया. ऐसे भाषण देने वालों के खिलाफ FIR क्यों नहीं दर्ज हुई. सरकार इस वायरस को रोकना नहीं चाहती है. वो फैलाना चाहती है. उमर अब्दुल्ला को दंगे की डर की वजह से हिरासत में लिया गया. यहां पर बयान देने वालों के खिलाफ कोई FIR दर्ज नहीं हुई.
- सरदार पटेल ने कभी नहीं चाहा होगा कि मासूम लोगों की हत्या हो. गृह मंत्री आप बिजी थे क्योंकि ट्रंप आए हुए थे. आप अहमदाबाद में थे. आप एक बार भी हिंसा वाले इलाके में नहीं गए ना तो आपने कोई बयान दिया. पुलिस को इशारा मिला होगा ना आप करो हम उस तरफ ध्यान नहीं देंगे. हमें पता है कि आप क्या जवाब देंगे. आप 1984 के दंगे की बात करेंगे.
- पीड़ित लोगों को आरोपी बनाया जाएगा. जिन्होंने फसाद किया उन्हें सुरक्षा दी जाएगी. आपके उज्ज्वला स्कीम के जो सिलेंडर मिल रहे हैं उन्हें घरों में फेंका जा रहा था. दिल्ली में जिस वक्त हिंसा हो रही थी, पीएम 70 घंटे के लिए चुप थे.कपिल सिब्बल ने कहा कि इस सरकार के लिए गाय की सुरक्षा ज्यादा जरूरी है लेकिन इंसान की नहीं. पुलिस स्टेशन में FIR नहीं दर्ज हो रही है.
- गृह मंत्री आप बताएं कि कितनी FIR दर्ज हुई. मेरे पास 10 ऐसे लोगों के उदाहरण हैं जो FIR दर्ज कराना चाहते हैं लेकिन नहीं दर्ज की गई. आपने बालाकोट में जो स्ट्राइक की वो सही किया लेकिन अपने लोगों पर आप क्यों सर्जिकल स्ट्राइक करते हैं.
सुधांशु त्रिवेदी ने क्या कहा
- कपिल सिब्बल के बाद बीजेपी की ओर से सुधांशु त्रिवेदी बोलने के लिए खड़े हुए. उन्होंने कहा कि पूरी हिंसा पर किसी भी विपक्षी नेता की ओर से शांति की अपील नहीं की गई. हर आंदोलन में कोई ना कोई प्रतिनिध होता है. मीडिया से बात करने के लिए प्रतिनिधि थे, लेकिन गृह मंत्री से बात करने के लिए कोई प्रतिनिधि नहीं था. ये हिंसा तब शुरू हुई जब कोई राष्ट्रध्यक्ष यहां पर था. लोगों को घर से बाहर निकलने का आह्वान किया गया.
- 14-15 दिसंबर को भारतीय दूतावासों के बाहर प्रदर्शन किया गया. ओवरसीज कांग्रेस ने ये प्रदर्शन किया. लंदन में मनमोहन सिंह की तस्वीर लगाकर कुछ लोगों ने प्रदर्शन किया. अपनी सरकार को सुनाने के लिए यहां बात कही जाती है, बाहर नहीं कही जाती है.
- गृह मंत्री ने हिंसा के दौरान क्या किया ये रिकॉर्ड पर है. वो लगातार बैठक कर रहे थे. वो देर रात तक बैठक किए. वो दिल्ली पुलिस के संपर्क में थे. दिल्ली पुलिस ने 36 घंटे के अंदर हिंसा रोकी. पुलिस का एक जवान शहीद हुआ. पुलिस ने जिस तरह से काम किया वो काबिले तारीफ है.सुधांशु त्रिवेदी ने कहा कि अंकित शर्मा को 400 बार चाकू से मारा गया. ऐसे काम सीमा पर किए जाते हैं. ये सिर्फ घटना नहीं थी ये संदेश था. ये उनका काम था जो देश के खिलाफ काम करना चाहते हैं. बीजेपी सांसद ने कहा कि हमें बचपन से पता था कि आजादी कांग्रेस ने दिलाई थी लेकिन आज आजादी की मांग की जाती है. क्या वो ये मानते हैं कि उन्हें आजादी नहीं मिली.