नई दिल्ली. किसानों को अब प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि स्कीम (PM-Kisan samman nidhi scheme) के साथ-साथ कई और फायदे देने की तैयारी शुरू हो गई है. दरअसल सरकार ने किसान सम्मान निधि स्कीम के लाभार्थियों को किसान क्रेडिट कार्ड((KCC) जारी करने के लिए 15 दिन का विशेष अभियान शुरू किया है. अगले 15 दिन तक सभी किसानों को किसान क्रेडिट कार्ड दिए जाएंगे. आपको बता दें कि किसान क्रेडिट कार्ड योजना के तहत एक कार्ड बनता है. इसके जरिए 3 लाख रुपये तक का कर्ज फसल के लिए लिया जा सकता हैं. ये कर्ज 7 प्रतिशत की दर से मिलता है, जिसे समय पर जमा करने पर 3 फीसदी तक ब्याज की छूट भी मिलती है. इस प्रकार किसानों को किसान क्रेडिट कार्ड पर केवल 4 प्रतिशत की दर से ही ब्याज चुकाना पड़ता है.
यह अभियान 10 फरवरी, 2020 से शुरू हो गया है और इसे 15 दिनों तक चलाया जाएगा. इस संबंध में विस्तृत निर्देश सभी राज्यों/केन्द्र शासित प्रदेशों की सरकारों, सभी बैंकों के प्रबंध निदेशकों और नाबार्ड के चेयरमैन को जारी किए जा चुके हैं जिनमें केसीसी के तहत पीएम-किसान सम्मान निधि के लाभार्थियों को कवर करने के लिए अपनाई जाने वाली प्रक्रिया का विस्तृत विवरण दिया गया है.
राज्यों/केन्द्र शासित प्रदेशों की सरकारों और बैंकों को पीएम-किसान के उन सभी लाभार्थियों की एक सूची तैयार करने की सलाह दी गई है जिनके पास केसीसी नहीं है.
यही नहीं, राज्यों/केन्द्र शासित प्रदेशों की सरकारों के कृषि, पशुपालन, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभागों सहित संबंधित विभागों और पंचायत सचिवों के जरिए इन सभी लाभार्थियों से संपर्क साधने की भी सलाह दी गई है. एनआरएलएम योजना के तहत ‘बैंक सखी’ का भी उपयोग पीएम-किसान सम्मान निधि के लाभार्थियों को प्रेरित करने के लिए किया जाएगा, ताकि वे इस उद्देश्य के लिए संबंधित बैंकों की शाखाओं में अवश्य जाएं.
पीएम किसान सम्मान निधि के तहत पैसा पाने वालों को मिलती हैं ये तीन खास सुविधाएं
(1) 6000 रुपये सालाना मिलते हैं.
(2) पीएम किसान सम्मान निधि के योग्य किसान आसानी से किसान क्रेडिट कार्ड बनवा सकते हैं.
(3) अब किसान आसानी से पीएम सुरक्षा बीमा योजना (PMSBY-Pradhan Mantri Suraksha BimaYojana) का भी फायदा उठा सकते हैं. इस योजना के तहत सिर्फ 12 और 330 रुपये में 2 लाख रुपये का एक्सीडेंट और जीवन बीमा मिलता हैं.
किसानों को अगले 15 दिन तक मिलेगी खास सुविधा
जिनके पास पहले से किसान क्रेडिट कार्ड हैं, वे अपनी लिमिट बढ़वा सकते हैं. जिन किसानों के किसान क्रेडिट कार्ड निष्क्रिय है, वे अपनी बैंक शाखा में जाकर उन्हें सक्रिय करवा सकते है. जिन किसानों के पास यह सुविधा नहीं है, वे अपनी जमीन की जमाबंदी और फसल ब्योरे के साथ अपनी बैंक शाखा में जाकर नया कार्ड बनवा सकते हैं.
जैसा कि केसीसी के साथ-साथ ब्याज में रियायत का लाभ अब पशुपालन और मत्स्य पालन किसानों के लिए भी सुनिश्चिति किया गया है, राज्य/केंद्रशासित प्रदेश सरकारों से यह भी अनुरोध किया गया है कि वे ऐसे किसानों पर ध्यान केंद्रित करें और उनके लिए अतिरिक्त केसीसी जारी करने की अनुमति प्रदान करें.
आवेदन में आसानी के लिए निम्नलिखित कदम उठाए गए हैं –
(1) एक पृष्ठ का एक सरल फॉर्म इस तरह से तैयार किया गया है कि पीएम किसान सम्मान निधि योजना के तहत बैंक के रिकॉर्ड से मूल डेटा प्राप्त किया जाएगा और केवल फसल की बुआई के विवरण के साथ भूमि रिकॉर्ड की एक प्रतिलिपि को भरना होगा.
(2) एक पृष्ठ का फॉर्म पूरे देश के सभी प्रमुख अखबारों में प्रकाशित होने वाले विज्ञापन के साथ उपलब्ध होगा और इसे लाभार्थियों द्वारा काटकर भरा जा सकता है.
(3) फार्म सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों (एससीबी) के साथ-साथ भारत सरकार के कृषि विभाग, सहकारिता और किसान कल्याण विभाग की वेबसाइट (www.agricoop.gov.in) और पीएम-किसान पोर्टल (www.pmkisan.gov.in) से भी डाउनलोड किया जा सकता है.
(4) कॉमन सर्विस सेंटरों (सीएससी) को फॉर्म भरने और संबंधित बैंक शाखाओं में भेजने के लिए अधिकृत किया गया है.
सभी बैंकों को सलाह दी गई है कि वे इस तरह के आवेदनों पर गौर करने के लिए अलग काउंटर बनाएं और आवेदन जमा करने की तारीख से 14 दिनों के अंदर कम से कम समय में नया केसीसी जारी करना या मौजूदा केसीसी सीमा में बढ़ोतरी करना या निष्क्रिय केसीसी को सक्रिय बनाना सुनिश्चित करें.
इस अभियान की प्रगति की निगरानी राज्यों/ केन्द्रशासित प्रदेशों द्वारा दैनिक आधार पर की जाएगी. जिले में परिपूर्णता अभियान के तहत गतिविधियां शीर्ष जिला प्रबंधक और डीडीएम, नाबार्ड के पूर्ण सहयोग के साथ जिला कलेक्टर द्वारा की जाएगी.
केसीसी के अलावा, पीएम किसान लाभार्थियों तथा पात्र किसानों को उनकी सहमति प्राप्त करने के बाद सामाजिक सुरक्षा प्रदान करने के उद्देश्य से प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना (पीएमएसबीवाई) और प्रधान मंत्री जीवन ज्योति योजना (पीएमजेजेबीवाई) के लिए भी नामांकित किया जाएगा. ये योजनाएं प्रत्येक मामले में 2 लाख के बीमित मूल्य के लिए क्रमशः 12 रुपये और 330 रुपये के प्रीमियम पर दुर्घटना बीमा और जीवन बीमा उपलब्ध कराती हैं.
कितना कर्ज बांटेगी मोदी सरकार- मोदी सरकार का दावा है कि लगातार तीन साल से कृषि कर्ज टारगेट से अधिक दिया जा रहा है. इसलिए 2020-2021 के बजट में सरकार ने इसे बढ़ाकर 15 लाख करोड़ रुपये कर दिया है. सरकार चाहती है कि किसान साहूकारों से मोटी रकम पर कर्ज लेने के लिए मजबूर न हों. वो सरकारी संस्थाओं से लोन लें.