अलीगढ़ के बाद अब भोपाल में 9 साल की बच्ची की दुष्कर्म के बाद गला दबाकर हत्या, नाले में मिला शव; 6 पुलिसकर्मी सस्पेंड

अलीगढ़ मर्डर केस: भारी फोर्स के बावजूद सड़कों पर उतरे लोग, आरोपियों को फांसी की मांग, रोंगटे खड़े करने देने वाली वारदात के खिलाफ अलीगढ़ में हिंदू महासभा के लोग भी सड़कों पर उतरे और मुस्लिम समाज भी. अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के छात्रों ने भी आरोपियों को सूली पर चढ़ाने की मांग की.

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भोपाल. यहां के कमला नगर इलाके में रविवार को 9 साल की बच्ची का शव नाले में मिला। शॉर्ट पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में दुष्कर्म के बाद बच्ची का गला दबाकर हत्या करने की बात सामने आई है। बच्ची शनिवार रात घर के करीब से लापता हुई थी। एक एएसआई, एक हवलदार और चार सिपाहियों को निलंबित किया गया है। सांसद प्रज्ञा ठाकुर पीड़ित परिवार को सांत्वना देने उनके घर पहुंचीं।

प्रदेश के गृह मंत्री बाला बच्चन के मुताबिक- एक संदिग्ध आरोपी की पहचान की गई है। वह पीड़ित परिवार के घर के पास ही रहता है। उसके परिवार के सदस्यों को हिरासत में लिया गया। पुलिस को आरोपी की लोकेशन पता चली है। उसकी गिरफ्तारी के प्रयास किए जा रहे हैं। बच्ची की खोज में पुलिस की 20 टीम लगाई गई थीं। लेकिन अफसोस है कि हम बच्ची को बचा नहीं पाए। घटना की सूचना मिलने पर जनसंपर्क मंत्री पीसी शर्मा भी अस्पताल पहुंचे। उन्होंने कहा कि पुलिस अगर सही तरीके से काम करती तो बच्ची की जान बचाई जा सकती थी।

पुलिस ने केस दर्ज करने से मना कर दिया

प्रारंभिक जानकारी के मुताबिक, मंडवा बस्ती के पास रहने वाली बच्ची रात करीब 8 बजे घर के पास दुकान पर सामान लेने गई थी। जब वह काफी देर तक नहीं लौटी तो परिजन ने तलाश शुरू की। काफी देर तक बच्ची के नहीं मिलने पर परिजन थाने पहुंचे, लेकिन पुलिस ने केस दर्ज करने से मना कर दिया। इलाके के पार्षद को जब इस बात का पता चला तो उन्होंने पुलिस को फोन कर बच्ची की तलाश तुरंत शुरू करने के लिए कहा।

एएसपी अखिल पटेल ने बताया कि बच्ची के लापता होने की शिकायत के बाद भी त्वरित कार्रवाई न करने पर पुलिसकर्मियों को निलंबित किया गया है। उन्होंने बताया कि विशेषज्ञों से जांच करवाई जा रही है। परिजन और आसपास के लोगों से पूछताछ की जारी है। जल्द आरोपियों को गिरफ्तार किया जाएगा।

घटना की जानकारी के बाद भोपाल सांसद प्रज्ञा ठाकुर पीड़ित परिवार के घर पहुंचीं।

अलीगढ़ मर्डर केस: भारी फोर्स के बावजूद सड़कों पर उतरे लोग, आरोपियों को फांसी की मांग

अलीगढ़ के टप्पल में मासूम बच्ची का अपहरण कर उसकी हत्या के बाद लोगों आक्रोश फूट पड़ा है. लोग सड़कों पर उतर कर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं और बच्ची के लिए इंसाफ की मांग कर रहे हैं. टप्पल में हालत कहीं बेकाबू न हो जाएं, इसे देखते हुए रविवार को दूसरे दिन भी सुरक्षा बलों ने फ्लैग मार्च किया. टप्पल में 30 मई को एक ढाई साल की बच्ची गायब हुई थी. 2 जून को उसका क्षत-विक्षत शव घर से 100 मीटर दूर मिला. बच्ची के पिता ने पहले ही दिन हत्या का शक मुहल्ले के जाहिद पर जताया था.

ढाई साल की इस बच्ची को इंसाफ दिलाने के लिए पूरा देश उठ खड़ा हुआ है. कहीं कैंडल मार्च निकाला जा रहा है तो कहीं पुलता फूंका जा रहा है. कहीं लोग अनशन पर बैठे हैं तो कहीं प्रतीकात्मक फांसी लगाकर लोग अपना गुस्सा जाहिर कर रहे हैं. किसी को यकीन नहीं हो रहा है कि आखिर ढाई साल की मासूम बच्ची को कोई गला दबाकर मार कैसे सकता है. हर तरफ आक्रोश है, हर तरफ गुस्सा है.

रौंगटे खड़े करने देने वाली वारदात के खिलाफ अलीगढ़ में हिंदू महासभा के लोग भी सड़कों पर उतरे और मुस्लिम समाज भी. अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के छात्रों ने भी आरोपियों को सूली पर चढ़ाने की मांग की. मध्य प्रदेश के राजगढ़ में मुस्लिम समाज ने दरिंदों का पुतला फूंक कर अपना गुस्सा जताया. यूपी के लखीमपुर में लोग इंसाफ की मांग पर अन्न त्याग कर धरने पर बैठ गए. img-20190609-wa0014_060919115802.jpg

टप्पल की मासूम की हत्या मामले में जांच जैसे-जैसे आगे बढ़ रही है, सन्न कर देने वाले खुलासे भी सामने आ रहे हैं. पुलिस ने आजतक को बताया कि ढाई साल की बेटी को कितनी बर्बरता से मारा गया. बच्ची की सांसें गला दबाकर रोकी गई. इस वीभत्स हत्याकांड को आरोपी असलम के घर अंजाम दिया गया. शक है कि लाश को जाहिद के दुपट्टा से लपेट कर फ्रीज में छुपाया गया ताकि बदबू न आए.

इस घटना के बाद पूरे टप्पल में सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी गई है. एसपी (ग्रामीण) मणिलाल पाटीदार ने एएनआई से कहा, ‘पुलिस के आश्वासन के बाद लोगों ने महापंचायत टाल दी है. इलाके में कानून व्यवस्था बनी रहे, इसके लिए सुरक्षा बलों की तैनाती की गई है.’ पुलिस ने इस हत्याकांड में अब तक मुख्य आरोपी जाहिद, उसके भाई मेहंदी, जाहिद की बीवी और जाहिद के दोस्त को दबोच लिया है जबकि गुनाह की एक और राजदार मेहंदी की पत्नी फरार है. एसआईटी जांच के बाद अब मामले की मजिस्ट्रेट से भी जांच कराई जा रही है.

दरिंदगी की सारी हदें पार कर देने वाली इस वारदात को लेकर अब वकीलों से मोर्चा खोल दिया. अलीगढ़ बार एसोसिएशन ने आरोपियों की तरफ से केस न लड़ने का फैसला किया है. दूसरी ओर हत्या के दो आरोपियों के खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (रासुका) के तहत मामला दर्ज कर मामले को फास्ट ट्रैक कोर्ट में स्थानांतरित करवाने का फैसला लिया है. सरकार के एक प्रवक्ता ने कहा कि यह निर्णय योगी आदित्यनाथ की सरकार की ओर से लिया गया है. वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अलीगढ़ आकाश कुलहरि ने कहा, “हम इसे राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (रासुका) के मामले के रूप में आगे बढ़ा रहे हैं, हम इसे एक फास्ट ट्रैक कोर्ट में लाने की कोशिश करेंगे. पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में दुष्कर्म या एसिड हमले का जिक्र नहीं है. इस मामले में पांच पुलिस कर्मियों को निलंबित कर दिया गया है.”

टप्पल जा रहीं साध्वी प्राची रोकी गईं, बोलीं- मोमबत्ती मत जलाओ, फांसी दो

अलीगढ़ के टप्पल गांव जाने की कोशिश कर रही साध्वी प्राची को पुलिस ने लौटा दिया है. साध्वी प्राची अलीगढ़ के टप्पल में पीड़ित बच्ची के घर मिलने जा रही थीं. यमुना एक्सप्रेस वे के पास जेवर टोल प्लाजा के पास पुलिस ने उन्हें रोक दिया. साध्वी प्राची ने कहा कि वह रोके जाने से आहत हैं. उन्होंने कहा कि सीएम योगी आदित्यनाथ से उनकी बात हो गई है.

इसके बाद अलीगढ़ की घटना पर साध्वी प्राची ने खूब गुस्सा निकाला. साध्वी प्राची ने कहा कि मोमबत्ती जलाने, निंदा करने से कुछ नहीं होगा, इन्हें सिर्फ फांसी की सजा होनी चाहिए, अन्यथा इन पर पेट्रोल डालकर आग लगा देनी चाहिए. प्राची ने कहा कि 24 घंटे के अंदर आरोपियों को फांसी की सजा होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि सिर्फ आरोपी ही साइकिक नहीं है, बल्कि… है. उन्होंने कहा कि उनकी पीड़ित परिवार से अपील है कि वे लोग मुआवजा नहीं मांगे, बल्कि फांसी की सजा की मांग करें.साध्वी प्राची (फाइल फोटो)

बता दें कि ढाई साल की बच्ची की नृशंस हत्या के खिलाफ रविवार को अलीगढ़ में उबाल है. रविवार को अलीगढ़ में महापंचायत का आयोजन किया गया था, लेकिन प्रशासन ने इसकी इजाजत नहीं दी. अलीगढ़ में बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात है. पुख्ता सुरक्षा व्यवस्था को देखते हुए यहां पर यूपी पुलिस, आरएएफ और पीएसी की टीम तैनात की गई है, यही नहीं दूसरे जिलों से भी पुलिस बल को बुलाया गया है. पूरे इलाके में धारा-144 लागू कर दी गई है.

हालांकि धारा 144 का उल्लंघन करने के आरोप में अलीगढ़ के टप्पल से पुलिस ने 5 लोगों को हिरासत में ले लिया है. रिपोर्ट के मुताबिक भारी फोर्स की तैनाती के बावजूद टप्पल में सड़कों पर लोग उतरे हैं और आरोपियों को फांसी दने की मांग कर रहे हैं.

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