झारखंड चुनाव नतीजे / झामुमो-कांग्रेस गठबंधन को बहुमत: भाजपा के रघुवर-लक्ष्मण दोनों हारे, लेकिन झामुमो की सीता जीतीं

Jharkhand Election Result- झारखंड विधानसभा की 81 सीटों पर हुए चुनाव के नतीजे आ रहे हैं. वोटों की गिनती जारी है और रुझानों में जेएमएम-कांग्रेस गठबंधन को साफ बहुमत हासिल होता दिख रहा है. अब तक 54 सीटों के परिणाम सामने आए हैं. इसमें जेएमएम-कांग्रेस गठबंधन ने 31 सीटों पर कब्जा जमाया है. रुझानों से हेमंत सोरेन का मुख्यमंत्री बनना लगभग तय है. वहीं, रघुवर दास ने सीएम पद से इस्तीफा दे दिया है.

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  • सीएम रघुवर दास जमशेदपुर पूर्व सीट और भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष लक्ष्मण गिलुआ चक्रधरपुर सीट से हारे
  • रुझानों में झामुमो-कांग्रेस गठबंधन को 47 सीटें, बहुमत से 6 ज्यादा, भाजपा को 25 सीटें, आजसू को 2 सीटें
  • जामा विधानसभा सीट से शिबू सोरेन की बहू और हेमंत सोरेन की भाभी सीता मुर्मू जीत गई हैं
  • मोदी और अमित शाह ने 18 रैलियां कर 81 में से 60 सीटें कवर कीं, इनमें से 40 पर भाजपा पीछे
  • सीएम रघुबर दास ने राज्यपाल द्रौपदी मुर्मू को इस्तीफा सौंपा, प्रधानमंत्री मोदी ने सोरेन को जीत की बधाई दी

 

रांची. झारखंड विधानसभा चुनाव के रुझान में झामुमो-कांग्रेस महागठबंधन को बहुमत मिल रहा है। रुझानों के आते ही गठबंधन के मुख्यमंत्री कैंडिडेट हेमंत सोरेन पिता शिबू सोरेन से मिलने पहुंचे, उनका आशीर्वाद लिया और साइकिल भी चलाई। इसके बाद हेमंत ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि आज का दिन जनता के सपनों को पूरा करने के संकल्प का दिन है। उन्होंने कहा कि यह परिणाम पिता शिबू सोरेन के समर्पण और परिश्रम का परिणाम है। हेमंत ने बेरहट और दुमका दोनों सीटों पर चुनाव जीत लिया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हेमंत सोरेन को जीत की बधाई दी। उन्होंने कहा कि मैं झारखंड के लोगों को भी धन्यवाद देता हूं, जिसने कई साल तक राज्य की सेवा करने का मौका भाजपा को दिया।

उधर, मौजूदा मुख्यमंत्री रघुवर दास अपने ही पूर्व सहयोगी सरयू राय से 15 हजार से ज्यादा वोटों से पिछड़ गए हैं। रघुवर के अलावा भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष लक्ष्मण गिलुआ भी चक्रधरपुर सीट से हार गए हैं। लेकिन, झामुमो से जामा विधानसीट पर उतरी सीता मुर्मू जीत गई हैं। सीता हेमंत सोरेन की भाभी हैं।

झारखंड विधानसभा चुनावों में भारतीय जनता पार्टी(बीजेपी) को हार मिली है. झारखंड मुक्ति मोर्चा(जेएमएम) की अगुवाई वाली गठबंधन को बहुमत से जीत मिली है. भारतीय जनता पार्टी राज्य की सत्ता से बेदखल होने के बाद अब अपनी हार पर मंथन करेगी.

भारतीय जनता पार्टी(बीजेपी) झारखंड में करारी हार के कारणों की समीक्षा और आत्ममंथन करेगी. बीजेपी का केंद्रीय नेतृत्व झारखंड की हार को लेकर प्रदेश नेतृत्व के साथ बैठक भी करेगा. बीजेपी आलाकमान का मानना है कि इन 5 कारणों की वजह से पार्टी को हार मिली है.

1. पार्टी का मानना है कि आजसू के साथ अन्य गठबंधन के साथी दलों के साथ समझौता न हो पाना चुनाव हारने की बड़ी वजह है. सुदेश महतो की पार्टी ऑल झारखंड स्टूडेंट यूनियन भारतीय जनता पार्टी की सहयोगी पार्टी रही है लेकिन इस बार दोनों पार्टियों ने अलग-अलग चुनाव लड़ा. वोट बंटने की वजह से पार्टी को बड़े स्तर पर नुकसान हो गया.

2. झारखंड में बीजेपी और सरकार के बीच बेहतर सामंजस्य नहीं बैठ सका, जिसकी वजह से पार्टी को हार मिली.

3. पार्टी का मानना है कि विधायकों की मुख्यमंत्री और अधिकारियों से नाराजगी भी बीजेपी हार का बड़ा कारण रहा.

4. बीजेपी को इस बात का भी एहसास हो गया है कि अगर सरयू राय जैसे पार्टी के दिग्गज नेताओं को नजरअंदाज नहीं किया गया होता तो शायद नतीजे कुछ और होते.

5. आदिवासी भी सरकार से खुश नजर नहीं आए. आदिवासियों की जमीन के अधिकार को लेकर नाराजगी और सच्चाई उन तक नहीं पहुंच सकी. इसके साथ ही आदिवासी बनाम गैर-आदिवासी का मुद्दा भी हावी रहा.

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एग्जिट पोल के नतीजे सही

81 विधानसभा सीटों वाली विधानसभा में बहुमत के लिए 41 का आंकड़ा चाहिए और महागठबंधन को 47 सीटों पर बढ़त मिलती दिख रही है। भाजपा 25 सीटों पर आगे है। प्रदेश में 30 नवंबर से 20 दिसंबर तक 5 चरणों में वोट डाले गए थे। कुल 65.23% वोटिंग हुई थी। 2014 के विधानसभा चुनाव में यहां 66.6% वोट डाले गए थे। आखिरी चरण की वोटिंग पूरी होने के बाद पांच एक्जिट पोल सामने आए। इनमें कांग्रेस-झामुमो-राजद गठबंधन के सत्ता हासिल करने का अनुमान जाहिर किया गया था।

आज जनता के उत्साह का दिन- हेमंत सोरेन

  • हेमंत सोरेन ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, ‘साथियों, आज झारखंड प्रदेश का 40 दिन की चुनावी यात्रा का आज अंतिम दिन है। आज मतगणना चल रही है। अभी तक मतगणना का जो रुझान आया है, उसमें जनता ने जो जनादेश दिया है, वह स्पष्ट है। मैं मतदाताओं का आभार प्रकट करता हूं।’
  • उन्होंने कहा- झारखंड की जनता के लिए उत्साह का दिन है। मेरे लिए आज का दिन एक संकल्प लेने का दिन है। इस राज्य की जनता की आकांक्षाओं को पूरा करने का संकल्प लेने का दिन है। आज का यह जनादेश शिबू सोरेन जी के परिश्रम और समर्पण का परिणाम है।
  • ‘कांग्रेस और राजद के साथ मिलकर हमने यह चुनाव लड़ा। लालू यादव, सोनिया गांधी, राहुल गांधी, प्रियंका गांधी को मैं आभार देना चाहता हूं। सभी ने मेरे ऊपर विश्वास जताया और राज्य की जनता ने भी हमें स्पष्ट बहुमत दिया है।’
  • सोरेन बोले- आज एक राज्य के लिए एक नया अध्याय शुरू होगा। ये मील का पत्थर साबित होगा और निश्चित रूप से जिस उम्मीद से हमें वोट दिए गए हैं, मैं भरोसा दिलाता हूं कि उम्मीदें नहीं टूटेंगी। नौजवान, किसान, महिला, व्यापारी, बूढ़े-बच्चे, मजदूरों सभी की उम्मीदों पर खरा उतरने की कोशिश करेंगे।

25 सीटों पर सिमटी बीजेपी

भारतीय जनता पार्टी अब सरकार बनाने से बेहद दूर हो चुकी है. बीजेपी महज 25 सीटों पर सिमट गई है. पार्टी को मिली करारी हार न केवल झारंखड बीजेपी को बल्कि केंद्रीय राजनीति के लिए झटका है. बीेजेपी ने झारखंड की चुनावी रैलियों में अपने केंद्रीय नेतृत्व के साथ-साथ पूरे मंत्रिमंडल को उतार दिया था लेकिन पार्टी को बड़ा झटका लगा.

झारखंड में बीजेपी के लिए वोट प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम पर ही पड़े. रघुवर दास से प्रदेश की जनता खुश नजर नहीं  आई. शायद यही वजह है कि रघुवर दास अपनी विधानसभा सीट तक बचा पाने में कामयाब नहीं हो सके.

पांचवीं बार सोरेन परिवार का सदस्य सीएम पद संभालेगा
हेमंत गठबंधन की तरफ से मुख्यमंत्री कैंडिडेट हैं। वे मुख्यमंत्री बनते हैं तो सोरेन परिवार का कोई सदस्य पांचवीं बार इस पद को संभालेगा। 2005, 2008 और 2009 में शिबू सोरेन राज्य के मुख्यमंत्री थे। 2013-14 में हेमंत सोरेन मुख्यमंत्री थे।

रघुवर के 6 मंत्री हार के करीब
जमेशदपुर पूर्व से मुख्यमंत्री रघुवर दास, दुमका से समाज कल्याण मंत्री डॉ. लुइस मरांडी, रांची से नगर विकास मंत्री सीपी सिंह, मधुपुर से श्रम मंत्री राज पालीवार, जुगसलाई से जल संसाधन मंत्री और आजसू नेता रामचंद्र सहिस और कोडरमा से शिक्षा मंत्री डॉ. नीरा यादव पीछे चल रहे हैं।

हॉट सीट
जमशेदपुर पूर्व:
 यहां भाजपा के मौजूदा मुख्यमंत्री रघुवर दास निर्दलीय सरयू राय से 10 हजार से ज्यादा वोटों से पीछे चल रहे हैं। रघुवर 1995 से यह सीट जीतते आ रहे हैं। उधर, रघुवर कैबिनेट में मंत्री रहे सरयू राय टिकट न मिलने पर भाजपा से अलग हो गए थे।
दुमका: यहां भाजपा की लुइस मरांडी, झामुमो के हेमंत सोरेन और झाविमो की अंजुला मुर्मू के बीच मुकाबला था। हेमंत सोरेन ने यह सीट जीत ली है। हालांकि, लुइस मरांडी ने 2014 में मुख्यमंत्री रहते हुए सोरेन को यहां 6 हजार वोटों से हराया था। खास बात यह है कि इस सीट पर प्रधानमंत्री मोदी ने जनसभा की थी।

बरहेट: हेमंत सोरेन यहां भी चुनाव जीत गए हैं। उन्होंने भाजपा के सिमोन मालतो हराया। यह सीट झामुमो का गढ़ मानी जाती है। 30 सालों से यहां झामुमो का कब्जा है। 2014 में हेमंत सोरेन यहां से जीते थे।

मोदी-शाह ने रैलियां कर 60 सीटें कवर कीं, 40 पर भाजपा पीछे
नरेंद्र मोदी और अमित शाह ने झारखंड विधानसभा चुनाव के दौरान कुल 18 रैलियां कीं। दोनों ने 9-9 रैलियों के जरिए 81 में से 60 सीटों को कवर किया। इनमें से 40 सीटों पर भाजपा पीछे चल रही है। राहुल गांधी और प्रियंका ने गांधी ने मोदी-शाह की तुलना में तीन गुना कम यानी 6 रैलियां कर 24 सीटें कवर की थीं। इनमें से 7 सीटों पर कांग्रेस आगे चल रही है।

Jharkhand Election, Results of the seats where PM Modi, Amit Shah and Rahul Gandhi, Priyanka gandhi campaigned

झारखंड में इस बार सत्ता से बीजेपी का पत्ता लगभग साफ होता नजर आ रहा है. वोटिंग की गिनती अब अपने अंतिम दौर में है. बीजेपी 25 सीटों पर आगे चल रही है, जबकि जएमएम-कांग्रेस-आरजेडी गठबंधन बहुमत के आंकेड़ 41 से काफी आगे निकल गई है. बीजेपी के शीर्ष नेताओं ने हार स्वीकार कर ली है और मुख्यमंत्री रघुवर दास ने भी अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. अब तय है की जेएमएम के हेमंत सोरेन झारखंड के अगले मुख्यमंत्री बनेंगे.

चुनाव प्रचार के दौरान बीजेपी ने झारखंड में वापसी का दावा किया था. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 9 सीटों पर तो बीजेपी अध्यक्ष और देश के गृह मंत्री अमित शाह ने राज्य की 11 विधानसभा सीटों पर चुनाव प्रचार किया था, लेकिन चुनावी नतीजों पर नज़र डालने पर पता चलता है कि पीएम मोदी और अमित शाह ने जिन सीटों पर चुनावी रैली की उनमें से ज्यादातर सीटें बीजेपी के हाथ से निकल गई हैं.

इसके उलट राहुल गांधी और प्रियंका गांधी ने जिन जिन सीटों पर रैलियां कीं, वहां की ज्यादातर सीटों पर कांग्रेस को सफलता मिली है. राहुल ने पांच विधानसभा सीटों पर रैलियां की थी, जिनमें से चार पर कांग्रेस को जीत हासिल हुई है. उनके अलावा प्रियंका गांधी ने एक सीट पर रैली की, जिसपर कांग्रेस जीत रही है.

पीएम मोदी ने इन 9 सीटों पर की रैली
गुमला- हार
जमशेदपुर वेस्ट- हार
बरही- हार
दुमका- हार
बरहेट- हार
खूंटी- जीत
बोकारो- जीत
धनबाद- जीत
डॉलटनगंज- जीत

राहुल गांधी ने इन 5 सीटों पर रैली की
सिमडेगा- जीत रही है
बड़कागांव- जीत रही है
खिजरी- जीत रही है
महागामा- जीत रही है
राजमहल- हार रही है

अमित शाह ने इन 11 सीटों पर की रैली-
मनिका- हार
लोहरदगा- हार
चतरा- हार
गढ़वा- हार
चक्रधरपुर- हार
बाहरगोरा- हार
पांकुर- हार
पोरेयाहाट- हार
गिरडीह- हार
देवघर- जीत
बागमारा- जीत
प्रियंका गांधी ने इस सीट पर की रैली
पाकुर- जीत रही है
हेमंत सोरेन दुमका और बरहेट दोनों सीटों चुनाव लड़े थे. बरहेट में हेमंत सोरेन की उम्मीदवारी मज़बूत मानी जा रही थी. वो इस सीट पर जीत गए, लेकिन दुमका में पीएम मोदी ने मंत्री लुईस मरांडी के लिए खुद चुनाव प्रचार किया, बावजूद इसके बीजेपी की मंत्री अपनी इस सीट को नहीं बचा पाईं और हेमंत सोरेन को यहां भी जीत मिली.

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