एयरसेल-मैक्सिम डील में कोर्ट से पी चिदंबरम और कार्ति को बड़ी राहत, वही ED मामले में गिरफ्तारी पर SC ने लगाई सोमवार तकरोक

दिल्ली के रॉउज एवेन्यू कोर्ट ने पी चिदम्बरम और कार्ति चिदम्बरम को 22 अगस्त तक राहत दी थी. सीबीआई और ईडी दोनों एजेंसी इस मामले में जांच कर रही है.

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नई दिल्ली: एयरसेल-मैक्सिम डील मामले में कोर्ट ने पूर्व केंद्रीय मंत्री चिदंबरम और उनके बेटे कार्ती चिदंबरम को बड़ी राहत दी है. इस मामले में कोर्ट ने दोनों की गिरफ्तारी पर 3 सितंबर तक रोक लगा दी है. साथ ही विशेष कोर्ट ने पी चिदंबरम और कार्ती की अग्रिम जमानत पर फैसला 3 सितंबर तक सुरक्षित रख लिया है. इसके साथ ही कोर्ट ने जिरह नहीं करने पर ईडी को फटकार लगाई है. बता दें, इस केस में पी चिदम्बरम और बेटे कार्ति चिदम्बरम की अंतरिम राहत बुधवार को खत्म हो गई थी. दिल्ली के रॉउज एवेन्यू कोर्ट ने पी चिदम्बरम और कार्ति चिदम्बरम को 22 अगस्त तक राहत दी थी. सीबीआई और ईडी दोनों एजेंसी इस मामले में जांच कर रही है.

 

पिछली सुनवाई के दौरान एजेंसी के तरफ से कोर्ट में दलील दी गयी थी कि कार्ति चिदम्बरम साक्ष्यों के साथ छेड़छाड़ कर रहे है. जब भी कार्ति चिदम्बरम विदेश जाते है तभी वो साक्ष्यों के साथ छेड़छाड़ करते है. तो वहीं कार्ति चिदम्बरम के वकील ने इन आरोपों को निराधार और बेबुनियाद बताया है. पी चिदम्बरम का कोर्ट में पक्ष कपिल सिब्बल ने रख रहे हैं.

कपिल सिब्बल ने कोर्ट से सुनवाई के दौरान कहा था कि उनके क्लाइंट पी चिदम्बरम और कार्ति चिदम्बरम को फंसाया जा रहा है और एजेंसी के पास कोई ग्राउंड नहीं है गिरफ्तार करने के लिए. इस मामले में सीबीआई ने पिछले साल 18 जुलाई को चार्जशीट दायर कर दी थी लेकिन अभी भी कोर्ट ने उस पर संज्ञान नहीं लिया है.

बता दें, एयरसेल मैक्सिस मामला 2006 का है. सीबीआई इस मामले में जांच कर रही है कि एक विदेशी फर्म को कैसे पी चिदम्बरम ने एफआईपीबी का स्वीकृति दे दी जबकि स्वीकृति केवल सीसीईए (कैबिनेट कमिटी ओन इकनोमिक अफेयर्स) ही दे सकती थी. ईडी भी इसी मामले में मनी लॉन्ड्रिंग मामले में जांच कर रही है. चिदम्बरम से इस मामले में एजेंसी सवाल जवाब कर चुकी है, लेकिन अग्रिम जमानत का एजेंसी कोर्ट में विरोध कर रही है. 3,500 करोड़ की एयरसेल मैक्सिस डील में दोनों एजेंसी जांच कर रही है.


चिदंबरम को राहत: ED मामले में गिरफ्तारी पर SC ने लगाई रोक, गिरफ्तारी के खिलाफ याचिका पर सोमवार को सुनवाई

चिदंबरम को राहत: ED मामले में गिरफ्तारी पर SC ने लगाई रोक, गिरफ्तारी के खिलाफ याचिका पर सोमवार को सुनवाई

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि याचिका प्रभावहीन हो गई है. सीबीआई कोर्ट ने सोमवार तक रिमांड दिया है. इस पर सोमवार को सुनवाई की जाएगी.

 

नई दिल्ली: पूर्व केंद्रीय मंत्री पी चिदंबरम की याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को सुनवाई की. सुप्रीम कोर्ट ने पी चिदंबरम को राहत देते हुए ईडी मामले में सोमवार तक उनकी गिरफ्तारी पर रोक लगा दी है. साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि वह उनकी गिरफ्तारी और ईडी मामले की याचिका पर सोमवार को सुनवाई करेगा. सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने चिदंबरम के वकील से कहा कि आपकी दो याचिकाएं हैं, आप बहस करना चाहते हैं? चिदंबरम की ओर से कपिल सिब्बल ने कहा कि हां, हम बहस करेंगे. इस पर सीबीआई ने कहा कि चिदंबरम अभी हिरासत में हैं, याचिका कहीं नहीं ठहरती. इस पर सिब्बल ने कहा कि दिल्ली हाईकोर्ट ने शाम चार बजे आदेश दिया, हम तुरंत सुप्रीम कोर्ट पहुंचे और सीजेआई से अनुरोध किया. हमने रातभर याचिका तैयार की. सीजेआई ने अगले दिन मेंशन करने को कहा. सुबह याचिका दाखिल की. हमने सुबह मेंशन किया, दोपहार दो बजे मेंशन किया. तब तक चिदंबरम को गिरफ्तार नहीं किया गया था. चार बजे का इंतजार करने का कहा गया. मुझे सुनवाई का मौलिक अधिकार है. मुझे जीने का अधिकार है, हमारा केस सुना जाना चाहिए. चिदंबरम की ओर से वकील ने कहा, हम वक्त पर सुप्रीम कोर्ट आए थे.

कोर्ट ने पूछा कि चिदंबरम कब तक पुलिस रिमांड पर हैं तो बताया गया कि सोमवार तक सीबीआई कोर्ट रिमांड दे चुकी है. तो कोर्ट ने कहा कि ऐसे में केस को क्या मंगलवार को सुना जाए. इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि याचिका प्रभावहीन हो गई है. सीबीआई कोर्ट ने सोमवार तक रिमांड दिया है. हम सोमवार को सुनवाई करेंगे. सिब्बल ने कहा कि हमने सीबीआई द्वारा गिरफ्तारी को चुनौती दी है. कोर्ट उस पर भी सोमवार को सुनवाई करेगा.

इसके बाद ED केस में चिदंबरम की याचिका पर बहस हुई. सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि अगर कोई व्यक्ति हिरासत में है तो अग्रिम जमानत पर सुनवाई नहीं हो रही है. लेकिन सिब्बल ने कहा CBI रिमांड आदेश को चुनौती देंगे, इसके लिए याचिका तैयार है. कोर्ट ने कहा कि इस पर सोमवार को सुनवाई होगी.

सिब्बल ने कहा कि दिल्ली हाईकोर्ट में ED ने कोई हलफनामा दाखिल नहीं किया. बहस खत्म होने के बाद जज को एक जांच का नोट दे दिया गया. हमें उसका जवाब देने का वक्त नहीं दिया गया. हाईकोर्ट जज ने उसी नोट को अपने फैसले में कॉपी पेस्ट कर दिया.

चिदंबरम ने सुप्रीम कोर्ट में सीबीआई कोर्ट के रिमांड को भी चुनौती दी है. इस पर भी सोमवार को सुनवाई होगी. चिदंबरम की ओर से सिब्बल ने कहा कि हाईकोर्ट ने दोषी ठहरा दिया है. कभी भी जवाब देने का वक्त नहीं मिला. क्या ये आधार हो सकता है अग्रिम जमानत खारिज करने का? हाईकोर्ट ने सात महीने तक फैसला सुरक्षित रखा. फैसले में जज ने ED के नोट के शब्द हूबहू लिख दिए. कोर्ट ने ED की फाइंडिग को अपना बना लिया.

ईडी की तरफ से तुषार मेहता ने कहा कि फरवरी 2019 में फिर से जांच आगे बढ़ाई. हमारे पास मनी लॉन्ड्रिंग को लेकर ईमेल एक्सचेंज हैं. ये मामला भ्रष्टाचार के जरिए बड़ी रकम लेने का है. शेल कंपनियां बनाई गईं और पैसा इधर से उधर किया गया. देश ही नहीं बल्कि विदेशों में भी शेल कंपनियां बनाई गईं. हमारे पास सबूत मौजूद हैं और वह हम कोर्ट को देने को तैयार हैं. चिदंबरम की विदेशों में दस कीमती संपत्तियां हैं. विदेशी बैंकों में 17 खाते हैं, हमारे पास इसके दस्तावेज मौजूद हैं. हम यह जानकारी सार्वजनिक नहीं कर सकते. अभी तक जांच में पता चला है कि जिसके नाम शेल कंपनी है वो चिदंबरम का पोती के नाम वसीहत करेगा. इनके प्राोफाइल को देखते हुए साफ है कि अगर उन्हें सरंक्षण के छाते में रखा गया तो जांच पूरी नहीं होगी. साथ ही उन्होंने कहा कि बिना गिरफ्तारी और पूछताछ के बड़ी साजिश का खुलासा नहीं होगा.

ईडी की ओर से तुषार ने कहा कि कोर्ट सरंक्षण का आदेश ना दे. वैसे भी हम सोमवार तक गिरफ्तार नहीं कर सकते क्योंकि चिदंबरम सीबीआई की हिरासत में हैं. जब सीबीआई हिरासत नहीं लेगी तो ही गिरफ्तारी हो सकती है.

हमें हिरासत में लेकर पूछताछ करनी है. हमने ये नोटहाई कोर्ट में दाखिल किया था. HC ने माना है कि वो पहली नजर में किंगपिन है, चिदंबरम के अपराध की गंभीरता को देखते हुए अग्रिम जमानत नहीं दी जा सकती. हाईकोर्ट ने केस डायरी को देखकर यह कहा था. हम केस डायरी आरोपी को नहीं दे सकते, कोर्ट को दे सकते हैं. ईडी केस में चिदंबरम की गिरफ्तारी पर सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार तक रोक लगा दी है. सुप्रीम कोर्ट ED और CBI दोनों ही मामलों में सोमवार को सुनवाई करेगा.

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