नई दिल्ली. चीफ इमाम ऑफ इंडिया डॉ. इमाम उमेर अहमद इल्यासी बोले- हमारे घर पर मेहमान अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप आए थे। हमने माहौल को अच्छा बनाने की बजाय खराब किया। इसका मुझे बहुत दुख है। इमाम ने कहा कि हमारा धर्म, जाति, पंथ, इबादत करने के तरीके अलग हो सकते हैं, लेकिन सबसे बड़ा धर्म इंसानियत है। पूर्वी दिल्ली के इलाकों में जो लोग ऐसा कर रहे हैैं, उससे देश की छवि खराब हो रही है। लोगों को प्रोटेस्ट करने का अधिकार है, लेकिन इससे किसी दूसरे को परेशानी हो ये अधिकार किसी को नहीं है।
इमाम ने कहा कि उन्होंने सोमवार शाम को जाफराबाद, सीलमपुर, कर्दमपुरी, फतेहपुरी, जामा मस्जिद समेत अन्य मस्जिदों के इमामों से बातचीत कर शांति की अपील करने को कहा है। इमामों ने शाम की नमाज में लोगों से शांति की अपील की है। मंगलवार सुबह की नमाज में भी शांति की अपील करने काे कहा गया है। उन्होंने कहा कि सभी धर्माें के लोगों से अपील कर रहे हैं कि मसला संवाद से हल होगा। हिंसा करने से नुकसान होगा। इस मामले पर उनका एक डेलिगेशन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व गृहमंत्री अमित शाह से मिलेगा।
जामा मस्जिद के इमाम अहमद बुखारी बोले- प्रशासन आगजनी व पत्थरबाजी की घटनाओं को तुरंत रोके
जामा मस्जिद के इमाम अहमद बुखारी का कहना है कि सबसे पहले जाफराबाद, सीलमपुर, मौजपुर, गोकुलपुरी, भजनपुरा समेत अन्य इलाकों में हो रही हिंसक घटनाओं को तुरंत रोके। केंद्र सरकार व पुलिस तुरंत एक्शन लेकर घटनाओं को काबू करें। इसके बाद एक कमेटी बनाई जानी चाहिए, जिसमें वकील, पत्रकार, हिंदू-मुृस्लिम के जिम्मेदार लोग केंद्र सरकार से मिलकर उसका हल निकालें। बुखारी ने कहा कि पूर्वी दिल्ली में हो रही घटनाओं में किसी एक पक्ष को नहीं बल्कि दोनों पक्षों को नुकसान हाे रहा है। हम बराबर लोगों से अपील कर रहे हैं कि मानवता, इंसानियत व सद्भाव के आधार पर शांति बनाए रखें।
फतेहपुरी मस्जिद के इमाम मुकर्रम बोले- शांति, सद्भाव बनाने के लिए हम रोज अपील कर रहे हैं
फतेहपुरी मस्जिद के इमाम डॉ. मुफ्ती मुकर्रम का कहना है कि जो लोग हिंसा फैला रहे हैं वे लोग हमारी अपील नहीं मानेंगे। अपील तो हमारी कम्युनिटी के लोग ही मान सकते हैं। जब से इलेक्शन शुरू हुआ था तब से वे लोग भड़काऊ बातें कर रहे थे। अब वो हार गए हैं, अपना मुंह बनाकर वो दंगे करवा रहे हैं। ये लोग हमारी अपील कहां सुनने वाले हैं। इन लोगों से पुलिस भी मिली हुई है। पुलिस कुछ कर नहीं रही है। इन दंगों को तो गृहमंत्री अमित शाह ही रुकवा सकते हैं। इमाम ने कहा कि भाईचारे का सद्भाव बनाने के लिए हम लोग रोज अपील कर रहे हैं।