पाक / कानून मंत्री ने कहा- कश्मीर मुद्दा अंतरराष्ट्रीय अदालत नहीं ले जा सकते, ऐसा करने के लिए भारत की सहमति जरूरी
पाकिस्तान के कानून मंत्री फरोघ नसीम ने कहा कि कोई एक देश कश्मीर मसले को आईसीजे नहीं ले जा सकता इससे पहले आईसीजे में पाक के वकील खवर कुरैशी ने कहा कि आईसीजे में कश्मीर मुद्दा उठाना मुश्किल
इस्लामाबाद. पाकिस्तान जम्मू-कश्मीर अनुच्छेद 370 हटाने के मुद्दे को अंतराष्ट्रीय स्तर पर उठाने की कई कोशिशें कर चुका है, लेकिन हर बार उसे नाकामी के सिवाय कुछ नहीं मिला। कश्मीर मुद्दे को लेकर इमरान सरकार के मंत्री ही उलझन में हैं। पाक विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने भारत सरकार के फैसले को अंतरराष्ट्रीय न्यायालय (आईसीजे) के सामने उठाने की बात कही थी। लेकिन अब उनके कानून मंत्री फरोघ नसीम ने कहा है कि हम इस मुद्दे को आईसीजे नहीं ले जा सकते, क्योंकि इसे लेकर भारत और पाक में कोई समझौता नहीं हुआ है।
नसीम ने कहा कि आईसीजे जाने के लिए दोनों पक्षों की सहमति जरूरी है। कश्मीर मामले को आईसीजे में सिर्फ संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) और संयुक्त राष्ट्र आमसभा (यूएनजीए) के जरिए उठाया जा सकता है। यह दोनों संस्थाएं कश्मीर में मानवाधिकार हनन को आधार बनाकर इस मामले को उठा सकती हैं।
आईसीजे में पाक वकील ने कहा था- नहीं उठा सकते कश्मीर मुद्दा
इससे पहले आईसीजे में पाक के वकील खवर कुरैशी ने भी कहा था कि हमारे पास इस मुद्दे को उठाने के लिए पर्याप्त सबूत नहीं हैं। उन्होंने कहा था कि दुनिया कश्मीर को भारत का अभिन्न अंग मानती है। साथ ही पाक के पास कश्मीर में नरसंहार के कोई पुख्ता सबूत नहीं हैं। ऐसे में अंतरराष्ट्रीय न्यायालय में कश्मीर का मुद्दा उठाना पाक के लिए काफी मुश्किल साबित हो सकता है। खवर कुरैशी वही वकील हैं जिन्होंने कुलभूषण जाधव मामले में हेग स्थित अंतरराष्ट्रीय न्यायालय में पाकिस्तान की तरफ से पक्ष रखा था।
संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में पाक को मिली थी नाकामी
पाक ने दो हफ्ते पहले ही कहा था कि वह कश्मीर मामले को आईसीजे में ले जाने की तैयारी कर रही है। इससे पहले पाकिस्तान ने यह मामला संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में भी उठाया था, जहां उसे निराशा ही हाथ लगी थी। सुरक्षा परिषद में हुई गुप्त बैठक बिना किसी नतीजे के समाप्त हो गई थी। पाकिस्तान और उसके सहयोगी चीन द्वार इस मुद्दे का अंतरराष्ट्रीयकरण करने की कोशिश नाकाम रही।
भारत ने 5 अगस्त को अनुच्छेद 370 हटाया
भारत सरकार ने 5 अगस्त को जम्मू-कश्मीर से विशेष राज्य का दर्जा वापस लिया। घाटी से अनुच्छेद 370 और 35ए को निष्प्रभाव कर दिया गया। इसके बाद से ही घाटी में हालात तनावपूर्ण बने हुए हैं। पाकिस्तान ने कश्मीर मामले को यूएनएससी में भी उठाया था, मगर चीन को छोड़कर किसी देश ने उसका साथ नहीं दिया।